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चौधर की जंग: बीजेपी के 2014 के घोषणा पत्र के कितने वादे हुए पूरे?

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Published : Oct 20, 2019, 8:03 PM IST

ये है ईटीवी भारत की खास पेशकश 'चौधर की जंग'. इस बार हम बात करेंगे बीजेपी के 2014 के मेनिफेस्टो की और 2014 में जनता से किए गए वादों की. पिछले पांच साल में बीजेपी सरकार ने अपने मेनिफेस्टो में किए गए मुख्य वादों को लेकर क्या काम किया ये हम आपको बताएंगे इस कार्यक्रम में.

haryana bjp manifesto 2014

चंडीगढ़: मनोहर सरकार के 5 साल बीत चुके हैं लिहाजा ये टेस्ट करना जरूरी है कि बीजेपी के ये वादे कितने पूरे हुए. सबसे पहले आपको बताते हैं कि बीजेपी ने 2014 में जो रोजगार देने का वादा किया था उस पर कितना काम हुआ है.

देखिए बीजेपी ने रोजगार देने के वादे को लेकर कितना काम किया.

युवाओं को रोजगार देने का वादा
हरियाणा विधानसभा चुनाव में सरकार के खिलाफ विपक्ष का सबसे बड़ा मुद्दा बेरोजगारी और गिरती अर्थव्यवस्था का है. बेरोजगारी को लेकर 2014 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने 4 लाख नई नौकरी के साथ महीने में 100 घंटे काम के बदले 12वीं पास बेरोजगार युवकों को 6000 रुपये व ग्रेजुएट युवकों को 9000 रुपये मानसिक मानदेय देने का वादा किया था. बेरोजगारी को लेकर विपक्ष लगातार सरकार को घेरता रहा है. बेरोजगारी को चुनावी मुद्दा बनते देख सीएम खट्टर को प्रेस कॉन्फ्रेंस तक करनी पड़ी. जिसमें सीएम ने विपक्ष के आरोपों का जवाब दिया और बेरोजगारी को लेकर अपनी सरकार के आंकड़े भी पेश किए.

सीएम मनोहर लाल ने बताया कि पिछले साढ़े चार साल में 1 लाख 21 हजार लोगों ने नौकरी के लिए पंजीकरण कराया, जिसमें से 40 हजार को नौकरी दी गई है. 81 हजार लोगों को अभी नौकरी नहीं मिली. इनमें से जो बेरोजगार हैं उनको हमने 100 घंटे का रोजगार भी दिया लेकिन इनमें से ज्यादातर आते नहीं हैं. कई लोगों को प्राइवेट संस्थानों में भी रोजगार दिलवाया लेकिन उन्होंने स्वीकार नहीं किया. अगर बाकी बचे लोग अनएंप्लायड होते तो जरूर ये ऑफर मान लेते. मुझे लगता है कि या तो इन लोगों को नौकरी मिल गई है या फिर ये सेमी-एंप्लायड हैं.

रिसर्च कंपनी का दावा
वहीं सरकार के दावे के विपरीत रिसर्च कंपनी सेंटर फॉर मॉनिटरिंग इंडियन इकोनॉमी यानि CMIE के सर्वे की मानें तो हरियाणा में बेरोजगारी दर अगस्त 2019 तक 28.7 प्रतिशत रही है जो कि देश में सभी राज्यों से ज्यादा है, साथ ही देश की बेरोजगारी दर 8.4 प्रतिशत से तीन गुणा ज्यादा है.

विपक्ष ने सरकारी आंकड़ों को बताया सफेद झूठ
इसके अलावा विपक्ष का कहना है कि सीएम खट्टर जो 82 हजार लोगों के नौकरी ना लगने की बात कह रहे हैं वो सफेद झूठ. प्रदेश में अभी 35 लाख से आसपास ग्रेजुएट युवा हैं जिसमें से 4 लाख से ज्यादा अभी भी बेरोजगार हैं. कांग्रेस के राज्यसभा सांसद आनंद शर्मा ने कहा कि बीजेपी सरकार के कार्यकाल में देश और हरियाणा में बेरोजगारी बढ़ी है. कारखाने, कंपनियां बंद हो गई हैं. जनता आने वाले चुनाव में बीजेपी को बाहर का रास्ता दिखा देगी.

