ETV Bharat / state

HP Election 2022: BJP ने बागियों पर गड़ाई नजर, सरकार बनाने की रणनीति पर जोर

हिमाचल प्रदेश में 14वीं विधानसभा के नतीजे 8 दिसंबर को आने हैं. इस बार सरकार बनाने में बागियों की भूमिका अहम हो सकता है. बीजेपी सरकार बनाने के लिए निर्दलीयों से संपर्क साधे हुए हैं क्योंकि बीजेपी ने इस बार रिवाज बदलने का दावा किया है. (BJP in touch with rebel leaders).

shimla rebel leader news
हिमाचल के बागी नेता
author img

By

Published : Nov 25, 2022, 7:24 PM IST

शिमला: हिमाचल में विधानसभा चुनाव में अबकी बार कड़े मुकाबले के आसार को देखते हुए बागियों की सरकार बनाने में अहम भूमिका हो सकती है. हिमाचल में इस बार रिकार्ड संख्या में करीब 26 बागी चुनावी मैदान में है. भाजपा ने इनमें से जीत की संभावना रखने वाले बागियों पर नजर गड़ा दी है. अभी कम से कम छह सीटों पर बागी जीतने की क्षमता रखते हुए प्रतीत हो रहे हैं. ऐसे में भाजपा उन्हें अपने पाले में लाने के लिए रणनीति तैयार कर रही है. (himachal assembly elections 2022) (BJP in touch with rebel leaders)

हिमाचल प्रदेश विधानसभा चुनाव के नतीजे 8 दिसंबर को आएंगे लेकिन इससे भाजपा ने सरकार बनाने के लिए अपनी रणनीति बनानी शुरू कर दी हैं. भाजपा चुनावी प्रदर्शन को लेकर मंथन में जुटी हुई है. हिमाचल की सतारूढ़ भाजपा एक-एक सीट की रिपोर्ट ले रही है और इसके आधार पर आगे सरकार बनाने की संभावना पर भी प्लानिंग कर रही है. भाजपा अबकी बार रिवाज बदलने की रणनीति पर काम कर रही है. चुनावों से पहले जहां पार्टी ने केंद्र और हिमाचल सरकार की नीतियों का जमकर प्रचार किया और चुनावों में अपने बड़े-बड़े नेताओं को प्रचार में झोंका. वहीं, अब सरकार बनाने के लिए बागियों के प्रदर्शन का भी वह रिपोर्ट कार्ड तैयार कर रही है.

इन सीटों पर हैं भाजपा के बागी: हिमाचल में अबकी बार बागी रिकार्ड संख्या में चुनावी मैदान में है. अबकी बार कुल मिलाकर करीब 26 निर्दलीय चुनावी समर में कूदे हैं, जो कि कांग्रेस और भाजपा दोनों के लिए चुनौती बने हुए हैं. इनमें अकेले करीब 21 बागी भाजपा के हैं. भाजपा के बागियों में कुल्लू से भाजपा के उपाध्यक्ष राम सिंह, बंजार से भाजपा नेता महेश्वर सिंह के बेटे हितेश्वर ठाकुर, मनाली से महेंद्र सिंह ठाकुर, आनी से विधायक किशोरी लाल, सुंदरनगर से पूर्व मंत्री रूप सिंह ठाकुर के बेटे अभिषेक ठाकुर, मंडी सदर से प्रवीण शर्मा, नाचन से ज्ञान चंद, किन्नौर से पूर्व भाजपा विधायक तेजवंत नेगी शामिल हैं.

इसी तरह बिलासपुर सदर से सुभाष शर्मा, नालागढ़ से पूर्व विधायक केएल ठाकुर, देहरा से विधायक होशियार सिंह, इंदौरा से पूर्व विधायक मनोहर धीमान, फतेहपुर से पूर्व सांसद कृपाल परमार, धर्मशाला से भाजपा एसटी मोर्चा के उपाध्यक्ष रहे विपिन नेहरिया, कांगड़ा से कुलभाष चौधरी, बड़सर से संजीव शर्मा, हमीरपुर से नरेश दर्जी और आशीष शर्मा , भोरंज से पवन कुमार, चंबा सदर से भाजपा नेत्री इंदिरा कपूर बगावत कर चुनाव लड़ रहे हैं. ठियोग से पूर्व विधायक राकेश वर्मा की पत्नी इंदू वर्मा भी निर्दलीय चुनाव लड़ रहीं हैं.

