नई दिल्ली : फीफा विश्व कप के अब तक के सबसे रोमांचक फाइनल में से एक में जीत दर्ज करने के बाद खिताब के साथ अर्जेंटीना की चैंपियन फुटबॉल टीम वापस अपने देश पहुंच चुकी है. लियोनेल मेसी ने आखिरकार अपना वर्ल्ड कप जीतने का सपना पूरा किया है.
अर्जेंटीना की जीत का जश्न मनाने और अपने चहेते खिलाड़ियों की एक झलक पाने के लिए ब्यूनस आयर्स की सड़कों पर लाखों लोग उतर गए जिससे हर तरफ जाम लग गया और खिलाड़ियों की परेड भी बीच में रोकनी पड़ी.
21 दिसंबर को टीम के लिए एक ओपन-बस परेड रखी गई, जो कि शहर के बीचोबीच से जानी थी. ये बस राइड शुरू भी हुई, पर खत्म नही हो पाई. लोगों का हुजूम ऐसा था कि मेसी और बाकी खिलाड़ियों को बस से हेलिकॉप्टर में शिफ्ट करना पड़ा. वर्ल्ड कप जीतने वाली टीम की इस परेड को ओबेलिसो नाम के एक ऐतिहासिक स्मारक तक जाना था, पर भीड़ को देखते हुए इस परेड को बीच में ही रोकना पड़ा.
यह भी पढ़ें : समलैंगिक लोगों के समर्थन के चक्कर में चली गयी अमेरिकी पत्रकार ग्रांट की जान...!
लोगों के हाथों में झंडे थे, वे उत्साह में नाच गा रहे थे लेकिन उनकी संख्या इतनी अधिक थी कि उसके कारण लियोनेल मेसी समेत सभी खिलाड़ियों की खुली बस में परेड रोकनी पड़ी और उन्हें हेलीकॉप्टर में परेड करवानी पड़ी.
- " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data="
">
हेलीकॉप्टर ने ब्यूनस आयर्स के उन स्थानों पर उड़ान भरी जहां प्रशंसक एकत्रित थे. इसके बाद हेलीकॉप्टर राजधानी से बाहर स्थित अर्जेंटीना फुटबॉल संघ के मुख्यालय पहुंचा. कुछ प्रशंसक इसके बाद भी सड़कों पर जश्न मनाते रहे लेकिन कई प्रशंसकों को निराशा थी कि वह 1986 के बाद पहली बार विश्व कप जीतने वाली अपनी टीम के खिलाड़ियों की झलक नहीं देख पाए. 2022 में पेनल्टी शूटआउट में फ्रांस को हराने से पहले अर्जेंटीना ने 1986 में डिएगो माराडोना के नेतृत्व में वर्ल्ड कप जीता था.