बेरोजगारी के अलावा बीजेपी ने 2014 के घोषणा में पत्र में वादे किए गए और उन पर कितना काम हुआ वो भी आपको बताते हैं-

24 घंटे बिजली देने का वादा

  • बीजेपी ने अपने घोषणा पत्र में प्रदेश को 24 घंटे बिजली देने का वादा भी किया था. सरकारी आकंड़े बता रहे हैं कि हरियाणा में 'म्हारा गांव जगमग गांव' योजना के तहत अभी तक 4200 से ज्यादा गांवों और 9 जिलों में 24 घंटे बिजली दी जा रही है और 2600 गांवों को 16 घंटे बिजली प्रदान की जा रही है. वहीं 31 अक्टूबर 2019 तक करनाल हरियाणा का 10वां जिला बन जायेगा जहां 24 घंटे बिजली सप्लाई होगी.
  • इसके आलावा देशे के सबसे पिछड़े जिलों में शुमार नूंह जिले में 51,170 घरों को बिजली कनेक्शन दिया गया.
  • हालांकि इस वादे पर भी विपक्ष सरकार को घेरता रहा है और प्रदेश में कई जगह लोग बिजली समस्या को लेकर प्रदर्शन करने पर मजबूर भी हुए हैं. कई बार नेताओं को भी इसकी झलक दिखी चुकी है. खुद सरकार के मंत्री की प्रेस कॉन्फ्रेंस में बिजली गुल हो चुकी है. तो बीजेपी उम्मीदवार प्रेमलता अंधेरे में प्रचार करती दिखी थीं.

महिला और बच्चियों को सुरक्षा देने के का वादा

  • महिलाओं के लिए दुर्गा शक्ति ऐप लांच की गई.
  • दुर्गा शक्ति वाहिनी सेना बनाई गई.
  • 12 साल तक की बच्ची से रेप करने पर फांसी की सजा.
  • स्कूल-कॉलेज की छात्राओं के साथ-साथ महिलाओं को सुरक्षा देने के लिए दुर्गा रेपिड एक्शन फोर्स बनाई गई.
  • प्रदेश में कुल 29 महिला थाना खोले गए हैं.
  • लड़कियों को मुफ्त सफर का वादा- स्कूल और कॉलेज की छात्राओं को रोडवेज बसों में मुफ्त यात्रा की सुविधा दी. इसके अलावा सरकारी आंकड़ों के अनुसार 2014 तक हरियाणा में 31 महिला कॉलेज खोले गए थे वहीं मौजूदा सरकार ने 29 महिला कॉलेज खोले हैं.

बेटियों को लिए क्या काम किए?

  • 'बेटी बचाओ-बेटी पढाओ' अभियान के तहत सरकार और सार्वजनिक सहायता के प्रयासों के कारण तीन दशकों के बाद लिंग अनुपात में हरियाणा ने 912 का आंकड़ा छू लिया है.
  • मुख्‍यमंत्री विवाह शगुन योजना के तहत, गरीबी रेखा से नीचे रहने वाले सभी वर्गों की विधवा महिलाओं की बेटियों की शादी के दौरान 51,000 रु शगुन के रूप में दिए जा रहे हैं.
  • मुख्‍यमंत्री अंतरजातीय विवाह शगुन योजना के अंतर्गत, राशि को 50,000 रु से बढ़ाकर 2.50 लाख रु किया गया. हरियाणा का जो भी व्यक्ति अनुसूचित जाति से संबंधित लड़की या लड़के से शादी करेगा उसको 2.50 लाख रु दिए जाएंगे.
  • हरियाणा सरकार ने 'आपकी बेटी हमारी बेटी' योजना की शुरुआत की है, इस योजना के तहत ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्रों में 22 जनवरी 2015 को उसके बाद जन्मी अनुसूचित जाति और जरूरतमंद परिवारों को पहली बेटी के जन्म पर 21 हजार रुपए, सभी परिवारों को दूसरी और तीसरी बेटी के जन्म पर 21 हजार रुपए की राशि दी जाती है, इस योजना के तहत 1,83,294 एससी और गरीब परिवारों का फायदा पहुंचाया गया है.

किसानों के लिए क्या किया?

  • फसल खराब होने पर भुगतान करने में हरियाणा देश से बाकी राज्यों से आगे है. कुल 12 हजार प्रति एकड़ मुआवजा खराब फसल की एवज में किसान को दिया गया है. सरकार द्वारा मुआवजा राशि के तौर पर 2655 करोड़ दिया गया जिसमें से 1935 करोड़ किसानों को दे दिया गया है. इस फसल बीमा योजना से लगभग 8.50 लाख किसानों को फायदा पहुंचा है.
  • हरियाणा के हर टेल तक पानी पहुंचाने के वाद पर सरकार ने बताया कि बीजेपी सरकार के कार्यकाल में 39 साल बाद दक्षिण हरियाणा की हर टेल तक पानी पहुंचाया गया.
  • वहीं तेजी से गिरते भूजल स्तर में सुधार के लिए सूक्ष्म सिंचाई परियोजना को लागू करने वाला हरियाणा देश का पहला राज्य है.
  • इसके अलावा भावांतर भरपाई योजना के तहत टमाटर, प्याज, आलू और फूलगोभी की फसल की कीमतें तय करने वाला हरियाणा देश का पहला राज्य है. अगर किसान की सब्जी या फसल तय कीमत से कम पर बिकी तो तय कीमत का बकाया सरकार किसान को देगी.
  • फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य में वृद्धि की गई.
  • हरियाणा सरकार मुख्यमंत्री परिवार सम्मान निधि योजना के तहत 5 एकड़ या इससे कम जमीन वाले किसानों और 15 हजार रु. मासिक आय वाले परिवारों को सालाना 6 हजार रुपए दे रही है. प्रदेश में करीब 24 लाख परिवारों को योजना का लाभ मिलने का दावा किया जा रहा है.
  • एसवाईएल का पानी लाने का वादा- इस वादे पर ज्यादा काम नहीं किया गया. सुप्रीम कोर्ट का फैसला हरियाणा के हक में आने के बावजूद हरियाणा सरकार पंजाब से अपने हिस्से का पानी नहीं ले पाई. दोनों राज्यों में मध्यसता के लिए बातचीत चल रही है.

