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MP: जबलपुर से गिरफ्तार ISIS मॉड्यूल से जुडे़ 3 आरोपियों की रिमांड 10 जून तक बढ़ी

एटीएस और एनआईए की संयुक्त कार्रवाई के दौरान जबलपुर से गिरफ्तार किए गए 3 संदिग्धों को रिमांड खत्म होने पर फिर से एनआईए की विशेष न्यायालय में शनिवार को पेश किया गया. तीनों की रिमांड 10 जून तक के लिए बढ़ा दी गई है. तीनों पर आतंकी गतिविधि में शामिल होने का आरोप है.

Bhopal special NIA court
भोपाल की विशेष एनआईए कोर्ट
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Published : Jun 3, 2023, 5:12 PM IST

भोपाल। शनिवार को भोपाल के विशेष एनआईए कोर्ट में जबलपुर से गिरफ्तार किया गए तीन संदिग्धों को पेश किया गया. इस पूरे मामले में एटीएस और एनआईए की संयुक्त कार्रवाई के दौरान इन लोगों को जबलपुर से गिरफ्तार किया गया था जिसके बाद न्यायालय ने 3 जून तक इन तीनों को रिमांड पर दिया था. एनआईए लगातार मामले में इन लोगों से पूछताछ कर रही थी. शनिवार को फिर से न्यायालय में पेश कर 10 जून तक के लिए एनआईए ने रिमांड पर लिया है.

10 जून तक बढ़ी डिमांड: एनआईए और एटीएस की संयुक्त कार्रवाई में जबलपुर से पकड़े गए तीन संदिग्ध सैयद मंसूर अली, मोहम्मद शाहिद और मोहम्मद आदिल खान थे जिन्हें एनआईए की टीम जबलपुर से गिरफ्तार कर भोपाल पर स्पेशल कोर्ट में प्रस्तुत किया था. जिसके बाद इन्हें एनआईए ने 7 दिन की रिमांड पर लिया था. शनिवार को उनकी रिमांड अवधि खत्म हुई थी जिसके बाद एनआईए ने एक बार फिर इन्हें भोपाल न्यायालय में स्पेशल कोर्ट न्यायधीश रघुवीर प्रसाद पटेल की कोर्ट में प्रस्तुत किया गया. जहां से इन्हें अब फिर से एनआईए को 10 जून तक इन तीनों के मामले में रिमांड की अवधि बढ़ा दी गई है.

ISIS मॉड्यूल से जुडे़ थे आरोपी: इस पूरे मामले में एनआईए एटीएस की संयुक्त कार्रवाई के दौरान इन तीनों को मध्यप्रदेश के जबलपुर से संदिग्ध गतिविधियों के चलते इन्हें गिरफ्तार किया गया था. तीनों पर आईएसआईएस से जुड़े मॉड्यूल को चलाने का आरोप लगा है. आरोपियों के पास से कुछ हथियार और कुछ इलेक्ट्रॉनिक डिवाइसेस जब्त की गई थी. एनआईए को जानकारी मिली थी कि यह लोग बिस्मिल्लाह के नाम से एक व्हाट्सएप ग्रुप बनाकर और सोशल मीडिया पर कुछ कट्टरपंथी सोच की विचारधारा को प्रचारित करते हैं. इसके अलावा जबलपुर में स्थानीय मस्जिदों में जा जाकर लोगों के साथ बैठक करते हैं और उनको देश में आतंकवाद और देश विरोधी गतिविधियों के लिए भड़काते है.

हथियार खरीदने की कोशिस में थे आरोपी: जांच में यह भी सामने आया है कि तीनों आरोपी कट्टरपंथी हैं इनके मंसूबे हिंसक जिहाद को अंजाम देने के थे. वे पैसे इकट्ठे करके ISIS प्रचार सामग्री का प्रसार करने युवाओं को बरगलाने और आतंकवादी गतिविधियों को अंजाम देने के मकसद से हथियार और गोला-बारूद खरीदने की कोशिश में लगे थे. अब इस पूरे मामले में 10 जून को एनआईए फिर से इन्हें न्यायालय में प्रस्तुत करेगा और इस बीच अगले 7 दिनों तक लगातार इन लोगों के साथ पूछताछ जारी रहेगी.

