ETV Bharat / sports

थाईलैंड पैरा-बैडमिंटन चैम्पियनशिप में हिस्सा लेंगी उत्तराखंड की प्रेमा

थाईलैंड पैरा-बैडमिंटन इंटरनेशनल में उतराखंड की खिलाड़ी प्रेमा भाग लेंगी. राज्य और राष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में प्रेमा कुल 17 पदक जीत चुकीं है.

para badminton championship
author img

By

Published : Sep 6, 2019, 3:34 PM IST

Updated : Sep 29, 2019, 3:54 PM IST

नई दिल्ली: थाईलैंड की राजधानी बैंकाक में इस साल 14 से 22 सितंबर तक होने वाली थाईलैंड पैरा-बैडमिंटन इंटरनेशनल-2019 में करीब 35 खिलाडियों के साथ उत्तराखंड की ऊधमपुर की पैरा-बैडमिंटन खिलाड़ी प्रेमा भी भाग ले रही हैं.

जहां तक थाईलैंड जाने का सवाल है तो प्रेमा की कहानी हालांकि अन्य खिलाड़ियों से थोड़ी अलग है. इस सपने को जीने के लिए प्रेमा को 80 हजार रुपये की वित्तीय मदद की जरूरत थी, क्योंकि टूर्नामेंट आयोजकों ने स्पष्ट रूप से कहा है कि प्रतिभागियों को अपने स्वयं उठाने होंगे.

प्रेमा के पास अपने इस सपने को जीने के लिए इतने पैसे नहीं थे लेकिन इसके बावजूद उन्होंने हिम्मत नहीं हारी. राज्य और राष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में कुल 17 पदक जीत चुकीं प्रेमा ने कहा, "शुभचिंतकों ने मुझे करीब 50000 रुपये की आर्थिक मदद दी, इसके बावजूद धन के अभाव में टूर्नामेंट में भाग लेना सम्भव नहीं दिख रहा था, उदयपुर स्थित एक सेवा संस्थान ने मुझे 30 हजार रुपये की मदद देकर मेरे सपने को सच किया. अब मैं थाईलैंड जाने के लिए तैयार हूं. मैं देश के लिए पदक जीतने की कोशिश करूंगी."

ये पढ़ें: अमेरिका ओपन: एंड्रेस्कू ने सेमीफाइनल में बेनकिक को मात दी, फाइनल में सेरेना से होगा सामना

इस सम्बंध में सेवा संस्थान के अध्यक्ष प्रशांत अग्रवाल ने कहा कि हमारा संस्थान अलग-अलग स्थितियों से जुड़े दिव्यांगों की सहायता के लिए हाथ बढ़ाता है, जिससे दिव्यांग अपने सपने को जी सकें.

बकौल अग्रवाल, "प्रेमा ने देश के लिए खेलना एक सपना देखा था. हमने तो बस उस सपने की ओर उन्हें अग्रसर किया है। हमें आशा है कि वह देश का नाम रोशन करेंगी. हमारी शुभकामनाएं उनके साथ हैं."

नई दिल्ली: थाईलैंड की राजधानी बैंकाक में इस साल 14 से 22 सितंबर तक होने वाली थाईलैंड पैरा-बैडमिंटन इंटरनेशनल-2019 में करीब 35 खिलाडियों के साथ उत्तराखंड की ऊधमपुर की पैरा-बैडमिंटन खिलाड़ी प्रेमा भी भाग ले रही हैं.

जहां तक थाईलैंड जाने का सवाल है तो प्रेमा की कहानी हालांकि अन्य खिलाड़ियों से थोड़ी अलग है. इस सपने को जीने के लिए प्रेमा को 80 हजार रुपये की वित्तीय मदद की जरूरत थी, क्योंकि टूर्नामेंट आयोजकों ने स्पष्ट रूप से कहा है कि प्रतिभागियों को अपने स्वयं उठाने होंगे.

