कुल्लूः जिला कुल्लू के उप मंडल बंजार की तीर्थन घाटी की ग्राम पंचायत श्रीकोट के गांव घर्टगाड़ में ग्रामीण लम्बे समय से पेयजल समस्या से जूझ रहे हैं. इस समस्या का आजतक कोई समाधान नहीं हो सका है. साल 2015 में शनाड़ नाले में भारी बाढ़ आने के कारण कई घराट और पुल वह गए थे. साथ ही इसमें कई रास्ते और पेयजल लाइन भी क्षतिग्रस्त हो गई थी.
पेयजल आपूर्ति बाधित
पांच साल बीत जाने के बाद भी घर्टगाड़ के लोगों के लिए पेयजल आपूर्ति बहाल नहीं हो सकी है. एक ओर जहां विकास के बड़े-बड़े दावे किए जा रहे हैं. वहीं, दूसरी ओर तीर्थन घाटी के अधिकांश लोग आजतक भी सड़क, रास्ता और पेयजल जैसी मूलभूत सुविधाओं से वंचित हैं.
पेयजल आपूर्ति बहाल करने की मांग
घर्टगाड़ गांव के स्थानीय लोगों नंद लाल, चिरन्जी लाल, राजेन्द्र, कृष्ण, ठाकुर सिंह, नुप राम, रेवती राम, गीता देवी, डोलमा देवी और हीरा देवी का कहना है कि वे करीब पांच सालों से पीने के पानी की समस्या से जूझ रहे हैं. पांच साल पहले आई बाढ़ में पेयजल लाइन क्षतिग्रस्त हो गई थी.
बीमारी फैलने का खतरा
इस बारे इन्होंने कई बार विभाग को अवगत करवाया गया, लेकिन पांच साल से केवल आश्वासन ही मिल रहे हैं. ग्रामीणों को अपने स्तर पर ही रबड़ की पाइप जोड़ कर पानी गांव में पहुंचाना पड़ रहा है. आजकल यह रबड़ की पाइप ठंड की वजह से से टूट जाती हैं और पानी गांव तक नहीं पहुंच पाता. इस वजह से लोग गांव के साथ बहते नाले का गन्दा पानी पीने को मजबूर हैं. इससे बीमारी के फैलने का खतरा भी बना हुआ है.
स्थानीय लोगों ने प्रशासन और सरकार से मांग की है कि उनके गांव के लिए प्रस्तावित जैगाड़ से घर्टगाड़ पेयजल योजना का कार्य शीघ्र शुरू किया जाए. ताकि ग्रामीणों को शुद्ध पेयजल मुहैया हो सके.
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