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चंडीगढ़ में पटाखे बैन होने से पशु मालिक खुश, कहा- इस बार नहीं डरेंगे जानवर - चंडीगढ़ पशु मालिक खुश पटाखा बैन

हरियाणा की अगर बात करें तो यहां के भी ज्यादातर जिलों में पटाखे छोड़ने पर बैन है. इस फैसले से पशु मालिक और बुजुर्ग काफी खुश हैं. चंडीगढ़ के पशु मालिकों ने भी एनजीटी और चंडीगढ़ प्रशासन के इस फैसले का स्वागत किया है.

pet owners in chandigarh welcome the decision of the chandigarh administration to ban  sale and use of firecrackers
चंडीगढ़ में पटाखे बैन होने से पशु मालिक खुश, कहा- इस बार नहीं डरेंगे जानवर
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Published : Nov 14, 2020, 12:45 PM IST

चंडीगढ़: आज पूरा देश दिवाली का जश्न मना रहा है, लेकिन इस बार जश्न थोड़ा अलग है क्योंकि देश के ज्यादातर हिस्से जहां वायु प्रदूषण खतरनाक स्तर पर है वहां पटाखे की बिक्री और खरीद पर पूरी तरह से रोक है. ऐसे में एक तरफ जहां कुछ लोग एनजीटी के इस फैसले से मायूस हैं तो कई लोग ऐसे हैं जो खुश भी हैं.

हरियाणा की अगर बात करें तो यहां के भी ज्यादातर जिलों में पटाखे छोड़ने पर बैन है. इस फैसले से पशु मालिक और बुजुर्ग काफी खुश हैं. चंडीगढ़ के पशु मालिकों ने भी एनजीटी और चंडीगढ़ प्रशासन के इस फैसले का स्वागत किया है.

चंडीगढ़ में पटाखे बैन होने से पशु मालिक खुश, कहा- इस बार नहीं डरेंगे जानवर

पशु मालिकों ने कहा कि ये एक अच्छा निर्णय है. कुत्ते वास्तव में पटाखों की आवाज से प्रभावित होते हैं और हर साल वो दिवाली की रात सो नहीं पाते थे, लेकिन इस साल ऐसा नहीं होगा. वहीं चंडीगढ़ के बुजुर्गों ने कहा कि हर साल दिवाली के दिन पटाखों की आवाज से उन्हें बेचैनी होती थी. साथ ही दिवाली के अगले दिन प्रदूषण ज्यादा होने से भी उन्हें सास लेने में दिक्कत होती थी, लेकिन इस साल पटाखे बैन होने से उनकी दिवाली भी बिना परेशानियों के बीतने वाली है.

ये भी पढ़िए: चंडीगढ़ में पटाखे बैन होने से मुरझाए व्यापारियों के चेहरे, फैसले को बताया तुगलकी फरमान

गौरतलब है कि वायु प्रदूषण बढ़ने की आशंका को देखते हुए नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल ने खराब AQI वाले शहरों में 30 नवंबर तक पटाखों की बिक्री पर रोक लगाई है. एनजीटी ने अपने आदेश में कहा कि जिन शहरों में एम्बिएंट एयर क्वालिटी मॉडरेट है, वहां सिर्फ ग्रीन पटाखे ही बेचे जा सकते हैं.

चंडीगढ़: आज पूरा देश दिवाली का जश्न मना रहा है, लेकिन इस बार जश्न थोड़ा अलग है क्योंकि देश के ज्यादातर हिस्से जहां वायु प्रदूषण खतरनाक स्तर पर है वहां पटाखे की बिक्री और खरीद पर पूरी तरह से रोक है. ऐसे में एक तरफ जहां कुछ लोग एनजीटी के इस फैसले से मायूस हैं तो कई लोग ऐसे हैं जो खुश भी हैं.

हरियाणा की अगर बात करें तो यहां के भी ज्यादातर जिलों में पटाखे छोड़ने पर बैन है. इस फैसले से पशु मालिक और बुजुर्ग काफी खुश हैं. चंडीगढ़ के पशु मालिकों ने भी एनजीटी और चंडीगढ़ प्रशासन के इस फैसले का स्वागत किया है.

चंडीगढ़ में पटाखे बैन होने से पशु मालिक खुश, कहा- इस बार नहीं डरेंगे जानवर

पशु मालिकों ने कहा कि ये एक अच्छा निर्णय है. कुत्ते वास्तव में पटाखों की आवाज से प्रभावित होते हैं और हर साल वो दिवाली की रात सो नहीं पाते थे, लेकिन इस साल ऐसा नहीं होगा. वहीं चंडीगढ़ के बुजुर्गों ने कहा कि हर साल दिवाली के दिन पटाखों की आवाज से उन्हें बेचैनी होती थी. साथ ही दिवाली के अगले दिन प्रदूषण ज्यादा होने से भी उन्हें सास लेने में दिक्कत होती थी, लेकिन इस साल पटाखे बैन होने से उनकी दिवाली भी बिना परेशानियों के बीतने वाली है.

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गौरतलब है कि वायु प्रदूषण बढ़ने की आशंका को देखते हुए नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल ने खराब AQI वाले शहरों में 30 नवंबर तक पटाखों की बिक्री पर रोक लगाई है. एनजीटी ने अपने आदेश में कहा कि जिन शहरों में एम्बिएंट एयर क्वालिटी मॉडरेट है, वहां सिर्फ ग्रीन पटाखे ही बेचे जा सकते हैं.

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