ऊना: विभिन्न सामानों पर टैक्स बढ़ाने को लेकर व्यापारियों में रोष पनपने लगा है. हिमाचल प्रदेश व्यापार मंडल के प्रदेशाध्यक्ष सुमेश शर्मा ने कहा कि कुछ दिन पहले जीएसटी काउंसिल की बैठक हुई. बैठक में कपड़े, रेडीमेड गारमेंट्स व जूतों सहित अन्य आइटम के ऊपर लगने वाले टैक्स को बढ़ा दिया गया. उन्होंने बताया कि पहले, जहां 5 फीसदी टैक्स लगता था, अब इसे बढ़ाकर 12 प्रतिशत कर दिया गया. इसको लेकर एक बहुत बड़ा जन आंदोलन होगा. उन्होंने कहा इसके लिए अगर हिमाचल को बंद करना पड़ा, तो व्यापारी पीछे नहीं हटेंगे. उन्होंने कहा कि जीएसटी बढ़ने से जहां, महंगाई बढ़ेगी वहीं, भ्रष्टाचार के साथ-साथ बेरोजगारी भी बढ़ेगी.
सुमेश शर्मा ने कहा कि इसके खिलाफ यदि हिमाचल के साथ-साथ देश को बंद करने करने का आह्वान किया गया तो प्रदेश के कारोबारी भी समर्थन करने को मजबूर होंगे. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार के इस फैसले से एक तरफ जहां महंगाई बढ़ेगी. वहीं, दूसरी तरफ भ्रष्टाचार और बेरोजगारी का भी बोलबाला होगा. उन्होंने कहा कि कपड़े, रेडीमेड गारमेंट्स इसके साथ-साथ जूतों का कारोबार में केवल मात्र 5 से 7 फीसदी का मार्जिन कारोबारियों को मिलता है.
ऐसे में कारोबारियों के यहां नौकरी करने वाले कामगारों पर इसका सीधा असर पड़ेगा. उनसे रोजगार भी छीनने का खतरा बढ़ता जा रहा है. सुमेश शर्मा ने कहा कि केंद्र सरकार के इस फैसले से जनता पर महंगाई का बोझ बढ़ेगा. जनता को महंगाई से बचाने के लिए कारोबार जगत संघर्ष की राह पर भी चलने से गुरेज नहीं करेगा.
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