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दिवाली 2023: दीपावली पर इस शुभ मुहूर्त में करें धन की देवी मां लक्ष्मी की पूजा, सुख समृद्धि के लिए करें इस मंत्र का जाप

Diwali 2023 Shubh Muhurat सनातन धर्म में दिवाली के त्योहार को सुख और समृद्धि का प्रतीक माना जाता है. इस साल दिवाली का त्योहार रविवार 12 नवंबर को है. आइए जानते हैं दिवाली के दिन लक्ष्मी पूजा का शुभ मुहूर्त क्या है और कैसे इस दिन माता लक्ष्मी की पूजा करते हैं.

Diwali 2023 Shubh Muhurat
दीपावली शुभ मुहूर्त
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By ETV Bharat Haryana Team

Published : Nov 8, 2023, 8:05 AM IST

Updated : Nov 12, 2023, 6:10 AM IST

चंडीगढ़: सनातन धर्म में कार्तिक मास की अमावस्या तिथि को रोशनी और खुशियों का त्योहार दिवाली मनाते हैं. ज्योतिष के अनुसार इस साल दिवाली रविवार, 12 नवंबर को है. पंचांग और ज्योतिष के अनुसार इस साल दिवाली पर कई शुभ योग बन रहे हैं. आइए जानते हैं आखिर इस साल दिवाली पर किस शुभ योग में धन की देवी माता लक्ष्मी की पूजा-आराधना करें और कैसे करें.

दिवाली 2023 पूजा शुभ मुहूर्त: बता दें कि इस साल दिवाली पर मां लक्ष्मी की पूजा के लिए 2 शुभ मुहूर्त है. दिवाली के दिन लक्ष्मी पूजा के लिए पहला शुभ मुहूर्त शाम में 5:38 बजे से शाम 7:35 बजे तक है. इसके अलावा 12 नवंबर की रात्रि में 11:35 बजे से देर रात 12:32 तक लक्ष्मी पूजा के लिए निशिता काल में पूजा के लिए मुहूर्त है. ज्योतिष के अनुसार दिवाली के दिन प्रदोष काल में माता लक्ष्मी और भगवान गणेश की पूजा-अर्चना का विशेष महत्व है. इस दिन आयुष्मान योग: 12 नवंबर, प्रात: काल से शाम 04:25 बजे तक है. वहीं, सौभाग्य योग: शाम 04:25 बजे से 13 नवंबर को दोपहर 03:23 बजे तक है. इस दिन स्वाती नक्षत्र: 12 नवंबर, प्रात: काल से देर रात 02:51 बजे तक है.

दिवाली के दिन कैसे करें माता लक्ष्मी की पूजा: दिवाली के दिन लक्ष्मी पूजा करने के लिए सबसे पहले स्नान आदि करने के बाद स्वच्छ वस्त्र पहनें और पूजा स्थल पर बैठकर संकल्प लें. घर के ईशान कोण या उत्तर दिशा में पूजा स्थल पर लाल कपड़ा बिछाएं. इसके बाद लाल कपड़े पर लक्ष्मी और गणेश की प्रतिमा स्थापित करें. इसके बाद माता लक्ष्मी और भगवान गणेश का आचमन करें. इसके बाद गंगाजल से विघ्नहर्ता श्री गणेश और माता लक्ष्मी जी को स्नान कराएं. इसके बाद इत्र और वस्त्र अर्पित करें.

लक्ष्मी-गणेश पूजा विधि-विधान: वस्त्र अर्पित करने के बाद माता लक्ष्मी को गुलाब या कमल का फूल चढ़ाएं. इसके बाद भगवान गणेश को वस्त्र, फूल और इत्र चढ़ाएं. इसके बाद सभी देवी-देवताओं को चंदन लगाएं और अक्षत (चावल) चढ़ाएं. इसके बाद माता लक्ष्मी और भगवान गणेश की विधि-विधान से पूजा-अर्चना करें. पूजा के बाद लक्ष्मी-गणेश जी की आरती करें और फिर क्षमा याचना करें.

ये भी पढ़ें: धनतेरस पर शुभ मुहूर्त में खरीदें सोना-चांदी, धन की देवी माता लक्ष्मी के साथ बरसेगी भगवान कुबेर की कृपा

लक्ष्मी माता माता को लगाएं ये भोग: पौराणिक मान्यता है कि माता लक्ष्मी को सफेद बहुत पसंद है. इसलिए दिवाली के दिन खीर का भोग जरूर लगाएं. इसके साथ ही इस दिन मखाने का भोग, पान का पत्ता, नारियल, सफेद और गुलाबी रंग की मिठाई चढ़ा सकते हैं.

दिवाली के दिन करें इन मंत्रों का जाप: दिवाली के दिन माता लक्ष्मी और गणेश भगवान की पूजा-आराधना का विधान तो है ही. मान्यता है कि इस दिन पूजा के दौरान माता लक्ष्मी और विघ्नहर्ता श्रीगणेश की पूजा के दौरान मिशेष बीज मंत्र का जाप करना चाहिए. मान्यता है कि इस मंत्र के जाप से परिवार में सुख-समृद्धि बनी रहती है. आइए जानते हैं ये बीज मंत्र क्या हैं?