भोपाल। शनिवार को भोपाल के विशेष एनआईए कोर्ट में जबलपुर से गिरफ्तार किया गए तीन संदिग्धों को पेश किया गया. इस पूरे मामले में एटीएस और एनआईए की संयुक्त कार्रवाई के दौरान इन लोगों को जबलपुर से गिरफ्तार किया गया था जिसके बाद न्यायालय ने 3 जून तक इन तीनों को रिमांड पर दिया था. एनआईए लगातार मामले में इन लोगों से पूछताछ कर रही थी. शनिवार को फिर से न्यायालय में पेश कर 10 जून तक के लिए एनआईए ने रिमांड पर लिया है.

10 जून तक बढ़ी डिमांड: एनआईए और एटीएस की संयुक्त कार्रवाई में जबलपुर से पकड़े गए तीन संदिग्ध सैयद मंसूर अली, मोहम्मद शाहिद और मोहम्मद आदिल खान थे जिन्हें एनआईए की टीम जबलपुर से गिरफ्तार कर भोपाल पर स्पेशल कोर्ट में प्रस्तुत किया था. जिसके बाद इन्हें एनआईए ने 7 दिन की रिमांड पर लिया था. शनिवार को उनकी रिमांड अवधि खत्म हुई थी जिसके बाद एनआईए ने एक बार फिर इन्हें भोपाल न्यायालय में स्पेशल कोर्ट न्यायधीश रघुवीर प्रसाद पटेल की कोर्ट में प्रस्तुत किया गया. जहां से इन्हें अब फिर से एनआईए को 10 जून तक इन तीनों के मामले में रिमांड की अवधि बढ़ा दी गई है.

ISIS मॉड्यूल से जुडे़ थे आरोपी: इस पूरे मामले में एनआईए एटीएस की संयुक्त कार्रवाई के दौरान इन तीनों को मध्यप्रदेश के जबलपुर से संदिग्ध गतिविधियों के चलते इन्हें गिरफ्तार किया गया था. तीनों पर आईएसआईएस से जुड़े मॉड्यूल को चलाने का आरोप लगा है. आरोपियों के पास से कुछ हथियार और कुछ इलेक्ट्रॉनिक डिवाइसेस जब्त की गई थी. एनआईए को जानकारी मिली थी कि यह लोग बिस्मिल्लाह के नाम से एक व्हाट्सएप ग्रुप बनाकर और सोशल मीडिया पर कुछ कट्टरपंथी सोच की विचारधारा को प्रचारित करते हैं. इसके अलावा जबलपुर में स्थानीय मस्जिदों में जा जाकर लोगों के साथ बैठक करते हैं और उनको देश में आतंकवाद और देश विरोधी गतिविधियों के लिए भड़काते है.

हथियार खरीदने की कोशिस में थे आरोपी: जांच में यह भी सामने आया है कि तीनों आरोपी कट्टरपंथी हैं इनके मंसूबे हिंसक जिहाद को अंजाम देने के थे. वे पैसे इकट्ठे करके ISIS प्रचार सामग्री का प्रसार करने युवाओं को बरगलाने और आतंकवादी गतिविधियों को अंजाम देने के मकसद से हथियार और गोला-बारूद खरीदने की कोशिश में लगे थे. अब इस पूरे मामले में 10 जून को एनआईए फिर से इन्हें न्यायालय में प्रस्तुत करेगा और इस बीच अगले 7 दिनों तक लगातार इन लोगों के साथ पूछताछ जारी रहेगी.

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