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नोएडा पुलिस ने आउटसोर्सिंग प्राइवेट लिमिटेड के निदेशक के खिलाफ दर्ज किया केस - धोखाधड़ी की धारा

Noida Crime News: एक आउटसोर्सिंग प्राइवेट लिमिटेड के निदेशक पर धोखाधड़ी की धारा में कंपनी के पूर्व कर्मचारी ने केस दर्ज कराया है. नोएडा पुलिस सभी पहलुओं को ध्यान में रखकर मामले की जांच की जा रही है.

कंपनी के निदेशक के खिलाफ केस दर्ज
कंपनी के निदेशक के खिलाफ केस दर्ज
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By ETV Bharat Delhi Team

Published : Jan 9, 2024, 10:33 PM IST

नई दिल्ली/नोएडा: एक कंपनी के निदेशक पर 21.17 लाख रुपए हड़पने का आरोप लगाते हुए कंपनी के पूर्व कर्मचारी ने फेज दो थाने में धोखाधड़ी की धारा में केस दर्ज कराया है. न्यायालय में दिए प्रार्थना पत्र में ग्रेटर नोएडा निवासी श्रवण कुमार ने बताया कि उन्होंने 18 दिसंबर 2004 में जारी नियुक्ति पत्र के आधार पर एक प्राइवेट लिमिटेड कंपनी में प्रोग्रामर के पद पर ज्वाइन किया था. ज्वाइन करते समय कंपनी के निदेशक शमित खेमका और कपिल गुप्ता थे.

2014 में उनकी कंपनी को आउटसोर्सिंग प्राइवेट लिमिटेड में शिफ्ट कर दिया गया. इस कंपनी के डायरेक्टर शमित खेमका, कपिल गुप्ता के साथ सुभाष कोठारी भी थे, लेकिन कंपनी का पूरा कार्यभार मुख्य संचालक शमित खेमका देखते थे. शिकायतकर्ता को कंपनी का नाम बदलने की जानकारी 2015 में आइटीआर भरते समय हुई. आउटसोर्सिंग प्राइवेट लिमिटेड कंपनी के प्रबंधक शमित खेमका ने शिकायतकर्ता को बताया कि दोनों कंपनियों का प्रबंधन एक ही है. इस कारण उनकी सेवा शर्तों में कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा. कुछ समय तक सबकुछ ऐसे ही चलता रहा.

इसी दौरान पीड़ित को कुछ पैसे की आवश्यकता पड़ी तो उसने प्रबंधन से अपने पीएफ खाते की जानकारी मांगी. जानकारी मिलने पर पता चला कि शिकायतकर्ता के तीन अलग-अलग खाते खोले गए हैं. ऐसा अलग-अलग कंपनी से वेतन आने के कारण होना बताया गया. 2022 में शिकायतकर्ता ने कंपनी से त्यागपत्र दे दिया. तब कंपनी की ओर से उन्हें ग्रेच्युटी 2004 से न देकर 2014 से सिर्फ आठ वर्ष की दी गई. इसके अलावा लायलटी बोनस भी नहीं दिया गया.

पीड़ित का आरोप है कि कंपनी के डायरेक्टर ने धोखाधड़ी करके ग्रेच्युटी, लायलटी बोनस और मूल वेतन कम दर्शाकर करीब 21 लाख रुपये की धोखाधड़ी की. थाना प्रभारी ने बताया कि सभी पहलुओं को ध्यान में रखकर मामले की जांच की जा रही है. अभी किसी की कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है. तथ्यों के आधार पर अग्रिम विधिक कार्यवाई की जाएगी.

फेसबुक आइडी पर आपत्तिजनक तस्वीरें वायरल: एप के माध्यम से लोन लेने के बाद आरोपियों ने एक महिला और उसके पति की अश्लील तस्वीरें सोशल मीडिया के विभिन्न प्लेटफॉर्म पर वायरल कर दी. महिला ने जब ऐप के कर्मचारियों को ऐसा न करने के लिए कहा तो उसके जान से मारने की धमकी दी. कई बार समझाने के बाद भी जब आरोपी नहीं माने तो महिला ने फेज दो थाने में मामले की शिकायत कर दी. पुलिस ने अज्ञात के खिलाफ संबंधित धाराओं में केस दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी है. जिस नंबर पर महिला की बात हुई थी, उस नंबर के बारे में भी जानकारी जुटाई जा रही है.

