फरीदाबाद: क्राइम ब्रांच सेक्टर-56 की टीम ने मनी ट्रांसफर एजेंट के साथ लाखों रुपये की छीनाझपटी की वारदात (faridabad snatching loot) में शामिल दो आरोपियों को गिरफ्तार किया है. गिरफ्तार किए गए आरोपियों की पहचान सुनील और विक्रम के रूप में हुई है. आरोपी सुनील गुरुग्राम के लोहसिंघानी गांव का रहने वाला है. वहीं आरोपी विक्रम फरीदाबाद के कबूलपुर गांव का निवासी है. दरअसल बीती 14 अगस्त को फरीदाबाद के थाना सेक्टर-58 में स्नैचिंग, लड़ाई–झगड़ा आदि धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज हुआ था.
इस मामले में जांच के दौरान सामने आया कि आरोपी सुनील ने अपने साथी विक्रम के साथ मिलकर मनी ट्रांसफर एजेंट की रैकी की थी. इनके दो अन्य साथियों अजय और सचिन ने इसी रेकी के आधार पर पीड़ित के साथ लूट की वारदात को अंजाम दिया था. पुलिस को दी अपनी शिकायत में पीड़ित अनिल ने बताया कि वह सीकरी गांव का रहने वाला है और सीकरी गांव की मार्केट में उसकी मोबाइल व मनी ट्रांसफर की दुकान है.
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13 अगस्त को जब अनिल रात करीब 10:30 बजे अपनी दुकान बंद करके अपने बैग में एक लैपटॉप, 5 मोबाइल फोन और 3 लाख 28 हजार रुपये लेकर पैदल अपने घर की तरफ जा रहा था तो रास्ते में हरफला रोड पर पीरबाबा चौक के पास पहुंचते ही एक मोटरसाइकिल पर सवार दो लड़कों ने उसके साथ गाली गलौज की और उसके पैसों वाले बैग को छीनने की कोशिश की. जब पीड़ित ने इसका विरोध किया तो एक आरोपी ने पीड़ित के सिर पर देसी कट्टे का बट मारा और बैग छीनकर मौके से फरार हो गए.
पीड़ित की शिकायत पर अज्ञात आरोपियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज करके जांच शुरू की गई. क्राइम ब्रांच-56 प्रभारी सुदीप सिंह की टीम ने 17 अगस्त को इस मामले में गुप्त सूत्रों की सूचना के आधार पर आरोपी सुनील को चाकू सहित कैली बाईपास मोड़ से गिरफ्तार कर लिया. इसके पश्चात आरोपी सुनील की निशानदेही पर आरोपी विक्रम को कुबूलपुर से गिरफ्तार किया गया. आरोपियों को अदालत में पेश करके एक दिन के पुलिस रिमांड पर लिया गया. जिसमें पूछताछ के दौरान सामने आया कि आरोपी सुनील पीड़ित अनिल का रिश्तेदार है और इस वारदात का मास्टरमाइंड भी सुनील ही है.
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आरोपी नशा करने के आदी हैं और कोई रोजगार नहीं होने के कारण नशे की आपूर्ति के लिए पैसों के लालच में उन्होंने इस वारदात को अंजाम दिया था. आरोपी सुनील अक्सर अनिल की दुकान पर आता रहता था और उसे इस बात की जानकारी थी कि अनिल रात को दुकान बंद करके पैसे और मोबाइल लेकर पैदल ही अपने घर पर जाता है. सुनील ने सोचा कि यदि मौका देखकर अनिल से पैसे छीन लिए जाए तो वह एक झटके में ही लखपति बन जाएंगे और मोटा माल उनके हाथ आ जाएगा. इसके बाद आरोपी सुनील ने अपने साथी विक्रम, अजय और सचिन के साथ मिलकर इस वारदात को अंजाम देने की योजना बनाई थी.
इस योजना के तहत आरोपी सुनील और विक्रम ने मिलकर तीन-चार दिनों तक अनिल की रेकी की, और वारदात के दिन जब पीड़ित अपने दुकान से पैसे लेकर घर की तरफ निकला था तो इन्होंने इसकी सूचना अपने दो अन्य साथियों अजय और सचिन को दी. जिन्होंने पीड़ित के साथ स्नैचिंग की वारदात को अंजाम दिया था. पूछताछ पूरी होने के बाद आरोपियों को दोबारा अदालत में पेश करके जेल भेज दिया गया है. इस मामले में फरार चल रहे दो आरोपियों को पुलिस द्वारा तलाश किया जा रहा है.
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