चंडीगढ़: हरियाणा के वन मंत्री कंवरपाल गुर्जर ने कहा कि दिन प्रतिदिन बढ़ रहे प्रदूषण के चलते वन क्षेत्र को बढ़ाना और प्राकृतिक संतुलन को बनाए रखने के लिए वन्य प्राणियों का संरक्षण अत्यंत जरूरी है. हर साल मानसून के दौरान मनाए जाने वाले वन महोत्सव पर लोगों को कम से कम 2 पौधे लगाने का संकल्प लेना चाहिए.
कंवरपाल गुर्जर ने कहा कि वन विभाग द्वारा लोगों को वनों के महत्व के प्रति जागरूक करने के लिए हर वर्ष वन महोत्सव एवं वन्य प्राणी सुरक्षा सप्ताह का आयोजन किया जाता है. वन मंत्री ने कहा कि प्रदेश में वन क्षेत्र को 7 से 20% तक बढ़ाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है. जिसके तहत इस वर्ष करीब 1 करोड़ 25 लाख पौधे लगाए जाएंगे. राज्य के 1100 गांवों में कोविड वाटिका स्थापित की जाएगी. जिसमें औषधीय पौधे भी रोपित किए जाएंगे.
गुर्जर ने बताया कि सरकार द्वारा विलुप्त होती वन्य प्राणियों की प्रजातियों के संरक्षण तथा संवर्धन की दिशा में भी ठोस कदम उठाए गए हैं. जिला रेवाड़ी में स्थित झाबुआ आरक्षित वन क्षेत्र में मोर एवं चिंकारा प्रजनन केंद्र की स्थापना की गई है. इसी तरह गिद्धों की घटती संख्या को रोकने के लिए तथा उनकी जनसंख्या को बढ़ाने के लिए भारत का पहला गिद्ध संरक्षण एवं प्रजनन केंद्र पिंजौर में स्थापित किया गया है.
मोरनी स्थित पीजेंट प्रजनन केंद्र में लाल जंगली मुर्गा प्रजाति का सफलतापूर्वक प्रजनन करवाया जा रहा है. भिवानी जिले के केरू गांव में चिंकारा प्रजनन केंद्र और भोर सैयदा में मगरमच्छ प्रजनन केंद्र स्थापित किया गया है.
उन्होंने बताया कि राज्य सरकार द्वारा प्रदेश में लोगों विशेषकर स्कूली बच्चों को वन्य प्रजातियों के बारे में जानकारी देने के लिए तीन चिड़ियाघर एवं एक हिरण पार्क स्थापित किए गए हैं. इसके अलावा राज्य में दो राष्ट्रीय उद्यान 80 प्राणी विहार तथा दो इको सेंसेटिव क्षेत्र स्थापित किए गए हैं. इसके अलावा लोगों में वन्य प्राणियों के प्रति लगाव पैदा के उद्देश्य से राज्य में पशु पक्षी गोद लेने की योजना भी शुरू की गई है.
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