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उपायुक्त को सौंपा तीर्थन घाटी का विजन डॉक्यूमेंट, जानिए क्या है लोगों की मांग - latest news kullu

कुल्लू उपमंडल बंजार की तीर्थन घाटी के शाईरोपा में ग्राम पंचायतों के जनप्रतिनिधिओं और पर्यटन कारोबारियों के द्वारा संयुक्त रूप से तैयार विजन डॉक्यूमेंट उपायुक्त आशुतोष गर्ग को सौंपा. इसमें कई सुझाव दिए गए.

विजन डॉक्यूमेंट
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Published : Sep 10, 2021, 6:02 PM IST

कुल्लू : उपमंडल बंजार की तीर्थन घाटी के शाईरोपा में स्थानीय ग्राम पंचायतों के जनप्रतिनिधिओं और पर्यटन कारोबारियों के द्वारा संयुक्त रूप से तैयार विजन डॉक्यूमेंट उपायुक्त आशुतोष गर्ग को सौंपा. विशेष बैठक में कारोबारियों ने पारिस्थिति के अनुरूप बड़ी-बड़ी इमारतें बनाए जाने का विरोध जताया. जिसमें लोगों ने दस कमरों से अधिक व्यावसायिक भवनों के निमार्ण पर प्रतिबंध लगाने, इमारत साढ़े तीन मंजिल से ऊंची ना होने और किसी भी व्यवसाई को पानी के मूल स्त्रोत से पानी के कनेक्शन जोड़ने की अनुमति न देने की मांग की गई.

लोगों ने यह भी मांग की किसी भी व्यावसायिक यूनिट के निर्माण में स्थानीय मजदूरों को कार्य के लिए प्राथमिकता देना अनिवार्य हो. इसके साथ ही बेहतर पर्यटन संचालन के लिए स्थानीय लोगों को समय-समय पर प्रशिक्षण का प्रावधान करने की मांग की गई. इसके अलावा पर्यावरण के संरक्षण एवं संवर्धन के लिए भी स्थानीय लोगों द्वारा सुझाव रखे गए. इस बैठक में चर्चा के दौरान मनरेगा के तहत पर्यटन विकास से जुड़ी गतिविधियों को लेकर जिला परियोजना आधिकारी ने लोगों को जानकारी दी.

इस बैठक के दौरान उपायुक्त आशुतोष गर्ग ने लोगों द्वारा सुझाए सुझावों और प्रयासों पर कहा कि आगामी ग्राम सभा में इस दस्तावेज पर प्रस्ताव पारित करने के बाद मसौदा तैयार करके मंजूरी के लिए सरकार को भेजा जाएगा. उपायुक्त ने कहा कि स्पेशल इको टूरिज्म जोन बनाने की यह नीति निश्चित तौर पर स्थानीय लोगों के लिए रोजगार प्रदायक और लाभकारी साबित होगी.

कुल्लू : उपमंडल बंजार की तीर्थन घाटी के शाईरोपा में स्थानीय ग्राम पंचायतों के जनप्रतिनिधिओं और पर्यटन कारोबारियों के द्वारा संयुक्त रूप से तैयार विजन डॉक्यूमेंट उपायुक्त आशुतोष गर्ग को सौंपा. विशेष बैठक में कारोबारियों ने पारिस्थिति के अनुरूप बड़ी-बड़ी इमारतें बनाए जाने का विरोध जताया. जिसमें लोगों ने दस कमरों से अधिक व्यावसायिक भवनों के निमार्ण पर प्रतिबंध लगाने, इमारत साढ़े तीन मंजिल से ऊंची ना होने और किसी भी व्यवसाई को पानी के मूल स्त्रोत से पानी के कनेक्शन जोड़ने की अनुमति न देने की मांग की गई.

लोगों ने यह भी मांग की किसी भी व्यावसायिक यूनिट के निर्माण में स्थानीय मजदूरों को कार्य के लिए प्राथमिकता देना अनिवार्य हो. इसके साथ ही बेहतर पर्यटन संचालन के लिए स्थानीय लोगों को समय-समय पर प्रशिक्षण का प्रावधान करने की मांग की गई. इसके अलावा पर्यावरण के संरक्षण एवं संवर्धन के लिए भी स्थानीय लोगों द्वारा सुझाव रखे गए. इस बैठक में चर्चा के दौरान मनरेगा के तहत पर्यटन विकास से जुड़ी गतिविधियों को लेकर जिला परियोजना आधिकारी ने लोगों को जानकारी दी.

इस बैठक के दौरान उपायुक्त आशुतोष गर्ग ने लोगों द्वारा सुझाए सुझावों और प्रयासों पर कहा कि आगामी ग्राम सभा में इस दस्तावेज पर प्रस्ताव पारित करने के बाद मसौदा तैयार करके मंजूरी के लिए सरकार को भेजा जाएगा. उपायुक्त ने कहा कि स्पेशल इको टूरिज्म जोन बनाने की यह नीति निश्चित तौर पर स्थानीय लोगों के लिए रोजगार प्रदायक और लाभकारी साबित होगी.

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