चंबा: जिला की सीमाओं ओर चौकी थानों में पिछले करीब बीस सालों से अपनी सेवाएं देने वाले एसपीओ को अपने परिवार चलाने के लिए जदो जहद करनी पड़ रही है. केंद्र सरकार ने चंबा में वर्ष 1998 और 1999 में तैनात किए इन एसपीओ को पहले तीन हजार मिलता था लेकिन उसके बाद उनका वेतन केंद्र सरकार ने छह हजार की जिसमें एक हजार राज्य सरकार भी अलग से अदा करती है.
बता दें कि हिमाचल की तुलना में अन्य राज्यों में एसपीओ को सरकार 14000 से 18000 हजार देती है लेकिन चंबा जिला में करीब पांच सौ के आसपास एसपीओ सेवाएं दिन रात देते है लेकिन उन्हें मात्र छह हजार मिलता है. इतने पैसों में इनके परिवार का गुजारा नहीं हो पा रहा है. ऐसे में एसपीओ संघ चबा ने कोटी में सरकार से अपनी मांगे मनवाने के लिए रणनीति बनाई जिससे उन्हें भी अन्य राज्यों की तुलना में वेतन मिल सकें.
वहीं, दूसरी ओर एसपीओ चंबा के जवानों को कहना है कि हम पिछले 20 सालों से अपनी सेवाएं दे रहे हैं और हमें मात्र 7000 रुपये मिलता है जिससे हमारे परिवार का पालन पोषण नहीं होता है. हमें बॉर्डर सहित थाना चौकी में सेवाएं देनी होती है लेकिन उसके बावजूद भी सरकार हमारी ओर ध्यान नहीं दे रही है. उन्होंने सरकार से मांग की है कि उन्हें जम्मू-कश्मीर की तर्ज पर वेतन दिया जाए जिससे वह अपने परिवार का पालन पोषण कर सकें.
वहीं, दूसरी और एसपीओ संघ के प्रधान श्याम सिंह का कहना है कि हमने कई बार सरकार को कई बार ज्ञापन दिए लेकिन कोई असर नहीं हुआ हमारे कई साथी 20 सालों से काम कर रहे हैं लेकिन 7000 में उनका परिवार चलाना बहुत मुश्किल है. उन्होंने सरकार से मांग की है कि सरकार हमें हरियाणा और जम्मू कश्मीर की तर्ज पर वेतन दें.
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