नई दिल्ली/नोएडा: क्रिप्टोकरेंसी दोगुना करने के नाम पर लोगों के साथ धोखाधड़ी करने वाले गैंग के एक शातिर जालसाज को नोएडा के सेक्टर 36 स्थित साइबर क्राइम थाना पुलिस ने गुरुग्राम से गिरफ्तार किया. पकड़ा गया आरोपी गैंग के साथ मिलकर अब तक करोड़ों रुपए की ठगी को अंजाम दे चुका है. अभियुक्त के खिलाफ कई धराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है. पुलिस गैंग के अन्य सदस्यों की तलाश में जुटी हुई है.
इससे पहले नोएडा के सेक्टर-93 स्थित पूर्वांचल सिल्वर सिटी अपार्टमेंट निवासी नितीश लांबा ने साइबर क्राइम थाने में धोखाधड़ी का मामला दर्ज कराया था. बताया गया कि गिरफ्तार आरोपी का नाम प्रशांत सिंह है, उसने पीड़ित नितीश लांबा को धोखाधड़ी का शिकार बनाया. आरोपी ने गैंग के साथ मिलकर पीड़ित नितीश को बीटीसी एनालिसिस नाम के व्हाट्सऐप ग्रुप में जोड़ा था. इसके बाद क्रिप्टो करेंसी को दोगुना करने के नाम पर उसने पीड़ित से अलग-अलग बैंक खातों में 13,73,300 रुपये जमा कराए. गिरफ्तार आरोपी कंपनी सेक्रेटरी की पढ़ाई कर चुका है. पूछताछ में सह अभियुक्त अक्षत डी कुशवाहा, आशुतोष तिवारी, मिलिंद सिंह यादव के भी इस गैंग में शामिल होने की बात सामने आई है जिन्हें पहले भी जेल भेजा जा चुका है.
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साइबर क्राइम थाना प्रभारी रीता यादव ने कहा कि अभियुक्त प्रशांत सिंह ने पूछताछ में धोखाधड़ी का सारा राज खोला. उसने बताया कि वे लोग कंपनियां खुलवाकर उनके बैंक खातों में ट्रेडिंग के नाम पर पैसे मंगवाते हैं. उसने चीन से जुड़े लोगों के साथ मिलकर कई बोगस कंपनियों के बैंक खातों में पैसे जमा कराए. इसमें इको ग्रीन एनर्जी प्राइवेट लिमिटेड गुरुग्राम, सहित ग्रीन ट्रुथ टेक्नोलॉजी प्राइवेट लिमिटेड नाम की कंपनी बनाई गई. इसमें अक्षय और आशुतोष को डायरेक्टर बनाकर वे लोग, क्रिप्टोकरेंसी को दोगुना करने का लालच देकर लोगों से पैसे जमा कराकर धोखाधड़ी को अंजाम देते थे. इस तरह से ये लोग करोड़ों रुपये की धोखाधड़ी को अंजाम दे चुके हैं.