कांग्रेस के इन नेताओं ने कर रखी है बगावत: हिमाचल के चुनाव में बागियों का सामना कांग्रेस को भी करना पड़ा है, हालांकि कांग्रेस के बागियों की संख्या भाजपा के मुकाबले कम है. कांग्रेस के बगावत करने वालों में पच्छाद से पूर्व विधानसभा अध्यक्ष गंगूराम मुसाफिर, ठियोग से पूर्व मंत्री दिवंगत जयबिहारी लाल खाची के बेटे विजय पाल खाची, सुलह से पूर्व विधायक जगजीवन पाल, चौपाल से पूर्व विधायक डॉ सुभाष मंगलेट और आनी से परस राम निर्दलीय चुनाव मैदान में हैं. टिकट न मिलने से नाराज ये निर्दलीय ही चुनौती दे रहे हैं.

इनकी जीत के आसार: निर्दलीय विधानसभा चुनाव लड़ रहे कम से कम आधा दर्जन नेता ऐसे हैं जिनके जीतने की संभावना प्रबल है. इनमें सोलन जिला के नालागढ़ से पूर्व विधायक केएल ठाकुर, देहरा से विधायक होशियार सिंह, फतेहपुर से पूर्व सांसद कृपाल परमार, कुल्लू से भाजपा उपाध्यक्ष राम सिंह, बंजार से भाजपा नेता महेश्वर सिंह के बेटे हितेश्वर ठाकुर, ठियोग से पूर्व भाजपा विधायक राकेश वर्मा की पत्नी इंदू वर्मा के अलावा आनी से परस राम चुनाव जीतने की क्षमता रखते हैं. चुनाव लड़ने वाले इन नेताओं में परस राम को छोड़कर सभी भाजपा है.

जीत की क्षमता रखने वालों पर नजरें गड़ाए है भाजपा: हिमाचल में भाजपा मिशन रिपीट का दावा कर रही है. भाजपा पूरे भरोसे के साथ इस बार रिवाज बदलने की बात कर रही है. हालांकि, मतदान में भाजपा क्या प्रदर्शन करती है यह तो देखने वाली बात होगी मगर इससे पहले ही उसने प्लानिंग कर बागियों को अपने पाले में लाने की प्लानिंग तैयार कर दी है. भाजपा नेता बागियों से अब संपर्क साध रहे हैं, ताकि जरूरत पड़ने पर इनकी मदद से सरकार बनाई जा सके. कांग्रेस भी हिमाचल में सरकार बनाने के अपने दावे कर रही है. अब 8 दिसंबर को चुनावी नतीजों के बाद ही साफ हो पाएगा कि हिमाचल में किस पार्टी की किस तरह से सरकार बनेगी.

ये भी पढ़ें: Balh Assembly Seat: आरक्षित सीट बल्ह पर प्रकाश चौधरी और इंद्र सिंह की बिग फाइट, सीट पर कांग्रेस का प्रभाव ज्यादा

शिमला: हिमाचल में विधानसभा चुनाव में अबकी बार कड़े मुकाबले के आसार को देखते हुए बागियों की सरकार बनाने में अहम भूमिका हो सकती है. हिमाचल में इस बार रिकार्ड संख्या में करीब 26 बागी चुनावी मैदान में है. भाजपा ने इनमें से जीत की संभावना रखने वाले बागियों पर नजर गड़ा दी है. अभी कम से कम छह सीटों पर बागी जीतने की क्षमता रखते हुए प्रतीत हो रहे हैं. ऐसे में भाजपा उन्हें अपने पाले में लाने के लिए रणनीति तैयार कर रही है. (himachal assembly elections 2022) (BJP in touch with rebel leaders)

हिमाचल प्रदेश विधानसभा चुनाव के नतीजे 8 दिसंबर को आएंगे लेकिन इससे भाजपा ने सरकार बनाने के लिए अपनी रणनीति बनानी शुरू कर दी हैं. भाजपा चुनावी प्रदर्शन को लेकर मंथन में जुटी हुई है. हिमाचल की सतारूढ़ भाजपा एक-एक सीट की रिपोर्ट ले रही है और इसके आधार पर आगे सरकार बनाने की संभावना पर भी प्लानिंग कर रही है. भाजपा अबकी बार रिवाज बदलने की रणनीति पर काम कर रही है. चुनावों से पहले जहां पार्टी ने केंद्र और हिमाचल सरकार की नीतियों का जमकर प्रचार किया और चुनावों में अपने बड़े-बड़े नेताओं को प्रचार में झोंका. वहीं, अब सरकार बनाने के लिए बागियों के प्रदर्शन का भी वह रिपोर्ट कार्ड तैयार कर रही है.

