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नल से मिलेगा शुद्ध जल, जल शक्ति विभाग स्थापित करेगा 59 वाटर टेस्टिंग लैब  - Emphasis on purity of water in Himachal

हर घर को नल से जल प्रदान करने वाला हिमाचल देश का पहला राज्य होने जा रहा है. इसके साथ ही राज्य सरकार का जल शक्ति विभाग पेयजल की शुद्धता पर फोकस कर (Emphasis on purity of water in Himachal)रहा है. जल शक्ति मंत्री महेंद्र सिंह ठाकुर ने कहा राज्य सरकार पेयजल की शुद्धता सुनिश्चित करने के लिए क्वालिटी वाटर कांसेप्ट पर ध्यान दे रही है. इसके लिए हिमाचल प्रदेश में 59 वाटर टेस्टिंग लैब स्थापित की जा (water testing lab)रही है.

59 water testing labs to be built in Himachal
वाटर टेस्टिंग लैब
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Published : Mar 25, 2022, 6:09 PM IST

शिमला: हर घर को नल से जल प्रदान करने वाला हिमाचल देश का पहला राज्य होने जा रहा है. इसके साथ ही राज्य सरकार का जल शक्ति विभाग पेयजल की शुद्धता पर फोकस कर (Emphasis on purity of water in Himachal)रहा है. हिमाचल सरकार के जल शक्ति मंत्री महेंद्र सिंह ठाकुर ने कहा कि प्रदेश सरकार हर नागरिक को शुद्ध पेयजल उपलब्ध करवाने को अपनी प्राथमिकता समझती है. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार के महत्वाकांक्षी जल जीवन मिशन कार्यक्रम में हिमाचल ने बेहतर काम किया .

पीएम नरेंद्र मोदी ने इसके लिए हिमाचल की पीठ थपथपाई है. अब राज्य सरकार पेयजल की शुद्धता सुनिश्चित करने के लिए क्वालिटी वाटर कांसेप्ट पर ध्यान दे रही है. इसके लिए हिमाचल प्रदेश में 59 वाटर टेस्टिंग लैब स्थापित की जा (water testing lab)रही. जिला स्तर पर 14 प्रयोगशालाएं काम करेंगी.वहीं, राज्य पेयजल एवं स्वच्छता संगठन के निदेशक व मुख्य अभियंता इंजीनियर जोगिंद्र सिंह चौहान ने बताया कि राज्य सरकार के स्वर्णिम जयंती कार्यक्रम की श्रृंखला में शुद्ध पेयजल पर केंद्रित अभियान चलाया गया था.

उन्होंने बताया कि वर्ष 2021 में अक्टूबर माह तथा पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी जयंती के उपलक्ष्य में 25 दिसंबर 2021 से 24 जनवरी 2022 तक शुद्ध जल अभियान चलाया गया. इस अवधि के दौरान कुल 90958 वाटर सैंपल जांचे गए. इसके तहत जून माह में 22697, अक्टूबर माह में 42004 और 25 दिसंबर से 24 जनवरी तक 26257 जल नमूनों के परीक्षण किए गए. उन्होंने कहा कि जल शक्ति विभाग व कार्यन्वयन सहायता एजेंसी की सहभागिता से जल शुद्धता के लिए बड़े स्तर पर जागरूकता अभियान चलाए जा रहे.

अभियान में जनता को भी प्रयोगशालाओं व फील्ड टेस्ट किट के माध्यम से वाटर सैंपल टेस्ट करना सिखाया जा रहा है.निदेशक ने कहा कि जल जीवन मिशन के शुरू होने से पहले आमजन के लिए जल शुद्धता परीक्षण का फील्ड टेस्ट किट के अतिरिक्त कोई दूसरा माध्यम नहीं था, लेकिन अब जल जीवन मिशन के अन्तर्गत केन्द्र सरकार द्वारा प्रत्येक राज्य में जल परीक्षण प्रयोगशालाएं स्थापित कर आमजन के लिए जल शुद्धता परीक्षण की सुविधा उपलब्ध करवा एक क्रांतिकारी कदम उठाया है.

उन्होंने कहा कि राज्य में कुल 59 प्रयोगशालाएं स्थापित की जा रही हैं, जिनमें 14 जिला स्तरीय, 45 उपमंडल स्तरीय जल परीक्षण प्रयोगशालाएं शामिल हैं. अब तक राज्य की 44 प्रयोगशालाओं को राष्ट्रीय मानकों के आधार पर नेशनल एक्रीडेशन बोर्ड फॉर टेस्टिंग एंड कैलिब्रेशन लेबोरेटरीज (एनएबीएल) से सर्टिफिकेशन मिल चुका है. इसके अतिरिक्त प्रदेश में एक राज्य स्तरीय प्रयोगशाला भी स्थापित की जा रही है. जिसमें जल नमूनों के राष्ट्रीय ब्यूरो मानक के हिसाब से सभी भौतिक, रासायनिक व जीवाणु जल नमूनों के परीक्षण किए जाएंगे. जल शक्ति मंत्री महेंद्र सिंह ठाकुर ने बताया कि निकट भविष्य में और अधिक नमूनों की जांच कर प्रदेश के हर घर में नल से शुद्ध जल उपलब्ध करवाना सुनिश्चित किया जाएगा.

