चंडीगढ़: हरियाणा सरकार की तरफ से 2019 में 18,218 ग्रुप डी की भर्तियों में से स्पोर्ट्स कोटे के तहत भर्ती हुए 1518 कर्मचारियों को बर्खास्त करने का फैसला ले लिया है. सरकार की तरफ से की गई इस कार्रवाई के विरोध में सर्व कर्मचारी संघ ने आवाज बुलंद की है.
सर्व कर्मचारी संघ हरियाणा के अध्यक्ष सुभाष लांबा ने इसको लेकर सरकार को घेरा है. लांबा ने कहा कि सरकार के इस फैसले के खिलाफ व अन्य मांगों को लेकर सर्व कर्मचारी 12 जनवरी को जिला मुख्यालयों पर धरना प्रदर्शन करेगी.
उन्होंने कहा कि सरकार ने खुद कोर्ट में जाकर भर्तियां बर्खास्त करवाई हैं. सिंगल बेंच की तरफ से 1518 कर्मचारियों के पक्ष में फैसला आने के बाद सरकार ने सिंगल बेंच के फैसले को डबल बेंच के समक्ष चुनौती दी. सरकार को पॉलिसी में बदलाव कर इन कर्मचारियों को फिर ड्यूटी पर लेना चाहिए. स्पोर्ट्स कोटे के तहत लगे इन कर्मचारियों की सेवा समाप्त करने की शुरुवात 31 दिसम्बर से कर दी गई है जिसकी हरियाणा कर्मचारी संघ घोर निंदा करता है.
लाम्बा ने कहा कि भर्ती को लेकर जो विज्ञापन जारी हुआ था उसमें कहा गया था कि स्पोर्ट्स पॉलिसी में ग्रेडेशन सर्टिफिकेट जमा करवाना हैय कर्मचारियों की तरफ से 1993 स्पोर्ट्स पॉलिसी के तहत ग्रेडेशन सर्टिफिकेट पॉलिसी को जमा करवाया था. इसके बाद रिटर्न टेस्ट भी हुआ, रिटर्न टेस्ट क्लीयर होने के बाद सरकार की तरफ से डॉक्यूमेंट वेरिफिकेशन का प्रोसेस शुरू हुआ.
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कर्मचारी चयन आयोग ने 1518 कर्मचारियों को डॉक्यूमेंट वेरिफिकेशन के बाद ड्यूटी भी जॉइन करवा दी. 6 महीने बाद सरकार ने शो कॉज नोटिस जारी कर कहा कि 25 मई 2018 को नई स्पोर्ट्स पॉलिसी आ चुकी है, जिन कर्मचारियों ने नई स्पोर्ट्स पॉलिसी के तहत ग्रेडेशन सर्टिफिकेट जमा नहीं किए हैं वो एक माह में सर्टिफिकेट जमा करवाएं अन्यथा उनकी सेवाएं बर्खास्त कर दी जाएंगी.
लाम्बा ने कहा इसके बाद कर्मचारी हाईकोर्ट गए जहां से कोर्ट ने उनके पक्ष में फैसला दिया मगर सरकार अपनी ही भर्ती के खिलाफ डबल बेंच में गई. डबल बेंच में जाने के बाद सरकार के पक्ष में फैसला आया और अब निकालने की तैयारी हो चुकी है. सरकार को तुरंत पॉलिसी में बदलाव करना चाहिए क्योंकि इन कर्मचारियों के खिलाफ खुद सरकार कोर्ट गई थी.
फिलहाल सर्व कर्मचारी संघ स्पोर्ट्स कोटे के कर्मचारियों समेत 1983 पीटीआई को एडजेस्ट ना करने, 816 ड्राइंग टीचर्स की नौकरी पर लटकी तलवार, कुरुक्षेत्र विकास बोर्ड के 65 कर्मचारियों को वापस ड्यूटी पर ना लेने और गुरुग्राम नगर निगम के कर्मचारियों के सड़कों पर होने के खिलाफ 12 जनवरी को जिला मुख्यालयों पर प्रदर्शन करेगा.
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