कुल्लू: जिला कुल्लू में हिमाचल पथ परिवहन निगम (Himachal Road Transport Corporation) के विभिन्न वर्कशॉप में 38 पीस मील वर्कर (Piecemeal Workers) अपनी सेवाएं दे रहे हैं. इनमें से कई पीस मिल वर्कर तो ऐसे हैं जिन्हें आज 13 साल से भी अधिक का समय हो गया है, लेकिन सरकार के द्वारा उन्हें अभी तक अनुबंध नीति (contract policy) में नहीं लाया गया है.
बता दें कि प्रदेश में हिमाचल पथ परिवहन निगम के द्वारा आईटीआई पास युवकों के लिए 5 साल तो, बाकी लोगों के लिए 6 साल की अनुबंध नीति तैयार की गई है. जिसके तहत उनका कार्यकाल पूरा होने के बाद उन्हें निगम में अनुबंध नीति पर लाया जाता है, लेकिन आज 13 साल बीतने के बाद भी पीस मील वर्कर अनुबंध नीति में नहीं आ पाए हैं. अनुबंध नीति पर लाने के लिए हालांकि पीस मील वर्कर के द्वारा पहले भी निगम के एमडी को ज्ञापन दिया गया था, लेकिन उस पर भी कोई असर नहीं हुआ. जिसके चलते पीस मील वर्कर अब 10 दिनों के टूल डाउन स्ट्राइक (tool down strike) पर बैठ गए हैं.
बाशिंग स्थित निगम के वर्कशॉप में कार्यरत पीस मिल वर्कर प्रदीप ठाकुर का कहना है कि अनुबंध नीति पर ना लाए जाने से उन्हें खासा नुकसान उठाना पड़ रहा है. उन्होंने निगम को 26 अगस्त तक का समय दिया है, अगर उसके बाद भी पीस मील वर्कर को अनुबंध नीति पर नहीं लाया गया, तो वे आगामी रणनीति तैयार करेंगे और निगम का भी विरोध किया जाएगा.
बता दें कि 3 अगस्त को एचआरटीसी पीस मिल कर्मचारियों ने शिमला में धरना प्रदर्शन किया था. कर्मचारी लगातार प्रदेश सरकार से इन्हें अनुबंध नीति में लाने की मांग कर रहे हैं. मंच के महासचिव हरि कृष्ण शर्मा ने कहा कि सरकार की ओर से अनुबंध नीति में शामिल न करने की वजह से करीब 950 पीसमील कर्मचारी परेशान हैं. फिलहाल अब वर्कर का कहना है कि सरकार जल्द से जल्द उनकी मांगें पूरी नहीं करती है तो आनेवाले दिनों में वे उग्र आंदोलन करेंगे.
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