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सरकार के साथ 9वें दौर की बातचीत से पहले किसानों का शक्ति प्रदर्शन, बोले- ये तो झांकी है - farmer protest

किसानों ने दिल्ली के चारों ओर ट्रैक्टर रैली निकाली जिसे उन्होंने 26 जनवरी से पहले झांकी बताया. किसानों का कहना है कि वो 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस के मौके पर राजपथ पर ट्रैक्टर परेड करेंगे जिसके लिए ये तैयारी है.

farmer protest
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Published : Jan 7, 2021, 7:51 PM IST

सोनीपतः किसानों और सरकार के बीच 8 जनवरी यानि शुक्रवार को 9वें दौर की बातचीत होनी है. जिससे पहले किसानों ने शक्ति प्रदर्शन करते हुए केएमपी पर ट्रैक्टर परेड कराई. इतना ही नहीं किसानों ने दिल्ली के चारों तरफ परेड की रिहर्सल की. किसानों का कहना है कि अगर सरकार ने तीनों नए कृषि कानून वापस नहीं लिए तो 26 जनवरी को राजपथ पर ट्रैक्टर परेड कराई जाएगी. उससे पहले ये किसानों की तरफ से झांकी है.

हाईवे पर ट्रैक्टर ही ट्रैक्टर

दिल्ली के चारों तरफ जहां-जहां किसान धरना दे रहे हैं वहां-वहां उन्होंने ट्रैक्टर रैली निकाली. हरियाणा में केएमपी पर किसानों ने कई किलोमीटर लंबी रैली निकाली. केएमपी पर हर तरफ ट्रैक्टर ही दिखाई दे रहे थे.

सरकार के साथ 9वें दौर की बातचीत से पहले किसानों का शक्ति प्रदर्शन

महिलाओं ने भी लिया हिस्सा

हरियाणा की महिलाओं ने भी किसानों के साथ रैली में हिस्सा लिया. इसके लिए महिलाएं कई दिन से प्रदेश के अलग-अलग जिलों में तैयारी कर रही थीं. महिलाओं का कहना है कि वो भी इस आंदोलन में अपना नाम दर्ज करवाना चाहती हैं.

'26 जनवरी को नेताओं को झंडा नहीं फहराने देंगे'

फतेहाबाद के टोहाना में किसानों ने कहा कि गणतंत्र दिवस पर वो किसी भी नेता को झंडा नहीं फहराने देंगे. उनका कहना था कि जब तक सरकार तीनों कृषि कानून वापस नहीं लेती तब तक प्रदर्शन जारी रहेगा.

tractor rally
पलवल में ट्रैक्टर रैली निकालते किसान

26 जनवरी को राजपथ पर परेड का ऐलान

किसानों ने ऐलान किया है कि अगर केंद्र सरकार ने तीनों कृषि कानून वापस नहीं लिए तो वो 26 जनवरी को राजपथ पर ट्रैक्टर परेड करेंगे. जिसके लिए आज रिहर्सल किया गया है. आपको ये बताते चलें कि इस किसान परेड के लिए किसान कई दिन से तैयारी कर रहे थे.

ये भी पढ़ेंः LIVE : किसानों की ट्रैक्टर रैली समाप्त, टिकैत बोले- 2024 तक चलेगा आंदोलन

हरियाणा के अलग-अलग जिलों में परेड

जो किसान केएमपी पहुंच सकते थे उन्होंने केएमपी पर जाकर ट्रैक्टर परेड में हिस्सा लिया और बाकी किसानों ने अपने-अपने जिलों में ही ट्रैक्टर रैली निकाली. हरियाणा के लगभग सभी जिलों में किसानों की ट्रैक्टर परेड की तस्वीरें देखी गई.

tractor rally
रोहतक में ट्रैक्टर रैली निकालते किसान

'2024 तक करेंगे प्रदर्शन'

उत्तर प्रदेश के किसानों का प्रतिनिधित्व कर रहे किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा कि अगर सरकार 2024 तक भी ये तीनों कानून वापस नहीं लेगी तो हम तब तक प्रदर्शन करते रहेंगे.

ये भी पढ़ेंः कैथलः गणतंत्र दिवस के अवसर पर किसी नेता को नहीं फहराने दिया जाएगा तिरंगा- किसान नेता

ट्रैक्टर रैली का मकसद क्या ?

दरअसल किसान अपनी ताकत का अंदाजा सरकार को करना चाहते हैं इसीलिए इस ट्रैक्टर परेड को एक शक्ति प्रदर्शन की तरह पेश किया गया है. किसान ये दिखाना चाहते हैं कि उनके साथ कितने लोग हैं और अगर सरकार ने कानून वापस नहीं लिए तो 26 जनवरी को क्या हो सकता है.

farmer protest
गुरुग्राम में ट्रैक्टर रैली निकालते किसान

8 दौर की बातचीत से भी नहीं निकला हल

जब से किसान दिल्ली के दर पर आकर बैठे हैं तब से लेकर अब तक कई दौर की बातचीत के बाद भी कोई हल नहीं निकल पाया है. क्योंकि किसान तीनों कृषि कानूनों को वापस लेने पर अड़े हैं और सरकार किसी भी हाल में इन कानूनों को वापस लेना नहीं चाहती, लेकिन केंद्र सरकार इन कानूनों में कुछ बदलाव का प्रस्ताव किसानों को दे चुकी है. जिसे किसानों ने दोनों बार खारिज कर दिया था.