प्रेमा के पास अपने इस सपने को जीने के लिए इतने पैसे नहीं थे लेकिन इसके बावजूद उन्होंने हिम्मत नहीं हारी. राज्य और राष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में कुल 17 पदक जीत चुकीं प्रेमा ने कहा, "शुभचिंतकों ने मुझे करीब 50000 रुपये की आर्थिक मदद दी, इसके बावजूद धन के अभाव में टूर्नामेंट में भाग लेना सम्भव नहीं दिख रहा था, उदयपुर स्थित एक सेवा संस्थान ने मुझे 30 हजार रुपये की मदद देकर मेरे सपने को सच किया. अब मैं थाईलैंड जाने के लिए तैयार हूं. मैं देश के लिए पदक जीतने की कोशिश करूंगी."

ये पढ़ें: अमेरिका ओपन: एंड्रेस्कू ने सेमीफाइनल में बेनकिक को मात दी, फाइनल में सेरेना से होगा सामना

इस सम्बंध में सेवा संस्थान के अध्यक्ष प्रशांत अग्रवाल ने कहा कि हमारा संस्थान अलग-अलग स्थितियों से जुड़े दिव्यांगों की सहायता के लिए हाथ बढ़ाता है, जिससे दिव्यांग अपने सपने को जी सकें.

बकौल अग्रवाल, "प्रेमा ने देश के लिए खेलना एक सपना देखा था. हमने तो बस उस सपने की ओर उन्हें अग्रसर किया है। हमें आशा है कि वह देश का नाम रोशन करेंगी. हमारी शुभकामनाएं उनके साथ हैं."

Intro:Body:

नई दिल्ली: थाईलैंड की राजधानी बैंकाक में इस साल 14 से 22 सितंबर तक होने वाली थाईलैंड पैरा-बैडमिंटन इंटरनेशनल-2019 में करीब 35 खिलाडियों के साथ उत्तराखंड की ऊधमपुर की पैरा-बैडमिंटन खिलाड़ी प्रेमा भी भाग ले रही हैं.



जहां तक थाईलैंड जाने का सवाल है तो प्रेमा की कहानी हालांकि अन्य खिलाड़ियों से थोड़ी अलग है. इस सपने को जीने के लिए प्रेमा को 80 हजार रुपये की वित्तीय मदद की जरूरत थी, क्योंकि टूर्नामेंट आयोजकों ने स्पष्ट रूप से कहा है कि प्रतिभागियों को अपने स्वयं उठाने होंगे.



प्रेमा के पास अपने इस सपने को जीने के लिए इतने पैसे नहीं थे लेकिन इसके बावजूद उन्होंने हिम्मत नहीं हारी. राज्य और राष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में कुल 17 पदक जीत चुकीं प्रेमा ने कहा, "शुभचिंतकों ने मुझे करीब 50000 रुपये की आर्थिक मदद दी, इसके बावजूद धन के अभाव में टूर्नामेंट में भाग लेना सम्भव नहीं दिख रहा था, उदयपुर स्थित एक सेवा संस्थान ने मुझे 30 हजार रुपये की मदद देकर मेरे सपने को सच किया. अब मैं थाईलैंड जाने के लिए तैयार हूं. मैं देश के लिए पदक जीतने की कोशिश करूंगी."



इस सम्बंध में सेवा संस्थान के अध्यक्ष प्रशांत अग्रवाल ने कहा कि हमारा संस्थान अलग-अलग स्थितियों से जुड़े दिव्यांगों की सहायता के लिए हाथ बढ़ाता है, जिससे दिव्यांग अपने सपने को जी सकें.



बकौल अग्रवाल, "प्रेमा ने देश के लिए खेलना एक सपना देखा था. हमने तो बस उस सपने की ओर उन्हें अग्रसर किया है। हमें आशा है कि वह देश का नाम रोशन करेंगी. हमारी शुभकामनाएं उनके साथ हैं."


Conclusion:
Last Updated : Sep 29, 2019, 3:54 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.