शिमला: हाटी समुदाय को एसटी (Hati community in himachal ) का दर्जा देने की मंजूरी केंद्रीय कैबिनेट ने दी है. क्षेत्र को ट्राइबल घोषित नहीं किया गया है. मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने शिमला में पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा कि एससी समुदाय के (CM Jairam on getting ST status for Hati community) सभी अधिकारों को सुरक्षित रखा गया है. SC के सभी अधिकार और लाभ वैसे ही बने रहेंगे. इसलिए सभी के अधिकारों को सुरक्षित रखकर ही यह ऐतिहासिक फैसला केंद्रीय कैबिनेट (modi cabinet decision) ने लिया है.
केंद्र सरकार से किया था आग्रह: मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि प्रदेश सरकार ने केंद्र से विशेष आग्रह किया था कि एससी समुदाय के अधिकारों में किसी प्रकार की कोई कमी नहीं होनी चाहिए. केंद्र ने इस बात को ध्यान में रखा और एससी के कानूनी लाभ को वैसे ही सुरक्षित रखा. जयराम ने कहा कि प्रदेश की कांग्रेस सरकार ने 2005 में भी प्रस्ताव केंद्र की यूपीए सरकार को भी भेजा था, लेकिन यूपीए सरकार ने इसे पूरी तरह से नकार दिया.
कांग्रेस ने काम छोड़ दिया: जिसके बाद कांग्रेस ने इस पर काम करना छोड़ दिया. अगस्त 2012 में तत्कालीन भाजपा सरकार ने फिर से इस पर काम शुरू किया, लेकिन फिर से प्रोसेस ढीला हो गया. सीएम ने कहा कि उसके बाद 2018 में वर्तमान सरकार ने इस विषय को केंद्र के समक्ष उठाया. केंद्र की तरफ से एथनोग्राफिक प्रस्ताव केंद्रीय मंत्रालय को भेजा गया. 10 मार्च 2022 को केंद्र को पत्र लिखकर हाटी समुदाय की मांग (Hati community declared ST in Himachal) उठाई गई.
सिरमौर के 4 विधानसभा क्षेत्र आएंगे: मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि सिरमौर के 4 विधानसभा क्षेत्र इसमें आएंगे. पछाड़ के 33 पंचायतें और एक नगर पंचायत शामिल होगी. इस क्षेत्र के कुल 27 हजार 261 लोग इसमें शामिल होंगे. रेणुकाजी के 44 पंचायतें और 122 गांव इसमें शामिल होंगे. इसके अलावा शिलाई विधानसभा क्षेत्र की 58 पंचायते इसमें आएंगी. कुल मिलाकर 66 हजार 675 लोगों को लाभ होगा. 30 हजार करीब लोग एससी में आते हैं. पांवटा विधानसभा क्षेत्र के 25 हजार 323 लोगों को लाभ मिलेगा. कुल मिलाकर सिरमौर जिले में 389 गांव और 1 लाख 59 हज़ार 716 लोगों को हाटी के एसटी दर्जा मिलने का लाभ होगा.