ये भी पढ़ें :विश्व विख्यात शक्तिपीठ श्री नैना देवी के सौंदर्यीकरण और विकास के लिए जिला प्रशासन का मास्टर प्लान तैयार

शिमला: हर घर को नल से जल प्रदान करने वाला हिमाचल देश का पहला राज्य होने जा रहा है. इसके साथ ही राज्य सरकार का जल शक्ति विभाग पेयजल की शुद्धता पर फोकस कर (Emphasis on purity of water in Himachal)रहा है. हिमाचल सरकार के जल शक्ति मंत्री महेंद्र सिंह ठाकुर ने कहा कि प्रदेश सरकार हर नागरिक को शुद्ध पेयजल उपलब्ध करवाने को अपनी प्राथमिकता समझती है. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार के महत्वाकांक्षी जल जीवन मिशन कार्यक्रम में हिमाचल ने बेहतर काम किया .

पीएम नरेंद्र मोदी ने इसके लिए हिमाचल की पीठ थपथपाई है. अब राज्य सरकार पेयजल की शुद्धता सुनिश्चित करने के लिए क्वालिटी वाटर कांसेप्ट पर ध्यान दे रही है. इसके लिए हिमाचल प्रदेश में 59 वाटर टेस्टिंग लैब स्थापित की जा (water testing lab)रही. जिला स्तर पर 14 प्रयोगशालाएं काम करेंगी.वहीं, राज्य पेयजल एवं स्वच्छता संगठन के निदेशक व मुख्य अभियंता इंजीनियर जोगिंद्र सिंह चौहान ने बताया कि राज्य सरकार के स्वर्णिम जयंती कार्यक्रम की श्रृंखला में शुद्ध पेयजल पर केंद्रित अभियान चलाया गया था.

उन्होंने बताया कि वर्ष 2021 में अक्टूबर माह तथा पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी जयंती के उपलक्ष्य में 25 दिसंबर 2021 से 24 जनवरी 2022 तक शुद्ध जल अभियान चलाया गया. इस अवधि के दौरान कुल 90958 वाटर सैंपल जांचे गए. इसके तहत जून माह में 22697, अक्टूबर माह में 42004 और 25 दिसंबर से 24 जनवरी तक 26257 जल नमूनों के परीक्षण किए गए. उन्होंने कहा कि जल शक्ति विभाग व कार्यन्वयन सहायता एजेंसी की सहभागिता से जल शुद्धता के लिए बड़े स्तर पर जागरूकता अभियान चलाए जा रहे.

अभियान में जनता को भी प्रयोगशालाओं व फील्ड टेस्ट किट के माध्यम से वाटर सैंपल टेस्ट करना सिखाया जा रहा है.निदेशक ने कहा कि जल जीवन मिशन के शुरू होने से पहले आमजन के लिए जल शुद्धता परीक्षण का फील्ड टेस्ट किट के अतिरिक्त कोई दूसरा माध्यम नहीं था, लेकिन अब जल जीवन मिशन के अन्तर्गत केन्द्र सरकार द्वारा प्रत्येक राज्य में जल परीक्षण प्रयोगशालाएं स्थापित कर आमजन के लिए जल शुद्धता परीक्षण की सुविधा उपलब्ध करवा एक क्रांतिकारी कदम उठाया है.

उन्होंने कहा कि राज्य में कुल 59 प्रयोगशालाएं स्थापित की जा रही हैं, जिनमें 14 जिला स्तरीय, 45 उपमंडल स्तरीय जल परीक्षण प्रयोगशालाएं शामिल हैं. अब तक राज्य की 44 प्रयोगशालाओं को राष्ट्रीय मानकों के आधार पर नेशनल एक्रीडेशन बोर्ड फॉर टेस्टिंग एंड कैलिब्रेशन लेबोरेटरीज (एनएबीएल) से सर्टिफिकेशन मिल चुका है. इसके अतिरिक्त प्रदेश में एक राज्य स्तरीय प्रयोगशाला भी स्थापित की जा रही है. जिसमें जल नमूनों के राष्ट्रीय ब्यूरो मानक के हिसाब से सभी भौतिक, रासायनिक व जीवाणु जल नमूनों के परीक्षण किए जाएंगे. जल शक्ति मंत्री महेंद्र सिंह ठाकुर ने बताया कि निकट भविष्य में और अधिक नमूनों की जांच कर प्रदेश के हर घर में नल से शुद्ध जल उपलब्ध करवाना सुनिश्चित किया जाएगा.

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