अंबाला: संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर आज किसानों द्वारा रोष दिवस मनाया गया. वहीं अंबाला में भारतीय किसान यूनियन चढूनी ग्रुप के सदस्यों द्वारा आज का दिन 'मोदी विरोधी दिवस' के रूप में मनाया गया. इस मौके पर भारी संख्या में किसान अंबाला के शम्भू बॉर्डर पर इकठ्ठा हुए और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का पुतला जलाया.
बता दें कि, कृषि कानूनों की वापसी के लिए दिल्ली बॉर्डर पर धरना दे रहे किसानों को बैठे हुए आज पूरे 6 महीने हो गए हैं. जिसके उपलक्ष में आज किसानों द्वारा रोष दिवस मनाया गया. वहीं अंबाला में इसे 'मोदी विरोधी दिवस' का नाम दिया गया. इसके इलावा अंबाला के किसानों ने एलान किया कि वह आगामी 6 जून को भारी संख्या में ट्रैक्टरों पर सवार होकर दिल्ली कूच करेंगे.
भारतीय किसान यूनियन चढूनी ग्रुप के जिला अध्यक्ष मलकीत सिंह ने कहा कि आज अंबाला के शाहपुर में नायब सैनी की धर्मपत्नी को काले झंडे दिखाकर विरोध किया गया तो वहीं अंबाला शहर से विधायक असीम गोयल को भानोखेड़ी गांव में काले झंडे दिखाए गए.
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उन्होंने साफ शब्दों में कहा कि जब तक सरकार कृषि के तीनों कानूनों को वापस नहीं लेती है उनका संघर्ष और ये आंदोलन जारी रहेगा. बीजेपी और जेजेपी नेताओं का विरोध किसानों द्वारा लगातार किया जाएगा.
वहीं बीजेपी नेताओं द्वारा किसानों को गांवों में कोरोना फैलाने के लिए जिम्मेदार ठहराने पर किसान नेता ने कहा कि इन नेताओं को शिवाय ओछी बातें करने के कोई और काम नहीं है. किसान को कोरोना जैसी कोई बीमारी नहीं है.
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