फरीदाबाद: हरियाणा के 20 साल पुराने जूनियर शिक्षक भर्ती घोटाले (JBT Recruitment Scam) में हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री ओमप्रकाश चौटाला (Om Prakash Chautala) की सजा बीते बुधवार को पूरी हो गई है. साल 1999-2000 के दौरान 3206 जूनियर बेसिक ट्रेंड (जेबीटी) शिक्षकों की भर्ती में घोटाले के इस मामले में ओपी चौटाला, उनके बेटे अजय चौटाला और 53 अन्य आरोपियों को दिल्ली की कोर्ट ने दोषी करार देते हुए 10 साल की सजा सुनाई थी. वहीं अब अपने दादा की रिहाई पर हरियाणा के उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने पहली प्रतिक्रिया दी है.
सोमवार को हरियाणा के उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला फरीदाबाद के सेक्टर-12 स्थित हुडा कन्वेंशन सेंटर पहुंचे. जहां उन्होंने जिला कष्ट निवारण समिति की बैठक में हिस्सा लिया और 16 शिकायतों को सुना. इस दौरान दुष्यंत चौटाला ने अपने दादा और पूर्व सीएम ओमप्रकाश चौटाला की रिहाई पर खुशी जताई. उन्होंने कहा कि ये उन लोगों के लिए सबक है जिनकी वजह से उन्हें जेल जाना पड़ा. उन्होंने कहा कि अजय चौटाला भी 7 महीने बाद इसी तरह जेल से बाहर आ जाएंगे क्योंकि दोनों जनता की भलाई के लिए संघर्षशील रहे हैं.
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वहीं किसानों के मुद्दे पर दुष्यंत चौटाला ने कहा कि आज प्रदेश में न तो एमएसपी बंद हुई है न ही मंडियां. सरकार की कोशिश है कि किसान तकनीकी माध्यमों से खेती करें और किसानों की फसल को कम से कम समय में ज्यादा से ज्यादा भाव पर खरीदा जाए. इसके अलावा किसानों को दूसरी फसल बोने के लिए भी प्रेरित किया जा रहा है. प्रदेश की सरकार किसानों के हितों के लिए काम कर रही.
ओपी चौटाला को सजा में मिली है माफी
गौरतलब है कि जेबीटी भर्ती घोटाले में हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री ओमप्रकाश चौटाला की सजा बीते बुधवार को पूरी हो गई है. दिल्ली सरकार, हाई पावर कमेटी और तिहाड़ प्रशासन ने बीते माह ये तय किया था कि जिन कैदियों को 10 साल तक की सजा हुई है और उनकी सजा के छह माह बचे हुए हैं ऐसे कैदियों को सजा में माफी दी जाएगी. इसमें हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री ओम प्रकाश चौटाला का नाम शामिल था. जेल में रहने के दौरान ओपी चौटाला ने अभी तक 9 साल 9 महीने की सजा पूरी की थी.
2013 से जेल में काट रहे थे सजा
गौरतलब है कि वर्ष 1998 से 2000 के बीच हरियाणा के विभिन्न जिलों में तीन हजार से ज्यादा शिक्षकों की भर्ती अवैध तरीके से की गई थी. इस मामले की सुनवाई बाद में दिल्ली ट्रांसफर की गई थी. दिल्ली की अदालत ने ओम प्रकाश चौटाला और उनके बेटे अजय चौटाला को 10-10 साल की सजा सुनाई थी. दोनों को 16 जनवरी 2013 को तिहाड़ जेल में लाया गया था. फिलहाल दोनों कोविड के चलते इमरजेंसी पैरोल पर हैं. पैरोल की अवधि समाप्त होने पर अजय चौटाला को आत्मसमर्पण करना होगा.
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