ETV Bharat / state

फतेहपुर में आशा वर्कर्स ने निकाली रैली, सरकारी कर्मचारी घोषित करने की मांग - पालमपुर की ताजा खबरें

फतेहपुर में भारतीय मजदूर संघ से संबंधित आशा वर्कर का त्रैवार्षिक पहला दो दिवसीय अधिवेशन शनिवार को फतेहपुर के एक निजी स्कूल में हुआ. इस दौरान आर्शा कार्यकर्ताओं ने रैली निकालकर नारेबाजी की.

फतेहपुर बजार मे विशाल रैली
फोटो.
author img

By

Published : Sep 25, 2021, 7:40 PM IST

पालमपुर: भारतीय मजदूर संघ से संबंधित आशा वर्कर का त्रैवार्षिक पहला दो दिवसीय अधिवेशन शनिवार को फतेहपुर के एक निजी स्कूल में हुआ. जिसका शुभारंभ भारतीय मजदूर संघ प्रदेश अध्यक्ष मदन राणा की अध्यक्षता में हुआ. दो दिन तक चलने वाले इस अधिवेशन का समापन रविवार को प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री डॉ. राजीव सैजल करेंगे.

मदन राणा ने आशा कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा कि भारतीय मजदूर संघ देश का ही नहीं विश्व का एक श्रमिक संगठन जो कि गैर राजनीतिक है. संघ केवल श्रमिकों के हितों की लड़ाई लड़ता है और समय-समय पर कर्मचारियों व मजदूरों की मांगों को लेकर आंदोलन भी करता है.

उन्होंने कहा कि जिस संगठन का जन्म 23 जुलाई 1955 में हुआ. राणा ने कहा कि प्रदेश सरकार आशा वर्करों को सरकारी कर्मचारी घोषित करना चाहिए. जब तक सरकार इन्हें सरकारी कर्मचारी घोषित नहीं करती तब तक इन्हें 18 हजार मानदेय दिया जाए. अधिवेशन में संगठन को मजबूती प्रदान करने के टिप्स दिए. इस अदिवेशन में करीब 400 आशा कार्यकर्ताओं ने भाग लिया. इससे पहले रामलीला ग्राउंड से भरोबड़ चौक तक शोभा यात्रा निकाली गई, जिसमें कार्यकर्ताओं ने अपने मांगों को लेकर नारेबाजी की.

ये भी पढ़ें :स्कूल में चाय-पकौड़े बेचने वाले के बेटे अल्ताफ बने IPS, पढ़िए संघर्ष की कहानी

पालमपुर: भारतीय मजदूर संघ से संबंधित आशा वर्कर का त्रैवार्षिक पहला दो दिवसीय अधिवेशन शनिवार को फतेहपुर के एक निजी स्कूल में हुआ. जिसका शुभारंभ भारतीय मजदूर संघ प्रदेश अध्यक्ष मदन राणा की अध्यक्षता में हुआ. दो दिन तक चलने वाले इस अधिवेशन का समापन रविवार को प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री डॉ. राजीव सैजल करेंगे.

मदन राणा ने आशा कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा कि भारतीय मजदूर संघ देश का ही नहीं विश्व का एक श्रमिक संगठन जो कि गैर राजनीतिक है. संघ केवल श्रमिकों के हितों की लड़ाई लड़ता है और समय-समय पर कर्मचारियों व मजदूरों की मांगों को लेकर आंदोलन भी करता है.

उन्होंने कहा कि जिस संगठन का जन्म 23 जुलाई 1955 में हुआ. राणा ने कहा कि प्रदेश सरकार आशा वर्करों को सरकारी कर्मचारी घोषित करना चाहिए. जब तक सरकार इन्हें सरकारी कर्मचारी घोषित नहीं करती तब तक इन्हें 18 हजार मानदेय दिया जाए. अधिवेशन में संगठन को मजबूती प्रदान करने के टिप्स दिए. इस अदिवेशन में करीब 400 आशा कार्यकर्ताओं ने भाग लिया. इससे पहले रामलीला ग्राउंड से भरोबड़ चौक तक शोभा यात्रा निकाली गई, जिसमें कार्यकर्ताओं ने अपने मांगों को लेकर नारेबाजी की.

ये भी पढ़ें :स्कूल में चाय-पकौड़े बेचने वाले के बेटे अल्ताफ बने IPS, पढ़िए संघर्ष की कहानी

ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.