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मंडी-कुल्लू में हुआ जियोलॉजिकल सर्वे, वायुसेना के MI-17 हेलीकॉप्टर की ली गई मदद - भारतीय वायुसेना के हेलीकॉप्टर की मदद

मनाली-लेह मार्ग पर बन रही सुरंगों के निर्माण के लिए भारतीय वायुसेना के MI-17 हेलीकॉप्टर की मदद ली गई. देश में पहली बार भारतीय वायुसेना के हेलीकॉप्टर की मदद से जियोलॉजिकल सर्वे किया गया.

tunnel survey by MI 17 helicopter in kullu
कुल्लू और मंडी में वायुसेना के MI-17 हेलीकॉप्टर की ली गई मदद
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Published : Dec 11, 2019, 4:56 PM IST

कुल्लूः हिमाचल और लद्दाख के अंर्तराषट्रीय सीमा पर से सटे इलाकों में साल भर यातायात सुचारु रखने के लिए केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्रालय ने यह कवायद शुरू की है. देश की सुरक्षा और पर्यटन की दृष्टि से मनाली-लेह मार्ग पर रोहतांग टनल के अलावा तीन अन्य टनलों का निर्माण किया जा रहा है.

बता दें कि मंगलवार को कुल्लू व मंडी जिले की सीमा पर भुंतर और नगवाईं के आसपास देश में पहली बार वायुसेना के एमआई-17 से जियोलॉजिकल सर्वे किया गया. इस सर्वे के तहत बुधवार को भारतीय वायुसेना का एमआई-17 हेलीकॉप्टर से लाहौल के दुर्गम इलाकों में टनल निर्माण के लिए सर्वे किया गया.

वीडियो रिपोर्ट.

जानकारी के अनुसार लेह-लद्दाख पहुंचने के लिए भारचतीय सेना अब इसी सड़क का ज्यादा इस्तेमाल करने जा रही है. मंत्रालय के तहत राष्ट्रीय राजमार्ग अवसंरचना विकास निगम लिमिटेड और वायु सेना ने तीन सुरंगों के लिए भू-भर्गीय सर्वेक्षण शुरू किया है. इस सर्वेक्षण में एक विदेशी एंटीना की सहायता ली जा रही है.

भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण कुल्लू-मनाली एयरपोर्ट के निदेशक नीरज कुमार श्रीवास्तव ने कहा कि इस सर्वे में टनलों के भू-भर्गीय सर्वे के लिए कुल्लू-मनाली हवाई अड्डे की एक टीम वायु सेना का सहयोग कर रही है. इस तरह का सर्वेक्षण भारत में पहली बार किया जा रहा है.

कुल्लूः हिमाचल और लद्दाख के अंर्तराषट्रीय सीमा पर से सटे इलाकों में साल भर यातायात सुचारु रखने के लिए केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्रालय ने यह कवायद शुरू की है. देश की सुरक्षा और पर्यटन की दृष्टि से मनाली-लेह मार्ग पर रोहतांग टनल के अलावा तीन अन्य टनलों का निर्माण किया जा रहा है.

बता दें कि मंगलवार को कुल्लू व मंडी जिले की सीमा पर भुंतर और नगवाईं के आसपास देश में पहली बार वायुसेना के एमआई-17 से जियोलॉजिकल सर्वे किया गया. इस सर्वे के तहत बुधवार को भारतीय वायुसेना का एमआई-17 हेलीकॉप्टर से लाहौल के दुर्गम इलाकों में टनल निर्माण के लिए सर्वे किया गया.

वीडियो रिपोर्ट.

जानकारी के अनुसार लेह-लद्दाख पहुंचने के लिए भारचतीय सेना अब इसी सड़क का ज्यादा इस्तेमाल करने जा रही है. मंत्रालय के तहत राष्ट्रीय राजमार्ग अवसंरचना विकास निगम लिमिटेड और वायु सेना ने तीन सुरंगों के लिए भू-भर्गीय सर्वेक्षण शुरू किया है. इस सर्वेक्षण में एक विदेशी एंटीना की सहायता ली जा रही है.

भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण कुल्लू-मनाली एयरपोर्ट के निदेशक नीरज कुमार श्रीवास्तव ने कहा कि इस सर्वे में टनलों के भू-भर्गीय सर्वे के लिए कुल्लू-मनाली हवाई अड्डे की एक टीम वायु सेना का सहयोग कर रही है. इस तरह का सर्वेक्षण भारत में पहली बार किया जा रहा है.

Intro:देश में पहली बार वायुसेना के एमआई-17 हेलीकॉप्टर से जियोलॉजिकल सर्वे
मनाली लेह सड़क मार्ग पर होना है टनलों का निर्माणBody:




सामरिक दृष्टि से महत्वपूर्ण मनाली-लेह मार्ग पर रोहतांग टनल के अलावा तीन अन्य टनलों का निर्माण किया जा रहा है। इसके लिए देश में पहली बार वायुसेना के एमआई-17 हेलीकॉप्टर से जियोलॉजिकल सर्वे किया जा रहा है। मंगलवार को इसको लेकर कुल्लू और मंडी जिले की सीमा पर भुंतर और नगवाईं के आसपास हेलीकाप्टर से ट्रायल किया गया है। बुधवार को अब एमआई-17 हेलीकाप्टर लाहौल के उन क्षेत्रों में जाएगा, जहां टनलों का निर्माण होगा। सूत्रों के अनुसार लेह-लद्दाख पहुंचने के लिए सेना अब इसी सड़क का ज्यादा इस्तेमाल करने जा रही है। बुधवार को दिनभर हेलीकाप्टर भुंतर और नगवाईं के आसपास मंडराता रहा। चीन और पाकिस्तान से सटे इलाकों में 12 माह यातायात सुचारु रखने के लिए केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्रालय ने यह कवायद शुरू की है। मंत्रालय के तहत राष्ट्रीय राजमार्ग अवसंरचना विकास निगम लिमिटेड और वायु सेना ने तीन सुरंगों के लिए भू-भर्गीय सर्वेक्षण शुरू किया है। इसमें एक विदेशी एंटीना की सहायता ली जा रही है। मंगलवार को सफल ट्रायल के बाद अब हेलीकाप्टर बुधवार को लाहौल घाटी में सर्वे करेगा। Conclusion:



भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण कुल्लू-मनाली एयरपोर्ट के निदेशक नीरज कुमार श्रीवास्तव ने कहा कि इस सर्वे में टनलों के भू-भर्गीय सर्वे के लिए कुल्लू-मनाली हवाई अड्डे की एक टीम वायु सेना का सहयोग कर रही है। उन्होंने का कि इस तरह का सर्वेक्षण भारत में पहली बार किया जा रहा है।
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