चरखी दादरी: रोहतक के पूर्व सांसद और कांग्रेस नेता दीपेंद्र हुड्डा ने प्रदेश की गठबंधन सरकार को लूट खसोट की सरकार बताया. उन्होंने कहा कि गठबंधन की सरकार का अघोषित कॉमन मिनिमम प्रोग्राम है. इसलिए इस सरकार में सबसे ज्यादा लूट-खसोट के लिए लड़ाई चल रही है.
'फसल के रेट के हिसाब से किसान को मुआवजा देना चाहिए'
किसानों के मुद्दे पर उन्होने कहा कि पिछले दिनों प्रदेश में हुई ओलावृष्टि से प्रभावित किसानों को एकड़ के अनुसार नहीं बल्कि फसल के रेट के हिसाब से किसान को मुआवजा देना चाहिए. ताकि किसानों के नुकसान की भरपाई हो सके. दीपेन्द्र हुड्डा होली पर्व पर गांव इमलोटा में आयोजित कुश्ती दंगल में विजेता पहलवानों को सम्मानित करने पहुंचे थे. इस दौरान उन्होंने कहा कि प्रदेश भर में बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि की वजह से देश का पेट भरने वाला अन्नदाता खुद दाने-दाने का मोहताज हो गया है.
'इंच-इंच की गिरदावरी होनी चाहिए'
किसान को ऐसी हालत से उबारने के लिए सरकार को फौरन आगे आना चाहिए. तमाम जिलों के गांवों में हर फसल, हर खेत के इंच-इंच की गिरदावरी होनी चाहिए. किसानों को पूर्ण मुआवजा मिलना चाहिए. मुआवजे की राशि उन किसानों को भी मिलनी चाहिए जिन्होंने फसलों का बीमा नहीं करवाया है.
हुड्डा ने सवाल उठाया कि ये कैसी कृषि बीमा योजना है. क्या इसी प्रकार की कंडीशन जीवन बीमा में भी आने वाली है. सरकार केवल किसानों के साथ ही ऐसी अव्यवहारिक कंडीशन की चोट क्यों लगा रही है? उन्होंने मांग की कि सरकार एक हफ्ते की समय सीमा निर्धारित कर हरियाणा की एक-एक इंच कृषि भूमि की स्पेशल गिरदावरी कराए और नुकसान के आकलन का परिणाम सार्वजनिक रूप से घोषित करके गांव की चौपाल में प्रत्येक किसान को बताए कि उसे कितना नुकसान हुआ है. इस दौरान दादरी विधायक सोमबीर सांगवान ने भी पहलवानों को सम्मानित किया.
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