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बाजरे की खपत बढ़ाने के लिए हरियाणा सरकार की ये है प्लानिंग - भिवानी कृषि मंत्री जेपी दलाल

कृषि मंत्री जेपी दलाल ने कहा कि बाजरे के बिस्किट बनाने को लेकर पारले जैसी कंपनियों से राज्य सरकार बात कर रही है. ताकि बाजरे की खपत बढ़े और किसानों व राज्य सरकार को फायदा हो सके.

agriculture minister jp dalal in bhiwani
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Published : Apr 3, 2021, 6:01 PM IST

भिवानी: हरियाणा में पैदा होने वाला बाजरा अब मशहूर कंपनियों के बिस्किट का स्वाद बढ़ाएगा. इसको लेकर राज्य सरकार ने विभिन्न बिस्किट कंपनियों व बेकरी उत्पादकों से संपर्क साधा है.

शनिवार को भिवानी में कृषि मंत्री जयप्रकाश दलाल ने कहा कि प्रदेश सरकार ने पिछले सीजन में सात लाख 70 हजार मीट्रिक टन बाजरे की खरीद न्यूनतम समर्थन मूल्य 2150 रुपये पर की है. इसके रख-रखाव पर भी 2400 रुपये प्रति क्विंटल का खर्च आया है जबकि बाजार भाव 1100 से 1200 रुपये प्रति क्विंटल ही है.

बाजरे की खपत बढ़ाने के लिए हरियाणा सरकार की ये है प्लानिंग

ऐसे में राज्य सरकार ने लगभग एक हजार करोड़ का घाटा उठाते हुए किसानों के उत्पाद को खरीदा है. इसी घाटे को कम करने के लिए राज्य सरकार ने बाजरे की ज्यादा खपत को लेकर नीति बनाई है.

ये भी पढ़ें- हरियाणा के बाजरे से बने बिस्कुट खाएंगे देश के लोग, जानें क्या है इसकी खासियत

कृषि मंत्री जयप्रकाश दलाल ने कहा कि पारले बिस्किट जैसी कंपनियों से अब राज्य सरकार अपने अधिकारियों के माध्यम से बात कर रही है. ताकि बाजरे की खपत बढ़े तथा किसानों व राज्य सरकार को फायदा हो सके.

कृषि मंत्री ने कहा कि आज राज्य में गेहूं व धान का उत्पादन जरूरत से ज्यादा है. धान जैसी अधिक पानी प्रयोग होने वाली फसल बोने की परंपरागत विधि को बदलने को जरूरत है.

उन्होंने बताया कि स्वयं सहायता समूहों व सरकार का उपकरण हैफेड के द्वारा बाजरे से विभिन्न प्रकार के बिस्किट व मिठाईयां बनाकर उन्हें हरियाणा के ब्रांड के रूप में विकसित किया जाएगा. इन्हें हैफेड के बिक्री केंद्रों के माध्यम से बेचा जाएगा.

ये भी पढ़ें- पहले कोरोना ने मारा, अब आंदोलन ने सताया, भयानक परेशानी में हरियाणा के ट्रांसपोर्टर्स

भिवानी: हरियाणा में पैदा होने वाला बाजरा अब मशहूर कंपनियों के बिस्किट का स्वाद बढ़ाएगा. इसको लेकर राज्य सरकार ने विभिन्न बिस्किट कंपनियों व बेकरी उत्पादकों से संपर्क साधा है.

शनिवार को भिवानी में कृषि मंत्री जयप्रकाश दलाल ने कहा कि प्रदेश सरकार ने पिछले सीजन में सात लाख 70 हजार मीट्रिक टन बाजरे की खरीद न्यूनतम समर्थन मूल्य 2150 रुपये पर की है. इसके रख-रखाव पर भी 2400 रुपये प्रति क्विंटल का खर्च आया है जबकि बाजार भाव 1100 से 1200 रुपये प्रति क्विंटल ही है.

बाजरे की खपत बढ़ाने के लिए हरियाणा सरकार की ये है प्लानिंग

ऐसे में राज्य सरकार ने लगभग एक हजार करोड़ का घाटा उठाते हुए किसानों के उत्पाद को खरीदा है. इसी घाटे को कम करने के लिए राज्य सरकार ने बाजरे की ज्यादा खपत को लेकर नीति बनाई है.

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कृषि मंत्री जयप्रकाश दलाल ने कहा कि पारले बिस्किट जैसी कंपनियों से अब राज्य सरकार अपने अधिकारियों के माध्यम से बात कर रही है. ताकि बाजरे की खपत बढ़े तथा किसानों व राज्य सरकार को फायदा हो सके.

कृषि मंत्री ने कहा कि आज राज्य में गेहूं व धान का उत्पादन जरूरत से ज्यादा है. धान जैसी अधिक पानी प्रयोग होने वाली फसल बोने की परंपरागत विधि को बदलने को जरूरत है.

उन्होंने बताया कि स्वयं सहायता समूहों व सरकार का उपकरण हैफेड के द्वारा बाजरे से विभिन्न प्रकार के बिस्किट व मिठाईयां बनाकर उन्हें हरियाणा के ब्रांड के रूप में विकसित किया जाएगा. इन्हें हैफेड के बिक्री केंद्रों के माध्यम से बेचा जाएगा.

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