ETV Bharat / state

ग्रेटर नोएडा में किसानों ने की महापंचायत, 8 दिसंबर को डीएम ऑफिस का करेंगे घेराव - एनटीपीसी से प्रभावित 24 गांवों के किसान

एनटीपीसी से प्रभावित 24 गांवों के किसान अपनी मांगों को लेकर लंबे समय से प्रदर्शन कर रहे हैं. रविवार को किसानों ने महापंचायत का आयोजन किया. इस महापंचायत में फैसला लिया गया कि 8 दिसंबर को जिलाधिकारी कार्यालय का घेराव करेंगे और जब तक मांगें नहीं मानी जाएंगी, उनका धरना लगातार चलता रहेगा.

ncr news
किसानों ने की महापंचायत
author img

By

Published : Dec 5, 2022, 7:26 AM IST

Updated : Dec 5, 2022, 8:06 AM IST

नई दिल्ली/नोएडा : दादरी एनटीपीसी से प्रभावित 24 गांवों के किसानों का धरना 2 नवंबर से रसूलपुर गांव में चल रहा है. रविवार को धरना स्थल पर ही एक महापंचायत का आयोजन किया गया. इस महापंचायत में सैकड़ों की संख्या में किसान शामिल हुए. इस महापंचायत में महिलाओं ने भी बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया. किसानों ने महापंचायत के दौरान फैसला लिया कि 8 दिसंबर को जिलाधिकारी कार्यालय का घेराव करेंगे और जब तक मांगे नहीं मानी जाएंगी उनका धरना लगातार चलता रहेगा.

भारतीय किसान परिषद के अध्यक्ष सुखबीर खलीफा बताया कि एनटीपीसी से प्रभावित 24 गांव के किसान लंबे समय से अपनी मांगों को लेकर संघर्ष कर रहे है, लेकिन हर बार उनकी मांगों को दरकिनार कर दिया जाता है. 1 नवंबर को तानाशाही रवैया अपनाते हुए शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे किसानों पर पुलिस ने लाठीचार्ज कर दिया और एक दर्जन किसानों को जेल भेज दिया. लेकिन किसानों ने हिम्मत नहीं हारी और उसके बावजूद भी उनकी लड़ाई जारी रही. रसूलपुर गांव में 2 नवंबर से लगातार धरना चल रहा है. किसानों के धरने को 1 महीने से ज्यादा का समय हो चुका है.

किसानों ने की महापंचायत
उन्होंने बताया कि रविवार को यहां एक महापंचायत की गई, जिसमें सैकड़ों की संख्या में किसान शामिल हुए. सभी लोगों ने एक राय में कहा है कि जब तक मांगें नहीं मानी जाएगी, न तो धरना समाप्त होगा और न ही आंदोलन रुकेगा. उन्होंने प्रशासन से कहा है कि अगर 8 दिसंबर तक उनकी मांगों पर विचार नहीं किया जाता है तो वह लोग सूरजपुर स्थित जिला अधिकारी कार्यालय का घेराव करेंगे और वहां धरना प्रदर्शन करेंगे.किसान नेता सुखवीर खलीफा ने कहा कि प्रशासन से उनकी वार्ता भी हुई है. लेकिन वह शर्तों के साथ बात करते हैं. जबकि हमारा कहना है कि हमारी एक समान मुआवजे की मांग है, गांवों के विकास की मांग है, लोगों के रोजगार की मांग है. इन मांगों को जल्द से जल्द पूरा करना चाहिए, उसके बाद ही किन्ही अन्य चीजों पर विचार होगा.

ये भी पढ़ें : महिलाओं को टिकट देना इस्लाम के खिलाफ है : शाही इमाम

उन्होंने कहा कि कानून को हाथ में लिए बिना ही इस प्रदर्शन को अब और हवा दी जाएगी. इसके लिए हर गांव और सेक्टरों में सहयोग के लिए जाना पड़ा तो वह जाएंगे, मगर किसानों को न्याय दिला कर ही रहेंगे। उन्होंने कहा कि एनटीपीसी की मनमानी नहीं चलने दी जाएगी. एनटीपीसी ने किसानों के साथ जो करार किया था जो आश्वासन किसानों को दिया था उसे पूरा नहीं कर रही है. इसके लिए किसानों का प्रदर्शन चल रहा है.

दरअसल, एनटीपीसी से प्रभावित 24 गांवों के किसान अपनी मांगों को लेकर लंबे समय से प्रदर्शन कर रहे हैं. उसी के दौरान एनटीपीसी पर प्रदर्शन के दौरान एक नवंबर को पुलिस ने 12 किसानों को जेल भेज दिया था. उसके बाद भी किसानों ने रसूलपुर गांव में प्रदर्शन जारी रखा. अब जेल से किसानों की रिहाई भी हो चुकी है. लेकिन किसानों का कहना है कि जब तक उनकी मांगों को पूरा नहीं किया जाएगा, धरना-प्रदर्शन लगातार जारी रहेगा.

