शिमलाः हिमाचल विधानसभा के मानसून सत्र में प्रश्नकाल के दौरान धर्मशाला से विधायक विशाल नैहरिया ने सदन में योल छावनी के लोगों के साथ लंबे समय से हो रहे भेदभाव का मुद्दा उठाते हुए कहा कि छावनी क्षेत्र में रहे लोगों को भी प्रदेश सरकार की योजनाओं का लाभ मिलना चाहिए. उन्होने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा चलाई जा रही आवास योजनाओं का लाभ इन लोगों को नहीं मिल रहा है. छावनी क्षेत्र के लोगों को भारी टैक्स अदा करना पड़ता है.
उन्होने प्रश्न पूछा कि योल छावनी के लोगों को पंचायती राज के तहत शामिल क्यों नहीं किया जा रहा है. इसके अलावा यहां के लोगों को भारी टैक्स से भी राहत मिलनी चाहिए. इसका जवाब देते हुए शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज ने कहा कि छावनी क्षेत्र सेना अधिकारी के तहत है. इसलिए इस पर निर्णय करने का अधिकारी उन्हीं को है. इसके अलावा स्थानीय प्रशासन भी इस पर निर्णय कर सकता है.
सुरेश भारद्वाज ने कहा कि इस मामले को लेकर प्रदेश सरकार गृह मंत्री से चर्चा कर सकती हैं कि छावनी में लोगों पर अधिक टैक्स लगाया गया है. वहीं, चर्चा में भाग लेते हुए मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा जब भी हम धर्मशाला जाते हैं तो इस विषय को उठाया जाता है.
सीएम जयराम ठाकुर ने कहा रक्षा मंत्री से इस विषय पर बात भी की गई है. रास्ते की समस्या पर भी गृह मंत्री से बात करने के लिए बैठक का समय लिया गया था, लेकिन कुछ कारणों से बैठक नहीं हो सकी थी. मुख्यमंत्री ने कहा रोहतांग टनल के उद्घाटन पर जब प्रधानमंत्री यहां आएंगे तो उस समय इस इस विषय को उठाया जाएगा.
इस पर विधायक विशाल नैहरिया ने कहा कि योल छावनी बोर्ड के लोगों ने पंचायतों में शामिल होने की मांग रखी है. ताकि उनकों प्रदेश सरकार द्वारा चलाई गई योजनाओं का लाभ मिल सके. विशाल नैहरिया के प्रश्न का उत्तर देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि इस विषय को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के समक्ष उठाया जाएगा.
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