गांव की सड़कें पक्की करने का वादा- बीजेपी सरकार के कार्यकाल में 2014-15 में 38 किमी, 2015-16 में 20 किमी सड़क का निर्माण किया गया. वहीं 2016 अक्टूबर तक 13.65 किमी रोड़ का निर्माण किया गया. ये आंकड़ें बता रहें कि घोषणा पत्र के सड़क बनाने के वादे पर बीजेपी सरकार खरी नहीं उतर पाई.

बुजुर्गों और विधवाओं को 2000 रु मासिक पेंशन देने का वादा- सरकारी आंकड़ों के अनुसार अब तक 23 लाख लोगों को पेंशन दी गई है. जिसमें 16 लाख बुजुर्ग हैं और 7 लाख लाभार्थी विधवा महिला हैं. इसके साथ ही हरियाणा देश का पहला राज्य है, जहां डायरेक्ट बेनीफिट ट्रांसफर के माध्यम से 100% पेंशन सीधे लाभार्थी के खाते में भेजी जा रही है.

शहीदों और पूर्व सैनिकों के लिए क्या किया?

  • युद्ध के दौरान शहीद हुए सैनिकों के आश्रितों को दी जाने वाली राशि 20 लाख से बढ़ाकर 50 लाख रु की गई.
  • द्वितीय विश्व युद्ध के पूर्व सैनिकों और उनकी विधवाओं को 10000 रु की प्रति महीना वित्तीय सहायता दी गई.
  • 245 शहीदों के आश्रितों को अनुकंपा के आधार पर नौकरी दी गई.

इसके अलावा मनोहर सरकार में जो मुख्य काम हुए हैं वो इस प्रकार हैं-

  • हरियाणा देश का अब पहला ऐसा राज्य बन गया है जहां हर पंच और सरपंच पढ़ा लिखा है और साथ ही किसी भी पंच व सरपंच पर बिजली बिल और बैंक लोन बकाया नहीं है.
  • सरकारी अस्पतालों में सभी प्रकार की आवश्यक दवाएं और चिकित्सा परीक्षण नि: शुल्क उपलब्ध कराए जा रहे हैं.
  • आयुष्मान भारत योजना के तहत गरीब परिवारों को 5 लाख रुपये तक के चिकित्सा लाभ प्रदान किए जा रहे हैं.
  • ईज ऑफ डूइंग बिजनेस में हरियाणा फिसड्डी से अगड़े राज्यों में आ गया है.

एसवाईएल का पानी लाने का वादा, प्रदेश में दो एम्स खोलने का वादा कुछ ऐसी बड़ी घोषणाएं हैं जिनको पूरा नहीं किया गया.

तो ये था बीजेपी सरकार के 2014 की घोषणाओं को लेखा जोखा. बीजेपी के कार्यकाल में कई वादे पूरे हुए तो कई मुख्य वादे अधूरे रह गए हैं. अब देखना होगा की प्रदेश की जनता बीजेपी पर अपना भरोसा बरकरार रखेगी या नहीं.

चंडीगढ़: मनोहर सरकार के 5 साल बीत चुके हैं लिहाजा ये टेस्ट करना जरूरी है कि बीजेपी के ये वादे कितने पूरे हुए. सबसे पहले आपको बताते हैं कि बीजेपी ने 2014 में जो रोजगार देने का वादा किया था उस पर कितना काम हुआ है.

देखिए बीजेपी ने रोजगार देने के वादे को लेकर कितना काम किया.

युवाओं को रोजगार देने का वादा
हरियाणा विधानसभा चुनाव में सरकार के खिलाफ विपक्ष का सबसे बड़ा मुद्दा बेरोजगारी और गिरती अर्थव्यवस्था का है. बेरोजगारी को लेकर 2014 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने 4 लाख नई नौकरी के साथ महीने में 100 घंटे काम के बदले 12वीं पास बेरोजगार युवकों को 6000 रुपये व ग्रेजुएट युवकों को 9000 रुपये मानसिक मानदेय देने का वादा किया था. बेरोजगारी को लेकर विपक्ष लगातार सरकार को घेरता रहा है. बेरोजगारी को चुनावी मुद्दा बनते देख सीएम खट्टर को प्रेस कॉन्फ्रेंस तक करनी पड़ी. जिसमें सीएम ने विपक्ष के आरोपों का जवाब दिया और बेरोजगारी को लेकर अपनी सरकार के आंकड़े भी पेश किए.