ये भी पढ़ें : Destination Wedding : परिवार ने शादी के लिए बुक किया पूरा प्लेन

नई दिल्ली/नोएडा : दादरी एनटीपीसी से प्रभावित 24 गांवों के किसानों का धरना 2 नवंबर से रसूलपुर गांव में चल रहा है. रविवार को धरना स्थल पर ही एक महापंचायत का आयोजन किया गया. इस महापंचायत में सैकड़ों की संख्या में किसान शामिल हुए. इस महापंचायत में महिलाओं ने भी बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया. किसानों ने महापंचायत के दौरान फैसला लिया कि 8 दिसंबर को जिलाधिकारी कार्यालय का घेराव करेंगे और जब तक मांगे नहीं मानी जाएंगी उनका धरना लगातार चलता रहेगा.

भारतीय किसान परिषद के अध्यक्ष सुखबीर खलीफा बताया कि एनटीपीसी से प्रभावित 24 गांव के किसान लंबे समय से अपनी मांगों को लेकर संघर्ष कर रहे है, लेकिन हर बार उनकी मांगों को दरकिनार कर दिया जाता है. 1 नवंबर को तानाशाही रवैया अपनाते हुए शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे किसानों पर पुलिस ने लाठीचार्ज कर दिया और एक दर्जन किसानों को जेल भेज दिया. लेकिन किसानों ने हिम्मत नहीं हारी और उसके बावजूद भी उनकी लड़ाई जारी रही. रसूलपुर गांव में 2 नवंबर से लगातार धरना चल रहा है. किसानों के धरने को 1 महीने से ज्यादा का समय हो चुका है.

किसानों ने की महापंचायत
उन्होंने बताया कि रविवार को यहां एक महापंचायत की गई, जिसमें सैकड़ों की संख्या में किसान शामिल हुए. सभी लोगों ने एक राय में कहा है कि जब तक मांगें नहीं मानी जाएगी, न तो धरना समाप्त होगा और न ही आंदोलन रुकेगा. उन्होंने प्रशासन से कहा है कि अगर 8 दिसंबर तक उनकी मांगों पर विचार नहीं किया जाता है तो वह लोग सूरजपुर स्थित जिला अधिकारी कार्यालय का घेराव करेंगे और वहां धरना प्रदर्शन करेंगे.किसान नेता सुखवीर खलीफा ने कहा कि प्रशासन से उनकी वार्ता भी हुई है. लेकिन वह शर्तों के साथ बात करते हैं. जबकि हमारा कहना है कि हमारी एक समान मुआवजे की मांग है, गांवों के विकास की मांग है, लोगों के रोजगार की मांग है. इन मांगों को जल्द से जल्द पूरा करना चाहिए, उसके बाद ही किन्ही अन्य चीजों पर विचार होगा.

ये भी पढ़ें : महिलाओं को टिकट देना इस्लाम के खिलाफ है : शाही इमाम

उन्होंने कहा कि कानून को हाथ में लिए बिना ही इस प्रदर्शन को अब और हवा दी जाएगी. इसके लिए हर गांव और सेक्टरों में सहयोग के लिए जाना पड़ा तो वह जाएंगे, मगर किसानों को न्याय दिला कर ही रहेंगे। उन्होंने कहा कि एनटीपीसी की मनमानी नहीं चलने दी जाएगी. एनटीपीसी ने किसानों के साथ जो करार किया था जो आश्वासन किसानों को दिया था उसे पूरा नहीं कर रही है. इसके लिए किसानों का प्रदर्शन चल रहा है.

दरअसल, एनटीपीसी से प्रभावित 24 गांवों के किसान अपनी मांगों को लेकर लंबे समय से प्रदर्शन कर रहे हैं. उसी के दौरान एनटीपीसी पर प्रदर्शन के दौरान एक नवंबर को पुलिस ने 12 किसानों को जेल भेज दिया था. उसके बाद भी किसानों ने रसूलपुर गांव में प्रदर्शन जारी रखा. अब जेल से किसानों की रिहाई भी हो चुकी है. लेकिन किसानों का कहना है कि जब तक उनकी मांगों को पूरा नहीं किया जाएगा, धरना-प्रदर्शन लगातार जारी रहेगा.

ये भी पढ़ें : Destination Wedding : परिवार ने शादी के लिए बुक किया पूरा प्लेन

Last Updated : Dec 5, 2022, 8:06 AM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.