नई दिल्ली/नोएडा: एक कंपनी के निदेशक पर 21.17 लाख रुपए हड़पने का आरोप लगाते हुए कंपनी के पूर्व कर्मचारी ने फेज दो थाने में धोखाधड़ी की धारा में केस दर्ज कराया है. न्यायालय में दिए प्रार्थना पत्र में ग्रेटर नोएडा निवासी श्रवण कुमार ने बताया कि उन्होंने 18 दिसंबर 2004 में जारी नियुक्ति पत्र के आधार पर एक प्राइवेट लिमिटेड कंपनी में प्रोग्रामर के पद पर ज्वाइन किया था. ज्वाइन करते समय कंपनी के निदेशक शमित खेमका और कपिल गुप्ता थे.

2014 में उनकी कंपनी को आउटसोर्सिंग प्राइवेट लिमिटेड में शिफ्ट कर दिया गया. इस कंपनी के डायरेक्टर शमित खेमका, कपिल गुप्ता के साथ सुभाष कोठारी भी थे, लेकिन कंपनी का पूरा कार्यभार मुख्य संचालक शमित खेमका देखते थे. शिकायतकर्ता को कंपनी का नाम बदलने की जानकारी 2015 में आइटीआर भरते समय हुई. आउटसोर्सिंग प्राइवेट लिमिटेड कंपनी के प्रबंधक शमित खेमका ने शिकायतकर्ता को बताया कि दोनों कंपनियों का प्रबंधन एक ही है. इस कारण उनकी सेवा शर्तों में कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा. कुछ समय तक सबकुछ ऐसे ही चलता रहा.

इसी दौरान पीड़ित को कुछ पैसे की आवश्यकता पड़ी तो उसने प्रबंधन से अपने पीएफ खाते की जानकारी मांगी. जानकारी मिलने पर पता चला कि शिकायतकर्ता के तीन अलग-अलग खाते खोले गए हैं. ऐसा अलग-अलग कंपनी से वेतन आने के कारण होना बताया गया. 2022 में शिकायतकर्ता ने कंपनी से त्यागपत्र दे दिया. तब कंपनी की ओर से उन्हें ग्रेच्युटी 2004 से न देकर 2014 से सिर्फ आठ वर्ष की दी गई. इसके अलावा लायलटी बोनस भी नहीं दिया गया.

पीड़ित का आरोप है कि कंपनी के डायरेक्टर ने धोखाधड़ी करके ग्रेच्युटी, लायलटी बोनस और मूल वेतन कम दर्शाकर करीब 21 लाख रुपये की धोखाधड़ी की. थाना प्रभारी ने बताया कि सभी पहलुओं को ध्यान में रखकर मामले की जांच की जा रही है. अभी किसी की कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है. तथ्यों के आधार पर अग्रिम विधिक कार्यवाई की जाएगी.

फेसबुक आइडी पर आपत्तिजनक तस्वीरें वायरल: एप के माध्यम से लोन लेने के बाद आरोपियों ने एक महिला और उसके पति की अश्लील तस्वीरें सोशल मीडिया के विभिन्न प्लेटफॉर्म पर वायरल कर दी. महिला ने जब ऐप के कर्मचारियों को ऐसा न करने के लिए कहा तो उसके जान से मारने की धमकी दी. कई बार समझाने के बाद भी जब आरोपी नहीं माने तो महिला ने फेज दो थाने में मामले की शिकायत कर दी. पुलिस ने अज्ञात के खिलाफ संबंधित धाराओं में केस दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी है. जिस नंबर पर महिला की बात हुई थी, उस नंबर के बारे में भी जानकारी जुटाई जा रही है.

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