चंडीगढ़: केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत अक्सर अपनी ही सरकार पर हमलावर रहते हैं. वो कई बार खुलेआम मंच से सरकार के कामकाज पर निशाना साध चुके हैं. अगले साल लोकसभा और हरियाणा विधानसभा चुनाव है. इन सब बयानों के बीच राजनीतिक गलियारों में ये चर्चाएं शुरू हो गईं कि क्या वो अब बीजेपी को भी छोड़ने की तैयारी कर रहे हैं. राव इंद्रजीत सिंह 2014 में लोकसभा चुनाव के पहले कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में शामिल हो गये थे.
गुरुग्राम की समस्याओं को लेकर चंडीगढ़ में अधिकारियों के साथ मीटिंग करने के बाद राजनीतिक बातचीत करते हुए उन्होंने कहा कि उनको लेकर कई तरह के सवाल किए जाते हैं. ये चर्चा है कि कि राव इंद्रजीत प्लेटफार्म टिकट लेकर बीजेपी में गये हैं. यानि बस कुछ समय के लिए वो बीजेपी में हैं. इन्हीं बातों का जवाब देते हुए उन्होंने कहा कि वो भाजपा में हैं और अभी भाजपा में ही रहने की मंशा है.
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अपनी बेटी आरती राव को टिकट दिलाने के बारे में बात करते हुए उन्होंने कहा कि आरती भाजपा की कार्यकर्ता हैं और कार्यकारिणी की भी सदस्य हैं. इसी नाते वो भाजपा के कार्यक्रमों में शामिल होती हैं. जहां तक टिकट की बात है तो इसका फैसला हाईकमान करेगा लेकिन इस बार हमें टिकट मिलने की उम्मीद है. क्योंकि अगर कर्नाटक में ऐसा हो सकता है तो हरियाणा में क्यों नहीं. आपको बता दें कि राव इंद्रजीत लगातार अपनी बेटी आरती राव को राजनीतिक तौर पर स्थापित करने और टिकट की कवायद में लगे रहे हैं.
अधिकारियों के साथ गुरुग्राम संसदीय क्षेत्र की समस्याओं को लेकर हुई बैठक पर राव इंद्रजीत ने कहा कि बैठक में प्रदेश से जुड़े कई मुद्दों पर चर्चा की गई. खासतौर पर दक्षिण हरियाणा के बारे में बात की गई. बैठक में स्वास्थ्य व्यवस्था, रेवाड़ी के एम्स, किसानों को मुआवजा और अन्य समस्याओं को लेकर चर्चा की गई. इसके साथ ही उन्होंने गुरुग्राम में जलभराव के मुद्दे पर कहा कि इस मुद्दे को सुलझाना आसान नहीं है क्योंकि गुरुग्राम में जल निकासी की व्यवस्था काफी खराब हो चुकी है.
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