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कोरोना से जंग: IIT दिल्ली के छात्रों ने बनाया स्पेशल फेस शील्ड

एम्स के हेल्थ वर्कर्स को शिकायत थी कि उन्हें कोविड-19 से बचने के लिए अच्छी क्वालिटी के पीपीई किट्स नहीं दिए जा रहे हैं. उनके लिए देश के सबसे बड़े प्रौद्योगिकी संस्थान आईआईटी दिल्ली ने 1000 फेस शील्ड डोनेट किया है.

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Published : May 7, 2020, 5:14 PM IST

IIT Delhi contributes in corona fight by donating special face shield
आईआईटी दिल्ली स्टूडेंट्स

नई दिल्लीः कोविड-19 महामारी का कहर पूरी दुनिया में है. भारत में भी यह तेजी से अपना पांव पसार रहा है. ऐसे में हर कोई अपने स्तर पर इस महामारी से निपटने में सहयोग कर रहा है. देश की सबसे बड़ी प्रौद्योगिकी संस्थान आईआईटी दिल्ली के स्टूडेंट्स ने भी इसमें अपना योगदान देने की पहल की है.

कोरोना से जंग के लि IIT के छात्रों ने बना दिया स्पेशल फेस शील्ड

छात्रों ने कोविड-19 से प्रभावी तरीके से सुरक्षा प्रदान करने के लिए अच्छी क्वालिटी के फेस शील्ड बनाकर फ्रंट लाइन कोरोना वारियर्स को डोनेट करने की पहल की है. इसके लिये स्टूडेंट्स ने ओखला में प्लास्टिक पैकेजिंग करने वाली लॉकडाउन में बंद एक फैक्ट्री को दोबारा खुलवाया और वहां इसका उत्पादन शुरू किया.

फेस शील्ड का डिजाइन तैयार करने वाले छात्र नमन भारद्वाज ने बताया कि जब सारी दुनिया कोविड-19 से लड़ रही है और हर कोई अपने स्तर पर मदद कर रहा है तो वो क्यों नहीं कर सकते हैं. उन्होंने अपनी कोर टीम मेंबर्स से चर्चा कर अच्छी क्वालिटी के फेस शील्ड बनाकर फ्रंट लाइन कोविड वारियर्स को डोनेट करने का फैसला किया.

एम्स के हेल्थ वर्कर्स काफी समय से घटिया पीपीई किट्स की शिकायत कर रहे थे. जिससे उनके कोविड इन्फेक्शन का खतरा बढ़ गया थ. इसीलिए सभी कोरोना वारियर्स के लिए अच्छी क्वालिटी के फेस शील्ड बनाने का संकल्प किया. नमन ने बताया कि हमारे पास अच्छा आइडिया था, अच्छे डिजाइन भी थे, लेकिन फंड नहीं था. फंड के लिए हमने क्राउड फंड रेज करने का फैसला किया. इस सोर्स से 3-4 लाख रुपए जमा हो गए. लेकिन सबसे बड़ी चुनौती थी इतने बड़े पैमाने पर फेस शील्ड कैसे बनाए जाए.

बंद पड़ी फैक्ट्री को खुलवाया

नमन ने बताया कि काफी सोच-विचार कर लॉकडाउन में बंद पड़ी फैक्ट्री की तरफ रुख किया. एक -दो जगह असफलता के बाद आखिरकार एक फैक्ट्री फेस शील्ड बनाने को तैयार हो गई. हमने उसके साथ डिजाइन शेयर की. उनके वर्कर्स को ट्रेनिंग दी और फिर फेस शील्ड का प्रोडक्शन शुरू हो गया है.

गुरुवार को अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) के रेजिडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन के महासचिव डॉ. राजकुमार श्रीनिवास ने जानकारी दी कि आईआईटी दिल्ली के स्टूडेंट्स ने एम्स को 1000 फेस शील्ड डोनेट किया है. इनकी क्वालिटी बहुत ही अच्छी है और कोविड-19 वायरस से काफी प्रभावी तरीके से सुरक्षा प्रदान करता है.

नई दिल्लीः कोविड-19 महामारी का कहर पूरी दुनिया में है. भारत में भी यह तेजी से अपना पांव पसार रहा है. ऐसे में हर कोई अपने स्तर पर इस महामारी से निपटने में सहयोग कर रहा है. देश की सबसे बड़ी प्रौद्योगिकी संस्थान आईआईटी दिल्ली के स्टूडेंट्स ने भी इसमें अपना योगदान देने की पहल की है.

कोरोना से जंग के लि IIT के छात्रों ने बना दिया स्पेशल फेस शील्ड

छात्रों ने कोविड-19 से प्रभावी तरीके से सुरक्षा प्रदान करने के लिए अच्छी क्वालिटी के फेस शील्ड बनाकर फ्रंट लाइन कोरोना वारियर्स को डोनेट करने की पहल की है. इसके लिये स्टूडेंट्स ने ओखला में प्लास्टिक पैकेजिंग करने वाली लॉकडाउन में बंद एक फैक्ट्री को दोबारा खुलवाया और वहां इसका उत्पादन शुरू किया.

फेस शील्ड का डिजाइन तैयार करने वाले छात्र नमन भारद्वाज ने बताया कि जब सारी दुनिया कोविड-19 से लड़ रही है और हर कोई अपने स्तर पर मदद कर रहा है तो वो क्यों नहीं कर सकते हैं. उन्होंने अपनी कोर टीम मेंबर्स से चर्चा कर अच्छी क्वालिटी के फेस शील्ड बनाकर फ्रंट लाइन कोविड वारियर्स को डोनेट करने का फैसला किया.

एम्स के हेल्थ वर्कर्स काफी समय से घटिया पीपीई किट्स की शिकायत कर रहे थे. जिससे उनके कोविड इन्फेक्शन का खतरा बढ़ गया थ. इसीलिए सभी कोरोना वारियर्स के लिए अच्छी क्वालिटी के फेस शील्ड बनाने का संकल्प किया. नमन ने बताया कि हमारे पास अच्छा आइडिया था, अच्छे डिजाइन भी थे, लेकिन फंड नहीं था. फंड के लिए हमने क्राउड फंड रेज करने का फैसला किया. इस सोर्स से 3-4 लाख रुपए जमा हो गए. लेकिन सबसे बड़ी चुनौती थी इतने बड़े पैमाने पर फेस शील्ड कैसे बनाए जाए.

बंद पड़ी फैक्ट्री को खुलवाया

नमन ने बताया कि काफी सोच-विचार कर लॉकडाउन में बंद पड़ी फैक्ट्री की तरफ रुख किया. एक -दो जगह असफलता के बाद आखिरकार एक फैक्ट्री फेस शील्ड बनाने को तैयार हो गई. हमने उसके साथ डिजाइन शेयर की. उनके वर्कर्स को ट्रेनिंग दी और फिर फेस शील्ड का प्रोडक्शन शुरू हो गया है.

गुरुवार को अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) के रेजिडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन के महासचिव डॉ. राजकुमार श्रीनिवास ने जानकारी दी कि आईआईटी दिल्ली के स्टूडेंट्स ने एम्स को 1000 फेस शील्ड डोनेट किया है. इनकी क्वालिटी बहुत ही अच्छी है और कोविड-19 वायरस से काफी प्रभावी तरीके से सुरक्षा प्रदान करता है.

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