चंडीगढ़: शुक्रवार को केंद्र सरकार ने राजीव गांधी खेल रत्न (Rajiv Gandhi Khel Ratna) पुरस्कार को मेजर ध्यान चंद (Major Dhyan Chand) के नाम पर रखने की घोषणा कर दी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस बारे में ट्वीट कर लिखा कि मेजर ध्यान चंद भारत (Major Dhyan Chand India) के उन अग्रणी खिलाड़ियों में रहे हैं, जो भारत के लिए सम्मान और गौरव लाए. यह सही है कि हमारे देश का सर्वोच्च खेल सम्मान उन्हीं के नाम पर रखा जाएगा. इस ट्वीट श्रृंखला में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस बारे में ट्वीट कर ओलंपिक (PM Modi Olympics) में शानदार प्रदर्शन करने वाली भारतीय हॉकी टीम के प्रदर्शन का भी जिक्र किया.
पीएम मोदी ने ट्वीट में लिखा, 'पुरुष और महिला हॉकी टीम के असाधारण प्रदर्शन ने हमारे पूरे देश का ध्यान आकर्षित किया है. हॉकी के प्रति एक नए सिरे से रुचि जाग रही है, जो पूरे भारत में उभर रही है. यह आने वाले समय के लिए बेहद सकारात्मक संकेत हैं. मुझे भारत भर के नागरिकों से खेल रत्न पुरस्कार (Khel Ratna Award) का नाम मेजर ध्यान चंद के नाम पर (Major Dhyan Chand) रखने के लिए कई अनुरोध प्राप्त होते रहे हैं. मैं उनके विचारों के लिए उनका धन्यवाद करता हूं. उन्होंने लिखा कि लोगों की भावना का सम्मान करते हुए, खेल रत्न पुरस्कार को मेजर ध्यान चंद खेल रत्न (Major Dhyan Chand Khel Ratna) पुरस्कार कहा जाएगा!'
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अब इस घोषणा के बाद अब देश में खिलाड़ियों को मिलने वाले सर्वोच्च पुरस्कार 'राजीव गांधी खेल रत्न पुरस्कार' को 'ध्यानचंद खेल रत्न पुरस्कार' कहा जाएगा. बता दें कि हरियाणा में अब तक आठ खिलाड़ियों को खेल रत्न से नवाजा जा चुका है. इन खिलाड़ियों में साल 2020 में रानी रामपाल (हॉकी) और विनेश फोगाट (कुश्ती), साल 2019 में बजरंग पुनिया (कुश्ती) और दीपा मलिक (पैरा एथलेटिक्स), विजेन्द्र सिंह, 2009 (मुक्केबाजी), योगेश्वर दत्त, 2012 (कुश्ती), साक्षी मलिक, 2012 (कुश्ती), सरदार सिंह, 2017 (हॉकी) को भी खेल रत्न से नवाजा गया था.
क्या है पुरस्कार: राजीव गांधी खेल रत्न (Rajiv Gandhi Khel Ratna) पुरस्कार दिए जाने की शुरुआत साल 1991 में हुई थी. पुरस्कार किसी खिलाड़ी के पूरे साल में उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए दिया जाता है. भारत के पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी के नाम पर गत लगभग तीन दशकों से दिया जा रहा राजीव गांधी खेल रत्न पुरस्कार अब मेजर ध्यान चंद के नाम से जाना जाएगा. अभी तक खेल रत्न अवॉर्ड के विजेता को सम्मान में एक पदक, एक प्रमाण पत्र और नकद पुरस्कार मिलता आ रहा है. युवा कार्यक्रम और खेल मंत्रालय की ओर से गठित एक समिति खेल रत्न अवॉर्ड के संबंध में फैसला लेती है. खिलाड़ियों की सफलताओं का सम्मान और भविष्य में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने के लिए प्रोत्साहन स्वरूप हर साल राजीव गांधी खेल रत्न सम्मान दिया जाता है.
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