लक्ष्मी माता का बीज मंत्र- ऊँ हीं श्रीं लक्ष्मीभयो नमः

भगवान गणेश का बीज मंत्र: ऊँ गं गणपतये नमः

ये भी पढ़ें: जानिए धनतेरस पर झाड़ू खरीदना क्यों माना जाता है शुभ, बनना चाहते हैं धनवान तो इस दिन भूलकर भी न करें ये काम

चंडीगढ़: सनातन धर्म में कार्तिक मास की अमावस्या तिथि को रोशनी और खुशियों का त्योहार दिवाली मनाते हैं. ज्योतिष के अनुसार इस साल दिवाली रविवार, 12 नवंबर को है. पंचांग और ज्योतिष के अनुसार इस साल दिवाली पर कई शुभ योग बन रहे हैं. आइए जानते हैं आखिर इस साल दिवाली पर किस शुभ योग में धन की देवी माता लक्ष्मी की पूजा-आराधना करें और कैसे करें.

दिवाली 2023 पूजा शुभ मुहूर्त: बता दें कि इस साल दिवाली पर मां लक्ष्मी की पूजा के लिए 2 शुभ मुहूर्त है. दिवाली के दिन लक्ष्मी पूजा के लिए पहला शुभ मुहूर्त शाम में 5:38 बजे से शाम 7:35 बजे तक है. इसके अलावा 12 नवंबर की रात्रि में 11:35 बजे से देर रात 12:32 तक लक्ष्मी पूजा के लिए निशिता काल में पूजा के लिए मुहूर्त है. ज्योतिष के अनुसार दिवाली के दिन प्रदोष काल में माता लक्ष्मी और भगवान गणेश की पूजा-अर्चना का विशेष महत्व है. इस दिन आयुष्मान योग: 12 नवंबर, प्रात: काल से शाम 04:25 बजे तक है. वहीं, सौभाग्य योग: शाम 04:25 बजे से 13 नवंबर को दोपहर 03:23 बजे तक है. इस दिन स्वाती नक्षत्र: 12 नवंबर, प्रात: काल से देर रात 02:51 बजे तक है.

दिवाली के दिन कैसे करें माता लक्ष्मी की पूजा: दिवाली के दिन लक्ष्मी पूजा करने के लिए सबसे पहले स्नान आदि करने के बाद स्वच्छ वस्त्र पहनें और पूजा स्थल पर बैठकर संकल्प लें. घर के ईशान कोण या उत्तर दिशा में पूजा स्थल पर लाल कपड़ा बिछाएं. इसके बाद लाल कपड़े पर लक्ष्मी और गणेश की प्रतिमा स्थापित करें. इसके बाद माता लक्ष्मी और भगवान गणेश का आचमन करें. इसके बाद गंगाजल से विघ्नहर्ता श्री गणेश और माता लक्ष्मी जी को स्नान कराएं. इसके बाद इत्र और वस्त्र अर्पित करें.

लक्ष्मी-गणेश पूजा विधि-विधान: वस्त्र अर्पित करने के बाद माता लक्ष्मी को गुलाब या कमल का फूल चढ़ाएं. इसके बाद भगवान गणेश को वस्त्र, फूल और इत्र चढ़ाएं. इसके बाद सभी देवी-देवताओं को चंदन लगाएं और अक्षत (चावल) चढ़ाएं. इसके बाद माता लक्ष्मी और भगवान गणेश की विधि-विधान से पूजा-अर्चना करें. पूजा के बाद लक्ष्मी-गणेश जी की आरती करें और फिर क्षमा याचना करें.

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लक्ष्मी माता माता को लगाएं ये भोग: पौराणिक मान्यता है कि माता लक्ष्मी को सफेद बहुत पसंद है. इसलिए दिवाली के दिन खीर का भोग जरूर लगाएं. इसके साथ ही इस दिन मखाने का भोग, पान का पत्ता, नारियल, सफेद और गुलाबी रंग की मिठाई चढ़ा सकते हैं.

दिवाली के दिन करें इन मंत्रों का जाप: दिवाली के दिन माता लक्ष्मी और गणेश भगवान की पूजा-आराधना का विधान तो है ही. मान्यता है कि इस दिन पूजा के दौरान माता लक्ष्मी और विघ्नहर्ता श्रीगणेश की पूजा के दौरान मिशेष बीज मंत्र का जाप करना चाहिए. मान्यता है कि इस मंत्र के जाप से परिवार में सुख-समृद्धि बनी रहती है. आइए जानते हैं ये बीज मंत्र क्या हैं?

लक्ष्मी माता का बीज मंत्र- ऊँ हीं श्रीं लक्ष्मीभयो नमः

भगवान गणेश का बीज मंत्र: ऊँ गं गणपतये नमः

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Last Updated : Nov 12, 2023, 6:10 AM IST
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