चंडीगढ़: शहर में मेयर, सीनियर डिप्टी मेयर और डिप्टी मेयर का चुनाव 18 जनवरी को होगा. इसी बीच सियासी पारा भी चरम पर है. एक तरफ जहां आम आदमी पार्टी रिसोर्ट पॉलिटिक्स के तहत अपने सभी पार्षदों को लेकर रोपड़ में एक रिसोर्ट में संभाल कर रखने की कोशिश कर रही है. वहीं, सबसे कम 7 पार्षद वाली कांग्रेस पार्टी ने बीजेपी और आप को जोर का झटका दिया है. कांग्रेस ने इस बार मेयर चुनाव में तीनों सीटों पर अपने उम्मीदवार उतार दिए हैं.
मेयर चुनाव का गणित क्या है?: आम आदमी पार्टी के एक पार्षद ने बीजेपी का दामन थामने के बाद इस वक्त चंडीगढ़ नगर निगम में बीजेपी सबसे मजबूत स्थिति में है. नगर निगम में भाजपा की सांसद किरण खेर की वोट के साथ 16 वोट है. हालांकि वार्ड नंबर 31 से आम आदमी पार्टी के पार्षद लखबीर सिंह बिल्लू के बीजेपी के साथ जाने से पहले बीजेपी के पास नगर निगम में 14 पार्षद और एक सांसद के साथ 15 वोट थे. जबकि दूसरी बड़ी पार्टी आम आदमी पार्टी के 12 पार्षद हैं, वही कांग्रेस के पास इस वक्त 7 पार्षद है और एक अकाली दल का पार्षद है. भले ही बीजेपी के पास 16 पार्षद हों लेकिन अगर कांग्रेस और आम आदमी पार्टी साथ हो जाएं तो फिर उनका यह आंकड़ा 19 का हो जाता है. यानी वह जीत की स्थिति में पहुंच जाते हैं. लेकिन इनका एक होना इतना आसान भी नहीं है. वहीं चंडीगढ़ नगर निगम में कुल 35 पार्षद हैं.
कांग्रेस ने बनाई रणनीति: इस बार चंडीगढ़ मेयर चुनाव के लिए कांग्रेस पार्टी ने अपनी चाल पूरी तरह बदल दी है. पिछले दो चुनाव में भक्ति दिखाई देने वाली कांग्रेस इस बार फ्रंट फुट पर लड़ती हुई दिखाई दे रही है. चंडीगढ़ कांग्रेस के अध्यक्ष एच एस लक्की कहते हैं कि हमने अपने तीनों उम्मीदवार घोषित कर दिए हैं. उन्होंने कहा कि हमने अपने सातों पार्षदों की बैठक की, और जिसमें सर्व समिति से फैसला हुआ है कि हम इस बार तीनों सीटों पर चुनाव लड़ेंगे. उन्होंने कहा कि जसवीर बंटी को हमने मेयर पद के लिए चुनाव मैदान में उतारा है. सीनियर डिप्टी मेयर के लिए गुरप्रीत को मैदान में उतारा है. इसके साथ ही निर्मला देवी को डिप्टी मेयर पद के लिए उम्मीदवार बनाया है. उन्होंने कहा कि आज तक उनका कोई गठबंधन आम आदमी पार्टी से नहीं है.
बीजेपी को जीत का विश्वास: भले ही भाजपा के एक पार्षद के फोन स्विच ऑफ होने की चर्चा जोरों पर है. लेकिन बीजेपी को अपनी जीत का पूरा भरोसा है. चंडीगढ़ भाजपा के प्रवक्ता कैलाश चंद जैन कहते हैं कि मेयर का जब भी चुनाव होता है तो सरगर्मियां तेज हो जाती हैं या कोई नई बात नहीं है. वह कहते हैं कि कोई भी पार्टी अपने पार्षदों को कहीं भी शिफ्ट करें. हमारे पास सबसे ज्यादा आंकड़ा है. उन्होंने कहा कि निगम में इस वक्त सबसे ज्यादा 16 वोट हमारे पास है. उन्होंने कहा कि आंकड़ों की बात की जाए तो हमारा ही मेयर चुनाव जीतेगा. उन्होंने कहा कि बीजेपी के पार्षदों में एकता है. उन्होंने कहा कि AAP के कुछ और पार्षद भी बीजेपी के साथ आ सकते हैं.
शहर में आप का क्या है स्टेटस: मेयर चुनाव को लेकर आम आदमी पार्टी की रणनीति को लेकर पूर्व अध्यक्ष प्रेम गर्ग कहते हैं कि इसके लिए रणनीति जैसी कोई बात नहीं होती है. सिर्फ नंबरों का खेल है. सबको पता है कि इस वक्त हमारे पास 12 पार्षद है और बीजेपी के पास 15 पार्षद और एक एमपी का वोट है. उन्होंने कहा कि अब निर्भर यह करता है कि कांग्रेस कहां जाती है. उन्होंने कहा कि अगर कांग्रेस पार्टी अपने उम्मीदवार को खड़ा करेगी तो कम वोटिंग वाली पार्टी बाहर हो जाएगी. ऐसे में सभी दलों को अपने-अपने लोगों को संभाल कर रखना होता है.
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