कुरुक्षेत्र: हरियाणा में शराब घोटले पर सियासत गरमाती जा रही है. शराब तस्करी और चोरी के मामले में जांच कर रही एसआईटी के हाथ अभी तक खाली हैं. आरोपियों की गिरफ्तारी न होने के कारण मामले की जांच भी नहीं हो पा रही है. वहीं विपक्ष भी लगातार सरकार पर हमलावर होता जा रहा है.
हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा कुरुक्षेत्र में अपने कार्रकर्ताओं से मिले. इस दौरान वो सरकार की कार्यशैली को लेकर काफी हमलावर रहे. वहीं लॉकडाउन में हुए शराब घोटाले पर सरकार को घेरते हुए, इस मामले की जांच हाई कोर्ट के सिटिंग जज से कराने की मांग की और कहा कि दाल में कुछ काला है.
उन्होंने कहा कि शराब बंदी के बाद दिल्ली हो या उत्तर प्रदेश, सभी जगह ठेके खुलने पर लाइनें लगी, लेकिन हरियाणा में ऐसा नहीं हुआ. क्योंकि लॉकडाउन में शराब की तस्करी होती रही है. साथ ही शराब की रेट लिस्ट लगाने की मांग करते हुए हुड्डा ने कहा कि सरकार ने शराब घोटाले की जांच एसआईटी में उलझा रखी है. जबकि स्टॉक वेरिफिकेशन तो एक इंस्पेक्टर भी कर सकता है. इस मामले में आरोपी पुलिस के साथ आंख मिचौली खेल रहे हैं.
बेरोजगारी पर हुड्डा ने जताई चिंता
हुड्डा ने कोरोना महामारी के समय में हुई परेशानियों पर चिंता जताई. हुड्डा ने कहा कि कोरोना के समय में काफी लोगों की नौकरी चली गई, ये दुखद है. बिहार के बाद सबसे ज्यादा कहीं बेरोजगारी है, तो वो राज्य हरियाणा है. सरकार को इस विषय पर काम करना चाहिए. साथ ही हुड्डा ने कहा कि प्रदेश की मंडियों में 20 लाख मीट्रिक टन गेहूं पड़ा है. सरकार की ओर से उठान की व्यवस्था नहीं की गई है.