सीएम मनोहर लाल ने बताया कि पिछले साढ़े चार साल में 1 लाख 21 हजार लोगों ने नौकरी के लिए पंजीकरण कराया, जिसमें से 40 हजार को नौकरी दी गई है. 81 हजार लोगों को अभी नौकरी नहीं मिली. इनमें से जो बेरोजगार हैं उनको हमने 100 घंटे का रोजगार भी दिया लेकिन इनमें से ज्यादातर आते नहीं हैं. कई लोगों को प्राइवेट संस्थानों में भी रोजगार दिलवाया लेकिन उन्होंने स्वीकार नहीं किया. अगर बाकी बचे लोग अनएंप्लायड होते तो जरूर ये ऑफर मान लेते. मुझे लगता है कि या तो इन लोगों को नौकरी मिल गई है या फिर ये सेमी-एंप्लायड हैं.

रिसर्च कंपनी का दावा
वहीं सरकार के दावे के विपरीत रिसर्च कंपनी सेंटर फॉर मॉनिटरिंग इंडियन इकोनॉमी यानि CMIE के सर्वे की मानें तो हरियाणा में बेरोजगारी दर अगस्त 2019 तक 28.7 प्रतिशत रही है जो कि देश में सभी राज्यों से ज्यादा है, साथ ही देश की बेरोजगारी दर 8.4 प्रतिशत से तीन गुणा ज्यादा है.

विपक्ष ने सरकारी आंकड़ों को बताया सफेद झूठ
इसके अलावा विपक्ष का कहना है कि सीएम खट्टर जो 82 हजार लोगों के नौकरी ना लगने की बात कह रहे हैं वो सफेद झूठ. प्रदेश में अभी 35 लाख से आसपास ग्रेजुएट युवा हैं जिसमें से 4 लाख से ज्यादा अभी भी बेरोजगार हैं. कांग्रेस के राज्यसभा सांसद आनंद शर्मा ने कहा कि बीजेपी सरकार के कार्यकाल में देश और हरियाणा में बेरोजगारी बढ़ी है. कारखाने, कंपनियां बंद हो गई हैं. जनता आने वाले चुनाव में बीजेपी को बाहर का रास्ता दिखा देगी.

बेरोजगारी के अलावा बीजेपी ने 2014 के घोषणा में पत्र में वादे किए गए और उन पर कितना काम हुआ वो भी आपको बताते हैं-

24 घंटे बिजली देने का वादा

  • बीजेपी ने अपने घोषणा पत्र में प्रदेश को 24 घंटे बिजली देने का वादा भी किया था. सरकारी आकंड़े बता रहे हैं कि हरियाणा में 'म्हारा गांव जगमग गांव' योजना के तहत अभी तक 4200 से ज्यादा गांवों और 9 जिलों में 24 घंटे बिजली दी जा रही है और 2600 गांवों को 16 घंटे बिजली प्रदान की जा रही है. वहीं 31 अक्टूबर 2019 तक करनाल हरियाणा का 10वां जिला बन जायेगा जहां 24 घंटे बिजली सप्लाई होगी.
  • इसके आलावा देशे के सबसे पिछड़े जिलों में शुमार नूंह जिले में 51,170 घरों को बिजली कनेक्शन दिया गया.
  • हालांकि इस वादे पर भी विपक्ष सरकार को घेरता रहा है और प्रदेश में कई जगह लोग बिजली समस्या को लेकर प्रदर्शन करने पर मजबूर भी हुए हैं. कई बार नेताओं को भी इसकी झलक दिखी चुकी है. खुद सरकार के मंत्री की प्रेस कॉन्फ्रेंस में बिजली गुल हो चुकी है. तो बीजेपी उम्मीदवार प्रेमलता अंधेरे में प्रचार करती दिखी थीं.

महिला और बच्चियों को सुरक्षा देने के का वादा

  • महिलाओं के लिए दुर्गा शक्ति ऐप लांच की गई.
  • दुर्गा शक्ति वाहिनी सेना बनाई गई.
  • 12 साल तक की बच्ची से रेप करने पर फांसी की सजा.
  • स्कूल-कॉलेज की छात्राओं के साथ-साथ महिलाओं को सुरक्षा देने के लिए दुर्गा रेपिड एक्शन फोर्स बनाई गई.
  • प्रदेश में कुल 29 महिला थाना खोले गए हैं.
  • लड़कियों को मुफ्त सफर का वादा- स्कूल और कॉलेज की छात्राओं को रोडवेज बसों में मुफ्त यात्रा की सुविधा दी. इसके अलावा सरकारी आंकड़ों के अनुसार 2014 तक हरियाणा में 31 महिला कॉलेज खोले गए थे वहीं मौजूदा सरकार ने 29 महिला कॉलेज खोले हैं.

