नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली में कोरोना की स्थिति में सुधार देखने को मिल रहा है. राहत की बात यह है कि कोरोना को मात देने वालों की संख्या में भी प्रतिदिन इजाफा हो रहा है. बड़ी संख्या में लोग कोरोना को मात देकर अपने घर को लौट रहे हैं. दिल्ली सरकार के आंकड़ों के हिसाब से मंगलवार को कोरोना अस्पताल के 23 हजार से ज्यादा बेड खाली हैं. दिल्ली के सभी कोरोना अस्पताल में कुल 28,457 बेड मौजूद हैं, जिनमें से 23,636 बेड खाली हैं, वहीं 4821 बेड पर मरीजों का इलाज चल रहा है.
लोकनायक हॉस्पिटल में उपलब्ध हैं 758 आईसीयू बेड
पिछले कुछ दिनों के मुकाबले दिल्ली में आईसीयू और वेंटिलेटर बेड की स्थिति में थोड़ा सुधार होते दिख रहा है. सरकार द्वारा विभिन्न अस्पतालों में आईसीयू और वेंटिलेटर के बेड भी बढ़ाए गए हैं. दिल्ली सरकार के जीटीबी अस्पताल में आईसीयू और वेंटिलेटर के 601 बेड खाली हैं.
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राजीव गांधी सुपर स्पेशलिटी अस्पताल में 289, लोकनायक जयप्रकाश हॉस्पिटल में 758, एम्स में 14 और एम्स ट्रामा सेंटर में 11 आईसीयू/वेंटिलेटर बेड उपलब्ध हैं. दीन दयाल उपाध्याय अस्पताल में 137 , बाबा साहेब अंबेडकर अस्पताल में 88 , सफदरजंग हॉस्पिटल में 48, डिवाइन हॉस्पिटल एंड कैंसर इंस्टीटूट में 23, विमहन्स हॉस्पिटल में 82, मधुकर रेनबो चिल्ड्रन हॉस्पिटल में 25, सर गंगाराम में 46, शांति मुकुंद हॉस्पिटल में 4, मेट्रो हॉस्पिटल में 30, बंसल ग्लोबल हॉस्पिटल में 6, खन्ना हॉस्पिटल में 3, पंचशील हॉस्पिटल में 2, राम सिंह हॉस्पिटल में 5, सिंघल हॉस्पिटल में 3, कुकरेजा हॉस्पिटल में 2 और अपोलो स्पेक्ट्रा हॉस्पिटल में आईसीयू/वेंटिलेटर के 3 बेड खाली हैं.