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हांगरङ्ग घाटी के शलखर में लगे मोबाइल टावर, हजारों लोगों को मिलेगी मोबाइल नेटवर्क सुविधा - हांगरङ्ग घाटी में मोबाइल नेटवर्क

हांगरङ्ग घाटी में सरकार व प्रशासन की ओर से मोबाइल नेटवर्क व इंटरनेट सुविधा से जोड़ा गया है. आज़ादी के 72 साल बाद आज हांगरङ्ग घाटी की 6 पंचायत सुमरा, शलखर, चांगो, नाको, हांगो, चुलिंग में पिछले कई सालों से बिना नेटवर्क सुविधाओं के बच्चों को ऑनलाइन शिक्षा नहीं दी जाती थी. मोबाइल नेटवर्क सुविधा से अब हजारों लोगों को असका फायदा होगा.

Jio towers
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Published : Aug 2, 2020, 12:45 PM IST

किन्नौर: एक ओर जहां देश में 5जी नेटवर्क की तैयारी चल रही है, वहीं देश में आज भी कई ऐसे जिले हैं जहां मोबाइल नेटवर्क नहीं है जिसके चलते लोगों को आए दिन परेशानियों से दो-चार होना पड़ता है. जनजातीय जिला किन्नौर के दुर्घम क्षेत्र हांगरङ्ग घाटी के लोग पिछले कई सालों से मोबाइल नेटवर्क की सुविधा के बिना रहने पर मजबूर थे, जिसके चलते घाटी की 6 पंचायत के स्कूलों में ऑनलाइन शिक्षा, सरकारी कार्यालयों के काम, लोगों से संपर्क करने में कई दिक्कतों का सामना करना पड़ता था, लेकिन अब सरकार व प्रशासन की ओर से हांगरङ्ग घाटी को मोबाइल नेटवर्क सुविधा व इंटरनेट सुविधा से जोड़ा गया है.

हांगरङ्ग घाटी संघर्ष समिति के अध्यक्ष शांता नेगी ने कहा कि हांगरङ्ग घाटी आजादी के बाद पहली बार मोबाइल नेटवर्क की सुविधा से जुड़ी है, जिसका श्रेय प्रदेश सरकार व जिला प्रशासन को जाता है. प्रशासन व सराकर पिछले कई वर्षों से हांगरङ्ग घाटी को मोबाइल नेटवर्क सेवाओ से जोड़ने के लिए काम करते आ रहे हैं, जिससे आज हांगरङ्ग घाटी के हजारों लोग लाभांवित होंगे और अब घाटी के लोग ऑनलाइन सेवाओं का फायदा ले सकेंगे.

वीडियो.
बता दें कि आजादी के 72 साल बाद आज हांगरङ्ग घाटी की 6 पंचायत सुमरा, शलखर, चांगो, नाको, हांगो, चुलिंग में पिछले कई सालों से बिना नेटवर्क सुविधाओं के बच्चों को ऑनलाइन शिक्षा नहीं दी जाती थी. वहीं, सरकारी व गैर सरकारी कार्यालयों में बिना इंटरनेट सुविधा के लोगों को काम करने में परेशानियां आ रही थी, लेकिन अब शलखर में जिओ के टावर लगने से हजारों लोग मोबाइल नेटवर्क सुविधा का फायदा लेंगे.

ये भी पढ़ें: कोरोना की वजह से इस बार फीका रहेगा राखी का त्योहार

किन्नौर: एक ओर जहां देश में 5जी नेटवर्क की तैयारी चल रही है, वहीं देश में आज भी कई ऐसे जिले हैं जहां मोबाइल नेटवर्क नहीं है जिसके चलते लोगों को आए दिन परेशानियों से दो-चार होना पड़ता है. जनजातीय जिला किन्नौर के दुर्घम क्षेत्र हांगरङ्ग घाटी के लोग पिछले कई सालों से मोबाइल नेटवर्क की सुविधा के बिना रहने पर मजबूर थे, जिसके चलते घाटी की 6 पंचायत के स्कूलों में ऑनलाइन शिक्षा, सरकारी कार्यालयों के काम, लोगों से संपर्क करने में कई दिक्कतों का सामना करना पड़ता था, लेकिन अब सरकार व प्रशासन की ओर से हांगरङ्ग घाटी को मोबाइल नेटवर्क सुविधा व इंटरनेट सुविधा से जोड़ा गया है.

हांगरङ्ग घाटी संघर्ष समिति के अध्यक्ष शांता नेगी ने कहा कि हांगरङ्ग घाटी आजादी के बाद पहली बार मोबाइल नेटवर्क की सुविधा से जुड़ी है, जिसका श्रेय प्रदेश सरकार व जिला प्रशासन को जाता है. प्रशासन व सराकर पिछले कई वर्षों से हांगरङ्ग घाटी को मोबाइल नेटवर्क सेवाओ से जोड़ने के लिए काम करते आ रहे हैं, जिससे आज हांगरङ्ग घाटी के हजारों लोग लाभांवित होंगे और अब घाटी के लोग ऑनलाइन सेवाओं का फायदा ले सकेंगे.

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बता दें कि आजादी के 72 साल बाद आज हांगरङ्ग घाटी की 6 पंचायत सुमरा, शलखर, चांगो, नाको, हांगो, चुलिंग में पिछले कई सालों से बिना नेटवर्क सुविधाओं के बच्चों को ऑनलाइन शिक्षा नहीं दी जाती थी. वहीं, सरकारी व गैर सरकारी कार्यालयों में बिना इंटरनेट सुविधा के लोगों को काम करने में परेशानियां आ रही थी, लेकिन अब शलखर में जिओ के टावर लगने से हजारों लोग मोबाइल नेटवर्क सुविधा का फायदा लेंगे.

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