नई दिल्ली: रोहिणी जिला न्यायालय के विशेष न्यायाधीश धर्मेद्र राणा (एनडीपीएस) ने बुधवार को डकैती के गंभीर मामले से जुड़े एक आरोपी की अग्रिम जमानत अर्जी खारिज कर दी. मामला दिल्ली के मुखर्जी नगर थाने से जुड़ा है, जहां एक डकैती के बाद पुलिस ने एफआईआर दर्ज कर और आरोपी गौरव चौहान और कमल की तलाश शुरू की थी. वहीं, आरोपी गौरव ने अपने वकील के माध्यम से रोहिणी कोर्ट में अग्रिम जमानत की अर्जी लगाई गई थी.
बुधवार को उसने एनडीपीएस कोर्ट में दोबारा अग्रिम जमानत की अर्जी लगाई. आरोपी के वकील राजबीर सिंह ने कहा कि गौरव का मामले के सह आरोपी कमल बिष्ठ के साथ कुछ लेना देना नहीं है. वह पुलिस जांच में सहयोग करने को भी तैयार है, लेकिन पुलिस उसे झूठे आरोप में फंसा रही है. आरोपी बेकसूर है. वह अदालत की सभी शर्ते मानने को भी तैयार है. इसलिए आरोपी को सशर्त अग्रिम जमानत दी जाए.
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अभियोजन पक्ष के वकील ने कोर्ट में आरोपी की अग्रिम जमानत का विरोध किया और कहा कि यह मामला डकैती जैसे गंभीर अपराध का है और इस मामले में आरोपी की पुलिस कस्टडी बहुत जरूरी है, ताकि आरोपियों द्वारा वारदात में इस्तेमाल की गई सेंट्रो कार के साथ लूटा पैसा भी बरामद किया जा सके. साथ ही आरोपी की शिनाख्त परेड (TIP) भी बाकी है. इसलिए आरोपी को अग्रिम जमानत न दी जाए. कोर्ट ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद आदेश में कहा कि आरोपी की अग्रिम जमानत अर्जी खारिज की जाती है. साथ ही जांच अधिकारी (मुखर्जी नगर थाने के एसएचओ) को फटकार लगाई और निर्देश दिए कि वो खुद इस मामले की जांच कर इसकी रिपोर्ट कोर्ट में जमा करें.
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