बेटियों को लिए क्या काम किए?

  • 'बेटी बचाओ-बेटी पढाओ' अभियान के तहत सरकार और सार्वजनिक सहायता के प्रयासों के कारण तीन दशकों के बाद लिंग अनुपात में हरियाणा ने 912 का आंकड़ा छू लिया है.
  • मुख्‍यमंत्री विवाह शगुन योजना के तहत, गरीबी रेखा से नीचे रहने वाले सभी वर्गों की विधवा महिलाओं की बेटियों की शादी के दौरान 51,000 रु शगुन के रूप में दिए जा रहे हैं.
  • मुख्‍यमंत्री अंतरजातीय विवाह शगुन योजना के अंतर्गत, राशि को 50,000 रु से बढ़ाकर 2.50 लाख रु किया गया. हरियाणा का जो भी व्यक्ति अनुसूचित जाति से संबंधित लड़की या लड़के से शादी करेगा उसको 2.50 लाख रु दिए जाएंगे.
  • हरियाणा सरकार ने 'आपकी बेटी हमारी बेटी' योजना की शुरुआत की है, इस योजना के तहत ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्रों में 22 जनवरी 2015 को उसके बाद जन्मी अनुसूचित जाति और जरूरतमंद परिवारों को पहली बेटी के जन्म पर 21 हजार रुपए, सभी परिवारों को दूसरी और तीसरी बेटी के जन्म पर 21 हजार रुपए की राशि दी जाती है, इस योजना के तहत 1,83,294 एससी और गरीब परिवारों का फायदा पहुंचाया गया है.

किसानों के लिए क्या किया?

  • फसल खराब होने पर भुगतान करने में हरियाणा देश से बाकी राज्यों से आगे है. कुल 12 हजार प्रति एकड़ मुआवजा खराब फसल की एवज में किसान को दिया गया है. सरकार द्वारा मुआवजा राशि के तौर पर 2655 करोड़ दिया गया जिसमें से 1935 करोड़ किसानों को दे दिया गया है. इस फसल बीमा योजना से लगभग 8.50 लाख किसानों को फायदा पहुंचा है.
  • हरियाणा के हर टेल तक पानी पहुंचाने के वाद पर सरकार ने बताया कि बीजेपी सरकार के कार्यकाल में 39 साल बाद दक्षिण हरियाणा की हर टेल तक पानी पहुंचाया गया.
  • वहीं तेजी से गिरते भूजल स्तर में सुधार के लिए सूक्ष्म सिंचाई परियोजना को लागू करने वाला हरियाणा देश का पहला राज्य है.
  • इसके अलावा भावांतर भरपाई योजना के तहत टमाटर, प्याज, आलू और फूलगोभी की फसल की कीमतें तय करने वाला हरियाणा देश का पहला राज्य है. अगर किसान की सब्जी या फसल तय कीमत से कम पर बिकी तो तय कीमत का बकाया सरकार किसान को देगी.
  • फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य में वृद्धि की गई.
  • हरियाणा सरकार मुख्यमंत्री परिवार सम्मान निधि योजना के तहत 5 एकड़ या इससे कम जमीन वाले किसानों और 15 हजार रु. मासिक आय वाले परिवारों को सालाना 6 हजार रुपए दे रही है. प्रदेश में करीब 24 लाख परिवारों को योजना का लाभ मिलने का दावा किया जा रहा है.
  • एसवाईएल का पानी लाने का वादा- इस वादे पर ज्यादा काम नहीं किया गया. सुप्रीम कोर्ट का फैसला हरियाणा के हक में आने के बावजूद हरियाणा सरकार पंजाब से अपने हिस्से का पानी नहीं ले पाई. दोनों राज्यों में मध्यसता के लिए बातचीत चल रही है.

गांव की सड़कें पक्की करने का वादा- बीजेपी सरकार के कार्यकाल में 2014-15 में 38 किमी, 2015-16 में 20 किमी सड़क का निर्माण किया गया. वहीं 2016 अक्टूबर तक 13.65 किमी रोड़ का निर्माण किया गया. ये आंकड़ें बता रहें कि घोषणा पत्र के सड़क बनाने के वादे पर बीजेपी सरकार खरी नहीं उतर पाई.

बुजुर्गों और विधवाओं को 2000 रु मासिक पेंशन देने का वादा- सरकारी आंकड़ों के अनुसार अब तक 23 लाख लोगों को पेंशन दी गई है. जिसमें 16 लाख बुजुर्ग हैं और 7 लाख लाभार्थी विधवा महिला हैं. इसके साथ ही हरियाणा देश का पहला राज्य है, जहां डायरेक्ट बेनीफिट ट्रांसफर के माध्यम से 100% पेंशन सीधे लाभार्थी के खाते में भेजी जा रही है.

शहीदों और पूर्व सैनिकों के लिए क्या किया?

