नूंह: जिले में मुर्गो की लड़ाई का खेल रोकने गई पुलिस पर सट्टेबाजों ने पत्थराव शुरू कर दिया. इस हमले में पुन्हाना पुलिस के दो जवान घायल हो गए है और दो गाड़ी क्षतिग्रस्त हो गई है. इस मामले में पुलिस किसी आरोपी को नहीं पकड़ पाई है.
सट्टेबाजों ने पुलिस पर किया हमला
पुन्हाना विधानसभा के लहरवाड़ी गांव में मुर्गो को लड़ाने का मैदान देखते ही देखते जंग का मैदान बन गया. मुर्गों की लड़ाई में पुलिस के दखल से वहां के दर्शक और सट्टेबाज आगबबूला हो गए. मुर्गों की लड़ाई तो रूक गई, लेकिन परेशान दर्शकों ने पुलिस पर ही पथराव शुरू कर दिए. इस हमले में पुलिस किसी आरोपी को नहीं पकड़ सकी है, लेकिन दो बाइक और दो लग्जरी कार बरामद करने में कामयाब हो गई.
खेला जा रहा था सट्टा
आपको बता दें कि इस जगह पर मुर्गों को लड़ाकर जुआ-सट्टा खेला जाता है. इस जुए-सट्टे रोकने के लिए पुलिस गई थी. जुआ खेल रहे लोगों ने ही पुलिसकर्मियों पर हमला कर दिया. जुआरियों ने पथराव के बाद एक पुलिस कर्मी की वर्दी तक फाड़ डाली. पुलिस की गाड़ी में भी तोड़फोड़ की गई. घटना के दौरान दो पुलिसकर्मी गंभीर रूप से घायल हो गए. घटना के बाद पुन्हाना पुलिस ने घायल पुलिसकर्मियों का मेडिकल करा दिया है.
मुर्गों की लड़ाई रोकने गई थी पुलिस
पुन्हाना पुलिस ने दो दर्जन नामजद आरोपियों के साथ लगभग 250 अन्य अज्ञाक लोगों के खिलाफ विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज कर लिया है. पुलिस के मुताबिक भीड़ में शामिल कुछ लोगों ने अन्य धारदार हथियारों, लाठी-डंडों से हमला किया. घायल पुलिसकर्मियों का नाम हेड कांस्टेबल गुलाब और धर्मेन्द्र है. हेड कांस्टेबल धर्मेन्द्र की वर्दी भी फाड़ डाली.
इन धाराओं के तहत मामला दर्ज
पुन्हाना थाना प्रभारी रामदयाल ने बताया कि फिलहाल मामले में आरोपी भूरा, रत्ती, रफीक, अरशद, रहीम, इरफान, हाकम, इमरान, इन्नूस, नासिर, हकीकत, बूचा, सलीम, मुस्ताक सहित लगभग 250 लोगों के खिलाफ भारतीय दंड सहिता की धारा 148, 149, 324, 333, 353, 307, 506, 186, 13-3-67 और गेम्बलिंग एक्ट के तहत मामला दर्ज किया गया है. अन्य आरोपियों की पहचान की जा रही है.
ऐसे लगाते हैं सट्टेबाज सट्टा
आपको बता दें कि नूंह में बड़े पैमाने पर मुर्गों की लड़ाई का खेल चलता है. जिले के गांव लहरवाड़ी में मुर्गो को लड़ाने का खेल बड़े पैमाने पर होता है. जिसमें आसपास गांवों सहित अन्य जिलों और अन्य राज्यों सहित दूर-दराज के लोग लगजरी गाड़ियों में आकर दांव लगाते हैं. बताया जाता है कि दांव लाखों रूपये तक के लगाए जाते हैं. खेल को देखने के लिए मौके पर हजारों की भीड़ भी मौजूद होती है. यह खेल गांव से अलग जंगलों में खेला जाता है, जहां पुलिस को पहुंचने में भी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है. रविवार को भी लगभग दो हजार लोगों की भीड़ मौजूद थी.