ETV Bharat / state

डॉक्टरों को नहीं जाना होगा विदेश, यहीं मिलेगी रोबोटिक सर्जरी की ट्रेनिंग, AIIMS ने किया MOU

नई दिल्ली स्थित एम्स और इंडिया मेडट्रॉनिक प्राइवेट लिमिटेड के बीच एक रोबोटिक प्रशिक्षण सुविधा का निर्माण और विकास करने के एक समझौते पर हस्ताक्षर हुआ है. इसके लिए पहले डॉक्टरों को विदेश जाना पड़ता था, लेकिन अब डॉक्टरों को देश में ही सबकुछ उपलब्ध होगा.

Etv Bharat
Etv Bharat
author img

By

Published : Mar 18, 2023, 9:07 PM IST

Updated : Mar 18, 2023, 10:47 PM IST

नई दिल्लीः दिल्ली स्थित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) ने रोबोटिक प्रशिक्षण सुविधा स्थापित करने के लिए एक पत्र जारी किया है. उसी के अनुरूप नई दिल्ली एम्स और इंडिया मेडट्रॉनिक प्राइवेट लिमिटेड ने एक रोबोटिक प्रशिक्षण सुविधा का निर्माण और विकास करने के लिए एक समझौते पर हस्ताक्षर किए हैं. इस समझौते के तहत एम्स क्लिनिकल शिक्षा प्रदान करेगा और एम्स के डॉक्टरों और संकायों और MeHNAT (मेडट्रोनिक ह्यूगो) के साथ अन्य शिक्षण संस्थानों के लिए नॉन-फॉर-प्रॉफिट आधार पर सर्जिकल रोबोटिक कौशल प्रदान करेगा.

इसका उद्देश्य तकनीकी और प्रक्रियात्मक प्रशिक्षण के माध्यम से स्वास्थ्य पेशेवरों को रोबोटिक से जुड़ी मिनिमली इनवेसिव सर्जरी पर प्रशिक्षित करना है. यह बदले में नैदानिक ​​समुदाय को समृद्ध करेगा और प्रक्रियात्मक और साक्ष्य आधारित चिकित्सा शिक्षा गतिविधियों का उपयोग करके परिणामों को बढ़ाएगा. यह भारत में एक सरकारी सेटअप में स्वास्थ्य पेशेवरों के लिए अपनी तरह की पहली रोबोटिक प्रशिक्षण सुविधा है और यह दुनिया के पूरे एशिया-प्रशांत (APAC) क्षेत्र में पहला संकाय-नेतृत्व वाला प्रक्रियात्मक प्रशिक्षण केंद्र है.

ये भी पढ़ेंः Naatu Naatu Song: पुरानी दिल्ली में नाटू-नाटू की धुन पर थिरकते नजर आए जर्मन राजदूत

कई संस्थानों में शुरू होगी रोबोटिक सर्जरीः बता दें कि अभी रोबोटिक सर्जरी के प्रशिक्षण के लिए डॉक्टरों को विदेश जाना पड़ता है. एम्स के कई डाक्टरों ने अमेरिका जाकर प्रशिक्षण लिया है. एम्स में प्रशिक्षण केंद्र शुरू होने पर डाक्टरों को यहीं पर रोबोटिक सर्जरी का प्रशिक्षण मिल सकेगा. साथ ही आने वाले समय में एम्स के कार्डिक सेंटर, न्यूरो सेंटर, कैंसर सेंटर, ट्रामा सेंटर और झज्जर स्थित राष्ट्रीय कैंसर संस्थान में भी रोबोटिक सर्जरी की सुविधा हो जाएगी.

ये भी पढ़ेंः बालाघाट के लांजी में ट्रेनी एयरक्राफ्ट क्रैश, पायलट और को-पायलट की मौके पर ही मौत

नई दिल्लीः दिल्ली स्थित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) ने रोबोटिक प्रशिक्षण सुविधा स्थापित करने के लिए एक पत्र जारी किया है. उसी के अनुरूप नई दिल्ली एम्स और इंडिया मेडट्रॉनिक प्राइवेट लिमिटेड ने एक रोबोटिक प्रशिक्षण सुविधा का निर्माण और विकास करने के लिए एक समझौते पर हस्ताक्षर किए हैं. इस समझौते के तहत एम्स क्लिनिकल शिक्षा प्रदान करेगा और एम्स के डॉक्टरों और संकायों और MeHNAT (मेडट्रोनिक ह्यूगो) के साथ अन्य शिक्षण संस्थानों के लिए नॉन-फॉर-प्रॉफिट आधार पर सर्जिकल रोबोटिक कौशल प्रदान करेगा.

इसका उद्देश्य तकनीकी और प्रक्रियात्मक प्रशिक्षण के माध्यम से स्वास्थ्य पेशेवरों को रोबोटिक से जुड़ी मिनिमली इनवेसिव सर्जरी पर प्रशिक्षित करना है. यह बदले में नैदानिक ​​समुदाय को समृद्ध करेगा और प्रक्रियात्मक और साक्ष्य आधारित चिकित्सा शिक्षा गतिविधियों का उपयोग करके परिणामों को बढ़ाएगा. यह भारत में एक सरकारी सेटअप में स्वास्थ्य पेशेवरों के लिए अपनी तरह की पहली रोबोटिक प्रशिक्षण सुविधा है और यह दुनिया के पूरे एशिया-प्रशांत (APAC) क्षेत्र में पहला संकाय-नेतृत्व वाला प्रक्रियात्मक प्रशिक्षण केंद्र है.

ये भी पढ़ेंः Naatu Naatu Song: पुरानी दिल्ली में नाटू-नाटू की धुन पर थिरकते नजर आए जर्मन राजदूत

कई संस्थानों में शुरू होगी रोबोटिक सर्जरीः बता दें कि अभी रोबोटिक सर्जरी के प्रशिक्षण के लिए डॉक्टरों को विदेश जाना पड़ता है. एम्स के कई डाक्टरों ने अमेरिका जाकर प्रशिक्षण लिया है. एम्स में प्रशिक्षण केंद्र शुरू होने पर डाक्टरों को यहीं पर रोबोटिक सर्जरी का प्रशिक्षण मिल सकेगा. साथ ही आने वाले समय में एम्स के कार्डिक सेंटर, न्यूरो सेंटर, कैंसर सेंटर, ट्रामा सेंटर और झज्जर स्थित राष्ट्रीय कैंसर संस्थान में भी रोबोटिक सर्जरी की सुविधा हो जाएगी.

ये भी पढ़ेंः बालाघाट के लांजी में ट्रेनी एयरक्राफ्ट क्रैश, पायलट और को-पायलट की मौके पर ही मौत

Last Updated : Mar 18, 2023, 10:47 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.