बिलासपुर: अखिल भारतीय आर्युविज्ञान संस्थान (एम्स) बिलासपुर अब जनता की सुविधा के लिए तैयार हो गया है. एम्स बिलासपुर को अब देश के प्रधानमंत्री द्वारा उदघाटन का इंतजार (AIIMS Bilaspur inauguration) है. एम्स बिलासपुर के अधिकारियों ने बताया कि सितंबर माह में एम्स को 150 आपात बैड की सुविधा और आईसीयू सुविधा के साथ शुरू कर दिया जाएगा. बता दें कि एम्स बिलासपुर में पहले से ही ओपीडी सेवाएं दी जा रही हैं और अब आईपीडी सेवाएं भी शुरू होने जा रही हैं.
एम्स में आईपीडी सुविधा शुरू होना बिलासपुर ही नहीं बल्कि प्रदेशभर के लिए गौरव की बात है. हिमाचल प्रदेश अब स्वास्थ्य की दृष्टि से आत्म निर्भर होगा और किसी भी मरीज को हिमाचल से बाहर उपचार के लिए जाने की आवश्यकता नहीं पड़ेगी. बता दें कि एम्स संस्थान इसी माह में पूरी तरह से बनकर तैयार हो जाएगा. इसके तैयार होने से शिमला हीं नहीं बल्कि कांगड़ा जिले के टांडा मेडिकल काॅलेज, हमीरपुर सहित अन्य जिलों के बड़े स्वास्थ्य संस्थानों को भी राहत मिलेगी.
वर्तमान की बात करें, तो अभी बिलासपुर एम्स का निर्माण कार्य लगभग पूरा हो चुका है और कोरोना संकट की वजह से काम पूरा करने के लक्ष्य में देरी हुई थी. इसलिए ओपीडी को आयुष भवन में अस्थायी तौर पर शुरू किया गया था. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से हरी झंडी मिलने के बाद ही यहां पर ओपीडी शुरू की गई है. यहां पर लोगों का रूटीन के चेकअप व उपचार की सुविधा मिलना शुरू हो गई है.
जल्द होगी भर्ती: एम्स बिलासपुर के निदेशक डॉ. वीर सिंह नेगी ने कहा कि जनवरी 2020 में ओपीडी शुरू करने की योजना (AIIMS Bilaspur recruitment) थी, लेकिन कोरोना संकट की वजह से यह कार्य देरी से हुआ है. उन्होंने बताया कि इस समय यहां पर 72 सुपर स्पेशलिस्ट उपलब्ध हैं. जबकि पीजीआई स्तर पर की गई नियुक्तियों में 183 के मुकाबले 85 डॉक्टर चयनित हुए थे और 72 ने ही अपनी सेवाएं शुरू की हैं. ऐसे में शीघ्र ही सुपर स्पेशलिस्ट की नियुक्तियों को लेकर प्रक्रिया शुरू की जा रही है. इसके अलावा स्पोर्टिंग स्टाफ की नियुक्तियों लेकर भी भर्ती की जा रही है.
गौरतलब है कि 1.351 करोड़ रुपए की लागत से बन रहे एम्स का शिलान्यास प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 3 अक्टूबर 2017 को लुहणू में किया था. 205 एकड़ भूमि पर बन रहे एम्स का प्रत्येक भवन सड़क से जुड़ा है. ओपीडी के साथ अस्पताल में 750 बिस्तर होंगें, जिनमें 320 साधारण व 300 बिस्तर विशिष्ट श्रेणी के होंगे. इमरजेंसी व ट्रामा के साथ 130 बिस्तरों का इंटेंसिव केयर यूनिट अलग से होगा. एम्स में एक मेडिकल कॉलेज भी होगा, जिसमें 100 सीटें आरक्षित होंगी.