  • युद्ध के दौरान शहीद हुए सैनिकों के आश्रितों को दी जाने वाली राशि 20 लाख से बढ़ाकर 50 लाख रु की गई.
  • द्वितीय विश्व युद्ध के पूर्व सैनिकों और उनकी विधवाओं को 10000 रु की प्रति महीना वित्तीय सहायता दी गई.
  • 245 शहीदों के आश्रितों को अनुकंपा के आधार पर नौकरी दी गई.

इसके अलावा मनोहर सरकार में जो मुख्य काम हुए हैं वो इस प्रकार हैं-

  • हरियाणा देश का अब पहला ऐसा राज्य बन गया है जहां हर पंच और सरपंच पढ़ा लिखा है और साथ ही किसी भी पंच व सरपंच पर बिजली बिल और बैंक लोन बकाया नहीं है.
  • सरकारी अस्पतालों में सभी प्रकार की आवश्यक दवाएं और चिकित्सा परीक्षण नि: शुल्क उपलब्ध कराए जा रहे हैं.
  • आयुष्मान भारत योजना के तहत गरीब परिवारों को 5 लाख रुपये तक के चिकित्सा लाभ प्रदान किए जा रहे हैं.
  • ईज ऑफ डूइंग बिजनेस में हरियाणा फिसड्डी से अगड़े राज्यों में आ गया है.

एसवाईएल का पानी लाने का वादा, प्रदेश में दो एम्स खोलने का वादा कुछ ऐसी बड़ी घोषणाएं हैं जिनको पूरा नहीं किया गया.

तो ये था बीजेपी सरकार के 2014 की घोषणाओं को लेखा जोखा. बीजेपी के कार्यकाल में कई वादे पूरे हुए तो कई मुख्य वादे अधूरे रह गए हैं. अब देखना होगा की प्रदेश की जनता बीजेपी पर अपना भरोसा बरकरार रखेगी या नहीं.

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चौधर की जंग: बीजेपी के 2014 के घोषणा पत्र के कितने वादे हुए पूरे? 



ये है ईटीवी भारत की खास पेशकश 'चौधर की जंग'. इस बार हम बात करेंगे बीजेपी के 2014 के मेनिफेस्टो की और 2014 में जनता से किए गए वादों की. पिछले पांच साल में बीजेपी सरकार ने अपने मेनिफेस्टो में किए गए मुख्य वादों को लेकर क्या काम किया ये हम आपको बताएंगे इस कार्यक्रम में.

चंडीगढ़: मनोहर सरकार के 5 साल बीत चुके हैं लिहाजा ये टेस्ट करना जरूरी है कि बीजेपी के ये वादे कितने पूरे हुए. सबसे पहले आपको बताते हैं कि बीजेपी ने 2014 में जो रोजगार देने का वादा किया था उस पर कितना काम हुआ है.

युवाओं को रोजगार देने का वादा

हरियाणा विधानसभा चुनाव में सरकार के खिलाफ विपक्ष का सबसे बड़ा मुद्दा बेरोजगारी और गिरती अर्थव्यवस्था का है. बेरोजगारी को लेकर 2014 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने 4 लाख नई नौकरी के साथ महीने में 100 घंटे काम के बदले 12वीं पास बेरोजगार युवकों को 6000 रुपये व ग्रेजुएट युवकों को 9000 रुपये मानसिक मानदेय देने का वादा किया था. 

बेरोजगारी को लेकर विपक्ष लगातार सरकार को घेरता रहा है. बेरोजगारी को चुनावी मुद्दा बनते देख सीएम खट्टर को प्रेस कॉन्फ्रेंस तक करनी पड़ी. जिसमें सीएम ने विपक्ष के आरोपों का जवाब दिया और बेरोजगारी को लेकर अपनी सरकार के आंकड़े भी पेश किए.

सीएम ने दी सफाई

सीएम मनोहर लाल ने बताया कि पिछले साढ़े चार साल में 1 लाख 21 हजार लोगों ने नौकरी के लिए पंजीकरण कराया, जिसमें से 40 हजार को नौकरी दी गई है. 81 हजार लोगों को अभी नौकरी नहीं मिली. इनमें से जो बेरोजगार हैं उनको हमने 100 घंटे का रोजगार भी दिया लेकिन इनमें से ज्यादातर आते नहीं हैं. कई लोगों को प्राइवेट संस्थानों में भी रोजगार दिलवाया लेकिन उन्होंने स्वीकार नहीं किया. अगर बाकी बचे लोग अनएंप्लायड होते तो जरूर ये ऑफर मान लेते. मुझे लगता है कि या तो इन लोगों को नौकरी मिल गई है या फिर ये सेमी-एंप्लायड हैं.

रिसर्च कंपनी का दावा

वहीं सरकार के दावे के विपरीत रिसर्च कंपनी सेंटर फॉर मॉनिटरिंग इंडियन इकोनॉमी यानि CMIE के सर्वे की मानें तो हरियाणा में बेरोजगारी दर अगस्त 2019 तक 28.7 प्रतिशत रही है जो कि देश में सभी राज्यों से ज्यादा है, साथ ही देश की बेरोजगारी दर 8.4 प्रतिशत से तीन गुणा ज्यादा है. 