सोनीपतः किसानों और सरकार के बीच 8 जनवरी यानि शुक्रवार को 9वें दौर की बातचीत होनी है. जिससे पहले किसानों ने शक्ति प्रदर्शन करते हुए केएमपी पर ट्रैक्टर परेड कराई. इतना ही नहीं किसानों ने दिल्ली के चारों तरफ परेड की रिहर्सल की. किसानों का कहना है कि अगर सरकार ने तीनों नए कृषि कानून वापस नहीं लिए तो 26 जनवरी को राजपथ पर ट्रैक्टर परेड कराई जाएगी. उससे पहले ये किसानों की तरफ से झांकी है.

हाईवे पर ट्रैक्टर ही ट्रैक्टर

दिल्ली के चारों तरफ जहां-जहां किसान धरना दे रहे हैं वहां-वहां उन्होंने ट्रैक्टर रैली निकाली. हरियाणा में केएमपी पर किसानों ने कई किलोमीटर लंबी रैली निकाली. केएमपी पर हर तरफ ट्रैक्टर ही दिखाई दे रहे थे.

सरकार के साथ 9वें दौर की बातचीत से पहले किसानों का शक्ति प्रदर्शन

महिलाओं ने भी लिया हिस्सा

हरियाणा की महिलाओं ने भी किसानों के साथ रैली में हिस्सा लिया. इसके लिए महिलाएं कई दिन से प्रदेश के अलग-अलग जिलों में तैयारी कर रही थीं. महिलाओं का कहना है कि वो भी इस आंदोलन में अपना नाम दर्ज करवाना चाहती हैं.

'26 जनवरी को नेताओं को झंडा नहीं फहराने देंगे'

फतेहाबाद के टोहाना में किसानों ने कहा कि गणतंत्र दिवस पर वो किसी भी नेता को झंडा नहीं फहराने देंगे. उनका कहना था कि जब तक सरकार तीनों कृषि कानून वापस नहीं लेती तब तक प्रदर्शन जारी रहेगा.

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पलवल में ट्रैक्टर रैली निकालते किसान

26 जनवरी को राजपथ पर परेड का ऐलान

किसानों ने ऐलान किया है कि अगर केंद्र सरकार ने तीनों कृषि कानून वापस नहीं लिए तो वो 26 जनवरी को राजपथ पर ट्रैक्टर परेड करेंगे. जिसके लिए आज रिहर्सल किया गया है. आपको ये बताते चलें कि इस किसान परेड के लिए किसान कई दिन से तैयारी कर रहे थे.

ये भी पढ़ेंः LIVE : किसानों की ट्रैक्टर रैली समाप्त, टिकैत बोले- 2024 तक चलेगा आंदोलन

हरियाणा के अलग-अलग जिलों में परेड

जो किसान केएमपी पहुंच सकते थे उन्होंने केएमपी पर जाकर ट्रैक्टर परेड में हिस्सा लिया और बाकी किसानों ने अपने-अपने जिलों में ही ट्रैक्टर रैली निकाली. हरियाणा के लगभग सभी जिलों में किसानों की ट्रैक्टर परेड की तस्वीरें देखी गई.

tractor rally
रोहतक में ट्रैक्टर रैली निकालते किसान

'2024 तक करेंगे प्रदर्शन'

उत्तर प्रदेश के किसानों का प्रतिनिधित्व कर रहे किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा कि अगर सरकार 2024 तक भी ये तीनों कानून वापस नहीं लेगी तो हम तब तक प्रदर्शन करते रहेंगे.

ये भी पढ़ेंः कैथलः गणतंत्र दिवस के अवसर पर किसी नेता को नहीं फहराने दिया जाएगा तिरंगा- किसान नेता

ट्रैक्टर रैली का मकसद क्या ?

दरअसल किसान अपनी ताकत का अंदाजा सरकार को करना चाहते हैं इसीलिए इस ट्रैक्टर परेड को एक शक्ति प्रदर्शन की तरह पेश किया गया है. किसान ये दिखाना चाहते हैं कि उनके साथ कितने लोग हैं और अगर सरकार ने कानून वापस नहीं लिए तो 26 जनवरी को क्या हो सकता है.

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गुरुग्राम में ट्रैक्टर रैली निकालते किसान

8 दौर की बातचीत से भी नहीं निकला हल

जब से किसान दिल्ली के दर पर आकर बैठे हैं तब से लेकर अब तक कई दौर की बातचीत के बाद भी कोई हल नहीं निकल पाया है. क्योंकि किसान तीनों कृषि कानूनों को वापस लेने पर अड़े हैं और सरकार किसी भी हाल में इन कानूनों को वापस लेना नहीं चाहती, लेकिन केंद्र सरकार इन कानूनों में कुछ बदलाव का प्रस्ताव किसानों को दे चुकी है. जिसे किसानों ने दोनों बार खारिज कर दिया था.

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