इन सीटों पर हैं भाजपा के बागी: हिमाचल में अबकी बार बागी रिकार्ड संख्या में चुनावी मैदान में है. अबकी बार कुल मिलाकर करीब 26 निर्दलीय चुनावी समर में कूदे हैं, जो कि कांग्रेस और भाजपा दोनों के लिए चुनौती बने हुए हैं. इनमें अकेले करीब 21 बागी भाजपा के हैं. भाजपा के बागियों में कुल्लू से भाजपा के उपाध्यक्ष राम सिंह, बंजार से भाजपा नेता महेश्वर सिंह के बेटे हितेश्वर ठाकुर, मनाली से महेंद्र सिंह ठाकुर, आनी से विधायक किशोरी लाल, सुंदरनगर से पूर्व मंत्री रूप सिंह ठाकुर के बेटे अभिषेक ठाकुर, मंडी सदर से प्रवीण शर्मा, नाचन से ज्ञान चंद, किन्नौर से पूर्व भाजपा विधायक तेजवंत नेगी शामिल हैं.

इसी तरह बिलासपुर सदर से सुभाष शर्मा, नालागढ़ से पूर्व विधायक केएल ठाकुर, देहरा से विधायक होशियार सिंह, इंदौरा से पूर्व विधायक मनोहर धीमान, फतेहपुर से पूर्व सांसद कृपाल परमार, धर्मशाला से भाजपा एसटी मोर्चा के उपाध्यक्ष रहे विपिन नेहरिया, कांगड़ा से कुलभाष चौधरी, बड़सर से संजीव शर्मा, हमीरपुर से नरेश दर्जी और आशीष शर्मा , भोरंज से पवन कुमार, चंबा सदर से भाजपा नेत्री इंदिरा कपूर बगावत कर चुनाव लड़ रहे हैं. ठियोग से पूर्व विधायक राकेश वर्मा की पत्नी इंदू वर्मा भी निर्दलीय चुनाव लड़ रहीं हैं.

कांग्रेस के इन नेताओं ने कर रखी है बगावत: हिमाचल के चुनाव में बागियों का सामना कांग्रेस को भी करना पड़ा है, हालांकि कांग्रेस के बागियों की संख्या भाजपा के मुकाबले कम है. कांग्रेस के बगावत करने वालों में पच्छाद से पूर्व विधानसभा अध्यक्ष गंगूराम मुसाफिर, ठियोग से पूर्व मंत्री दिवंगत जयबिहारी लाल खाची के बेटे विजय पाल खाची, सुलह से पूर्व विधायक जगजीवन पाल, चौपाल से पूर्व विधायक डॉ सुभाष मंगलेट और आनी से परस राम निर्दलीय चुनाव मैदान में हैं. टिकट न मिलने से नाराज ये निर्दलीय ही चुनौती दे रहे हैं.

इनकी जीत के आसार: निर्दलीय विधानसभा चुनाव लड़ रहे कम से कम आधा दर्जन नेता ऐसे हैं जिनके जीतने की संभावना प्रबल है. इनमें सोलन जिला के नालागढ़ से पूर्व विधायक केएल ठाकुर, देहरा से विधायक होशियार सिंह, फतेहपुर से पूर्व सांसद कृपाल परमार, कुल्लू से भाजपा उपाध्यक्ष राम सिंह, बंजार से भाजपा नेता महेश्वर सिंह के बेटे हितेश्वर ठाकुर, ठियोग से पूर्व भाजपा विधायक राकेश वर्मा की पत्नी इंदू वर्मा के अलावा आनी से परस राम चुनाव जीतने की क्षमता रखते हैं. चुनाव लड़ने वाले इन नेताओं में परस राम को छोड़कर सभी भाजपा है.

जीत की क्षमता रखने वालों पर नजरें गड़ाए है भाजपा: हिमाचल में भाजपा मिशन रिपीट का दावा कर रही है. भाजपा पूरे भरोसे के साथ इस बार रिवाज बदलने की बात कर रही है. हालांकि, मतदान में भाजपा क्या प्रदर्शन करती है यह तो देखने वाली बात होगी मगर इससे पहले ही उसने प्लानिंग कर बागियों को अपने पाले में लाने की प्लानिंग तैयार कर दी है. भाजपा नेता बागियों से अब संपर्क साध रहे हैं, ताकि जरूरत पड़ने पर इनकी मदद से सरकार बनाई जा सके. कांग्रेस भी हिमाचल में सरकार बनाने के अपने दावे कर रही है. अब 8 दिसंबर को चुनावी नतीजों के बाद ही साफ हो पाएगा कि हिमाचल में किस पार्टी की किस तरह से सरकार बनेगी.

ये भी पढ़ें: Balh Assembly Seat: आरक्षित सीट बल्ह पर प्रकाश चौधरी और इंद्र सिंह की बिग फाइट, सीट पर कांग्रेस का प्रभाव ज्यादा

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.