नई दिल्ली: उत्तरी दिल्ली की रोहिणी विधानसभा के रोहिणी- 32 (N) वार्ड में एमसीडी चुनाव को लेकर तमाम दलों ने खूब जोर आजमाइश की है. उत्तरी दिल्ली नगर निगम की वार्ड-32(N) रोहिणी सीट पर भी AAP की साख दांव पर लगी है. यहां से आप ने बवाना के पूर्व विधायक रामचंद्र को प्रत्याशी बना रखा है, जिनके खिलाफ कांग्रेस ने मेमवती बरवाला और बीजेपी से राकेश गोयल को उतारकर मुकाबले को त्रिकोणीय बना दिया है.
क्यों खाली हुई थी सीट
उत्तरी दिल्ली नगर निगम के वार्ड रोहिणी-सी (32 एन) वार्ड दिल्ली विधानसभा चुनाव 2020 के पहले से ही खाली है. रोहिणी-सी (32 एन) वार्ड के बसपा पार्षद जय भगवान ने फरवरी 2020 में हुए विधानसभा चुनावों से पहले पार्टी छोड़कर आम आदमी पार्टी जॉइन कर ली थी और आम आदमी पार्टी ने उनको विधानसभा में टिकट भी दे दिया था, जिसमें उनको जीत हासिल हुई और वे दिल्ली विधानसभा पहुंच गए. इसके बाद से ही ये सीट खाली है.
एक नजर में
- 2020 विधानसभा चुनाव के पहले से सीट खाली
- पार्षद जय भगवान विधानसभा चुनाव में बने विधायक
- आप की तरफ से पूर्व विधायक रामचंद्र मैदान में
- कांग्रेस ने मेमवती बरवाला और बीजेपी से राकेश गोयल को उतारा
- आप, बीजेपी और कांग्रेस के बीच त्रिकोणीय मुकाबला माना जा रहा है
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मतदाता
रोहिणी सीट पर कुल वोटरों की संख्या 6,9131 है, जिसमें 38,953 पुरुष और 30,161 महिलाएं हैं. सीट पर कुल 17 अन्य श्रेणी के वोटर भी हैं.
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2002 में गठित परिसीमन आयोग की सिफारिशों के बाद 2008 में इस इलाके को विधानसभा क्षेत्र घोषित किया गया. यहां के पहले चुनाव में भाजपा के जयभगवान अग्रवाल ने कांग्रेस के विजेंदर जिंदल को हराया और विधायक बने. 2013 के चुनाव में इस क्षेत्र से आम आदमी पार्टी के राजेश गर्ग विधायक चुने गए. 2015 के चुनाव में भाजपा के विजेंदर कुमार विधायक बने. मेट्रो की रेड लाइन से जुड़ने वाला यह इलाका पॉश कॉलोनियों में गिना जाता है. ऐसे में भले ही पिछले चुनावों में आम आदमी पार्टी ने यहां अच्छा प्रदर्शन किया हो, लेकिन इस बार मुकाबला कांटे का है.
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