सोनीपत: प्रसव पूर्व लिंग जांच निषेध अधिनियम(पीएनडीटी) के तहत गठित टीम ने शनिवार को खरखौदा में छापेमारी कर एक महिला को रंगे हाथों पकड़ लिया. आरोपी महिला के खिलाफ पीएनडीटी एक्ट के तहत खरखौदा में मामला दर्ज कर गिरफ्तार किया गया है.
दरअसल पीएनडीटी एक्ट के तहत अवैध रूप से लिंग जांच व कन्या भ्रूण हत्या पर लगाम लगाने के लिए उपायुक्त श्याम लाल पूनिया ने जिला टास्क फोर्स को कार्रवाई करने के निर्देश दिए थे. उपायुक्त के दिए निर्देशों की अनुपालना करते हुए सीएमओ डॉ. जेएस पूनिया ने टीम गठित कर छापेमारी कर इस महिला को गिरफ्तार किया है. इस टीम का नेतृत्व डॉ. आदर्श शर्मा कर रहे थे. जिनके साथ टीम में एसएमओ डॉ. मीनाक्षी, डॉ. नितिन, डॉ. सुभाष गहलावत, डीसीओ संदीप हुड्डा और पुलिस की ओर से एसआई देवेंद्र व महिला कांस्टेबल रचना शामिल रही.
पैसे लेकर देती थी गर्भपात की दवाईयां
इस संबंध में डॉ. शर्मा ने बताया कि आरोपी महिला आशा ने डमी ग्राहक से एमटीपी किट के बदले 3500 रुपये की मांग की. डमी ग्राहक को चिन्हित 3500 रुपये देकर महिला के पास भेजा. तब आरोपी महिला ने ग्राहक से पैसे लेकर गर्भपात की दवाइयां दे दी. इसी दौरान टीम ने महिला आशा को रंगे हाथों पकड़ते हुए 3500 रुपये व दवाइयां/एमटीपी किट बरामद की. टीम ने महिला को गिरफ्तार कर खरखौदा पुलिस थाना में एफआईआर दर्ज करवाई.
पीएनडीटी एक्ट के तहत आरोपी महिला पर पहले से चल रहे दो मामले
डॉ. आदर्श शर्मा ने बताया कि आरोपी महिला आशा के खिलाफ पहले भी पीएनडीटी एक्ट के तहत दो मामले लंबित चल रहे हैं. आशा के खिलाफ ये तीसरी बार मामला दर्ज करवाया गया है. उन्होंने कहा कि आशा के पास कोई प्रमाणित डिग्री नहीं है, न ही उसका अपना कोई क्लिनिक है. वो अपने घर से ही इस अवैध कार्य को अंजाम दे रही थी.
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भ्रूण लिंग जांच करने वाले लोगों को दिया जाता है नकदी पुरस्कार
डॉ. आदर्श शर्मा ने आम लोगों से अपील की कि अवैध रूप से लिंग जांच व कन्या भ्रूण हत्या को जड़ से खत्म करने के लिए प्रशासन का सहयोग करें. इस प्रकार की सूचना देने वाले की पहचान पूर्ण रूप से गुप्त रखी जाती है. साथ ही सूचना देने वाले व्यक्ति को नगद पुरस्कार राशि से भी नवाजा जाता है. उन्होंने कहा कि जिला प्रशासन अथवा स्वास्थ्य विभाग ऐसी सूचनाएं दें, ताकि समाज से इस कलंक को मिटाया जा सके.