विपक्ष ने सरकारी आंकड़ों को बताया सफेद झूठ

इसके अलावा विपक्ष का कहना है कि सीएम खट्टर जो 82 हजार लोगों के नौकरी ना लगने की बात कह रहे हैं वो सफेद झूठ. प्रदेश में अभी 35 लाख से आसपास ग्रेजुएट युवा हैं जिसमें से 4 लाख से ज्यादा अभी भी बेरोजगार हैं. कांग्रेस के राज्यसभा सांसद आनंद शर्मा ने कहा कि बीजेपी सरकार के कार्यकाल में देश और हरियाणा में बेरोजगारी बढ़ी है. कारखाने, कंपनियां बंद हो गई हैं. जनता आने वाले चुनाव में बीजेपी को बाहर का रास्ता दिखा देगी.

बेरोजगारी के अलावा बीजेपी ने 2014 के घोषणा में पत्र में वादे किए गए और उन पर कितना काम हुआ वो भी आपको बताते हैं-

24 घंटे बिजली देने का वादा

बीजेपी ने अपने घोषणा पत्र में प्रदेश को 24 घंटे बिजली देने का वादा भी किया था. सरकारी आकंड़े बता रहे हैं कि हरियाणा में 'म्हारा गांव जगमग गांव' योजना के तहत अभी तक 4200 से ज्यादा गांवों और 9 जिलों में 24 घंटे बिजली दी जा रही है और 2600 गांवों को 16 घंटे बिजली प्रदान की जा रही है. वहीं 31 अक्टूबर 2019 तक करनाल हरियाणा का 10वां जिला बन जायेगा जहां 24 घंटे बिजली सप्लाई होगी.

इसके आलावा देशे के सबसे पिछड़े जिलों में शुमार नूंह जिले में 51,170 घरों को बिजली कनेक्शन दिया गया.

हालांकि इस वादे पर भी विपक्ष सरकार को घेरता रहा है और प्रदेश में कई जगह लोग बिजली समस्या को लेकर प्रदर्शन करने पर मजबूर भी हुए हैं. कई बार नेताओं को भी इसकी झलक दिखी चुकी है. खुद सरकार के मंत्री की प्रेस कॉन्फ्रेंस में बिजली गुल हो चुकी है. तो बीजेपी उम्मीदवार प्रेमलता अंधेरे में प्रचार करती दिखीं.



महिला और बच्चियों को सुरक्षा देने के का वादा

महिलाओं के लिए दुर्गा शक्ति ऐप लांच की गई.

दुर्गा शक्ति वाहिनी सेना बनाई गई.

12 साल तक की बच्ची से रेप करने पर फांसी की सजा.

स्कूल-कॉलेज की छात्राओं के साथ-साथ महिलाओं को सुरक्षा देने के लिए दुर्गा रेपिड एक्शन फोर्स बनाई गई.

प्रदेश में कुल 29 महिला थाना खोले गए हैं.

लड़कियों को मुफ्त सफर का वादा

स्कूल और कॉलेज की छात्राओं को रोडवेज बसों में मुफ्त यात्रा की सुविधा दी. इसके अलावा सरकारी आंकड़ों के अनुसार 2014 तक हरियाणा में 31 महिला कॉलेज खोले गए थे वहीं मौजूदा सरकार ने 29 महिला कॉलेज खोले हैं. 

बेटियों को लिए क्या काम किए?

'बेटी बचाओ-बेटी पढाओ' अभियान के तहत सरकार और सार्वजनिक सहायता के प्रयासों के कारण तीन दशकों के बाद लिंग अनुपात में हरियाणा ने 912 का आंकड़ा छू लिया है.

मुख्‍यमंत्री विवाह शगुन योजना के तहत, गरीबी रेखा से नीचे रहने वाले सभी वर्गों की विधवा महिलाओं की बेटियों की शादी के दौरान 51,000 रु शगुन के रूप में दिए जा रहे हैं.

मुख्‍यमंत्री अंतरजातीय विवाह शगुन योजना के अंतर्गत, राशि को 50,000 रु से बढ़ाकर 2.50 लाख रु किया गया. हरियाणा का जो भी व्यक्ति अनुसूचित जाति से संबंधित लड़की या लड़के से शादी करेगा उसको 2.50 लाख रु दिए जाएंगे.

हरियाणा सरकार ने आपकी बेटी हमारी बेटी योजना की शुरुआत की है,  इस योजना के तहत ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्रों में 22 जनवरी 2015 को उसके बाद जन्मी अनुसूचित जाति और जरूरतमंद परिवारों को पहली बेटी के जन्म पर 21 हजार रुपए, सभी परिवारों को दूसरी और तीसरी बेटी के जन्म पर 21 हजार रुपए की राशि दी जाती है। इस योजना के तहत 1,83,294 एससी और गरीब परिवारों का फायदा पहुंचाया गया है.