इसके अलावा यहां एक नर्सिंग कॉलेज भी होगा. इस नर्सिंग कॉलेज में 60 सीटें होंगी. इसी के साथ बिलासपुर के एम्स में 9 स्पेशलिटी डिपार्टमेंट और 9 ही सुपर स्पेशलिटी डिपार्टमेंट शुरू किए जाएंगे. जिनमें मुख्य रूप से जनरल मेडिसिन, सर्जरी, ईएनटी, पिडयाट्रिकस, ऑर्थोपेडिक्स, सर्जिकल ऑन्कोलॉजी, पीडियाट्रिक सर्जरी, न्यूरोलॉजी व प्लास्टिक सर्जरी जैसी कई सुविधाएं शुरू की जाएंगी. वहीं, एक्स-रे, अल्ट्रासाउंड की सुविधा भी ओपीडी में मिलेगी.
नवरात्रों में कर सकते हैं प्रधानमंत्री शुभारंभ: जानकारी के अनुसार बिलासपुर एम्स का शुभारंभ देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी करने आ (PM Modi Bilaspur tour) रहे है. इसी माह बिलासपुर को दौरा उनको तय हुआ है, भाजपा सूत्रों के अनुसार प्रधानमंत्री नवरात्रों में एम्स का शुभारंभ करेंगे. जिसको लेकर बिलासपुर में तैयारियां शुरू हो गई हैं. एम्स बिलासपुर के अस्पताल परिसर को पांच अलग अलग ब्लॉक में विभाजित किया गया है. इसमें पहला ए ब्लॉक होगा, जिसमें 150 आईपीडी बैड स्थापित होंगे.
उसके बाद बी ब्लॉक में 10 सुपर स्पेशलिटी बैड स्थापित (Facilities in AIIMS Bilaspur) होंगे. ब्लॉक सी में लैब, रेडियोलॉजिस्ट और पैथ लैब स्थापित कर दी गई है. ब्लॉक डी में दो ऑपरेशन थियेटर, दो जनरल ऑपरेशन थियेटर और एक गायनी ऑपरेशन थियेटर स्थापित होगा. इसके साथ यहां 10 बैड की व्यवस्था भी की गई है. अस्पताल परिसर का अंतिम और लास्ट ब्लॉक ई होगा, जिसमें 16 बिस्तर आईसीयू स्थापित कर दिए गए हैं.
मेडिकल कॉलेज व नर्सिंग संस्थान भी शुरू: एम्स बिलासपुर में अलग अलग आठ हास्टल स्थापित हो चुके हैं. सभी नर्सिंग स्टॉफ, चिकित्सकों को रिहायश की सुविधा एम्स बिलासपुर के अंदर दी जा रही है. एम्स में 12 जनवरी 2021 को ही एमबीबीएस की कक्षाएं शुरू कर दी गई थी और 50 सीटों पर बच्चों को पढ़ाया जा रहा था. अब इस वर्ष 100 सीटों को शुरू करने की तैयारी कर दी गई है. इसके साथ ही नर्सिंग कॉलेज में भी 60 सीटों पर नर्सिंग स्टाफ व अन्य को प्रशिक्षित किया जाएगा. एम्स परिसर में चार बड़े-बड़े सभागार 120 बच्चों की बैठने की क्षमता के साथ बनकर तैयार है.
क्या कहते हैं एम्स पीआरओ: एम्स बिलासपुर के पीआरओ डॉ. रूपाली ने बताया कि परिसर में 155 नर्सिंग स्टॉफ को तैनात कर दिया गया है. नर्सिंग कॉलेज को शुरू करने के लिए सात नर्सिंग टयूटर, पांच प्रोफेशर सहित अन्य स्टॉफ को तैनात कर दिया गया है. एम्स बिलासपुर का शिलान्यास 3 अक्टूबर 2017 को किया गया था और उसके बाद 21 जनवरी 2019 को भूमि पूजन के बाद जून 2019 में इसके निर्माण का कार्य शुरू कर दिया गया था.
किस क्षेत्र से कितनी होगी एम्स की दूरी
हमीरपुर | 1ः30 घंटे |
शिमला | 3ः00 घंटे |
मंडी | 2ः00 घंटे |
कांगड़ा | 4ः00 घंटे |
कुल्लू | 4ः30 घंटे |
सोलन | 4ः30 घंटे |
चंबा | 8ः00 घंटे |
किन्नौर | 9ः00 घंटे |
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