कुल्लू: भारतीय सेना को अब चीन सीमा तक पहुंचने में काफी आसान होगी. क्योंकि भारत सरकार ने ग्राम्फू काजा से समदो तक सड़क को डबल लेन करने का फैसला लिया है. सामरिक दृष्टि से महत्वपूर्ण इस सड़क के निर्माण पर ₹1400 करोड़ राशि खर्च की जाएगी. 205 किलोमीटर लंबी इस सड़क का निर्माण सीमा सड़क संगठन द्वारा किया जाएगा. वही, 3 साल के भीतर इस सड़क को तैयार करने का भी लक्ष्य रखा गया है.
ग्राम्फू काजा-समदो डबल लेन सड़क निर्माण: ग्राम्फू काजा से समदो तक डबल लेन सड़क का निर्माण 3 चरणों में बीआरओ (सीमा सड़क संगठन) द्वारा किया जाएगा. इस डबल लेन सड़क बनने से लाहौल स्पीति में पर्यटन बढ़ावा मिलेगा. साथ ही भारतीय सेना को चीन सीमा तक जाने में काफी आसानी होगी. अब सेना के जवानों को किन्नौर के बजाय मनाली से कुंजम पास होकर समदो पहुंचना आसान होगा. इस सड़क को डबल लेन करने की सभी औपचारिकताएं पूरी कर ली गई है.
भारत-चीन सीमा को जोड़ेगी ये सड़क: चीन बॉर्डर को जोड़ने वाली यह सड़क वर्तमान में काफी खस्ताहाल है. लगभग 120 किलोमीटर ग्राम्फू से काजा तक सड़क जगह-जगह से कच्ची है. जिस कारण 120 किलोमीटर ग्राम्फू से काजा सड़क को पार करने में ही 10 घंटे का समय लग जाता है. अगर यह सड़क डबल लेन होती है तो, इससे 3 से 4 घंटे के बीच काजा पहुंचा जा सकेगा.
रक्षा मंत्रालय से सड़क निर्माण को मिली मंजूरी: इससे पहले यह सड़क मार्ग लोक निर्माण विभाग के पास थी, लेकिन साल 2021 में इसे सीमा सड़क संगठन के हवाले कर दिया गया. वहीं, सीमा सड़क संगठन ने इसे डबल लेन बनाने के लिए प्रक्रिया शुरू कर दी गई थी. अब रक्षा मंत्रालय से भी इस सड़क को मंजूरी मिल गई है.
सड़क निर्माण में ₹1400 करोड़ की आएगी लागत: लाहौल स्पीति के विधायक रवि ठाकुर ने बताया ₹1400 करोड़ से इस सड़क को डबल लेन किया जाएगा. इसके निर्माण को लेकर सभी औपचारिकताएं भी पूरी कर ली गई है. सीमा सड़क संगठन द्वारा 205 किलोमीटर लंबे इस मार्ग को तीन चरणों में पूरा किया जाएगा. इस कार्य को 3 साल के भीतर पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है. इसके अलावा काजा घाटी को भी लेह से जोड़ने के लिए योजना तैयार की जा रही है.
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