किसानों के लिए क्या किया?

फसल खराब होने पर भुगतान करने में हरियाणा देश से बाकी राज्यों से आगे है. कुल 12 हजार प्रति एकड़ मुआवजा खराब फसल की एवज में किसान को दिया गया है. सरकार द्वारा मुआवजा राशि के तौर पर 2655 करोड़ दिया गया जिसमें से 1935 करोड़ किसानों को दे दिया गया है. इस फसल बीमा योजना से लगभग 8.50 लाख किसानों को फायदा पहुंचा है.

हरियाणा के हर टेल तक पानी पहुंचाने के वाद पर सरकार ने बताया कि बीजेपी सरकार के कार्यकाल में 39 साल बाद दक्षिण हरियाणा की हर टेल तक पानी पहुंचाया गया.

वहीं तेजी से गिरते भूजल स्तर में सुधार के लिए सूक्ष्म सिंचाई परियोजना को लागू करने वाला हरियाणा देश का पहला राज्य है.

इसके अलावा भावांतर भरपाई योजना के तहत टमाटर, प्याज, आलू और फूलगोभी की फसल की कीमतें तय करने वाला हरियाणा देश का पहला राज्य है. अगर किसान की सब्जी या फसल तय कीमत से कम पर बिकी तो तय कीमत का बकाया सरकार किसान को देगी.          

फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य में वृद्धि की गई. 

हरियाणा सरकार मुख्यमंत्री परिवार सम्मान निधि योजना के तहत 5 एकड़ या इससे कम जमीन वाले किसानों और 15 हजार रु. मासिक आय वाले परिवारों को सालाना 6 हजार रुपए दे रही है. प्रदेश में करीब 24 लाख परिवारों को योजना का लाभ मिलने का दावा किया जा रहा है.

एसवाईएल का पानी लाने का वादा- इस वादे पर ज्यादा काम नहीं किया गया. सुप्रीम कोर्ट का फैसला हरियाणा के हक में आने के बावजूद हरियाणा सरकार पंजाब से अपने हिस्से का पानी नहीं ले पाई. दोनों राज्यों में मध्यसता के लिए बातचीत चल रही है.

गांव की सड़कें पक्की करने का वादा- बीजेपी सरकार के कार्यकाल में 2014-15 में 38 किमी, 2015-16 में 20 किमी सड़क का निर्माण किया गया. वहीं 2016 अक्टूबर तक 13.65 किमी रोड़ का निर्माण किया गया. ये आंकड़ें बता रहें कि घोषणा पत्र के सड़क बनाने के वादे पर बीजेपी सरकार खरी नहीं उतर पाई.

बुजुर्गों और विधवाओं को 2000 रु मासिक पेंशन देने का वादा

सरकारी आंकड़ों के अनुसार अब तक 23 लाख लोगों को पेंशन दी गई है. जिसमें 16 लाख बुजुर्ग हैं और 7 लाख लाभार्थी विधवा महिला हैं. इसके साथ ही हरियाणा देश का पहला राज्य है, जहां डायरेक्ट बेनीफिट ट्रांसफर के माध्यम से 100% पेंशन सीधे लाभार्थी के खाते में भेजी जा रही है.

शहीदों और पूर्व सैनिकों के लिए क्या किया?

युद्ध के दौरान शहीद हुए सैनिकों के आश्रितों को दी जाने वाली राशि 20 लाख से बढ़ाकर 50 लाख रु की गई.

द्वितीय विश्व युद्ध के पूर्व सैनिकों और उनकी विधवाओं को 10000 रु की प्रति महीना वित्तीय सहायता दी गई. 

245 शहीदों के आश्रितों को अनुकंपा के आधार पर नौकरी दी गई.

इसके अलावा मनोहर सरकार में जो मुख्य काम हुए हैं वो इस प्रकार हैं-

हरियाणा देश का अब पहला ऐसा राज्य बन गया है जहां हर पंच और सरपंच पढ़ा लिखा है और साथ ही किसी भी पंच व सरपंच पर बिजली बिल और बैंक लोन बकाया नहीं है.

सरकारी अस्पतालों में सभी प्रकार की आवश्यक दवाएं और चिकित्सा परीक्षण नि: शुल्क उपलब्ध कराए जा रहे हैं.

आयुष्मान भारत योजना के तहत गरीब परिवारों को 5 लाख रुपये तक के चिकित्सा लाभ प्रदान किए जा रहे हैं.

ईज ऑफ डूइंग बिजनेस में हरियाणा फिसड्डी से अगड़े राज्यों में आ गया है.

वहीं एसवाईएल का पानी लाने का वादा, प्रदेश में दो एम्स खोलने का वादा कुछ ऐसी बड़ी घोषणाएं हैं जिनको पूरा नहीं किया गया. 

 


Conclusion:
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