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नेपाल सरकार ने 18 जुलाई को प्रतिनिधि सभा का सत्र आहूत करने की सिफारिश की

नेपाल की नयी सरकार ने राष्ट्रपति विद्या देवी भंडारी (Bidya Devi Bhandari) को 18 जुलाई को प्रतिनिधि सभा का नया सत्र आहूत करने की सिफारिश की है. यह निर्णय नवनियुक्त प्रधानमंत्री शेर बहादुर देउबा (Sher Bahadur Deuba) की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट में लिया गया.

शेर बहादुर देउबा
शेर बहादुर देउबा
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Published : Jul 15, 2021, 10:39 PM IST

काठमांडू : नेपाल की नयी सरकार ने राष्ट्रपति विद्या देवी भंडारी (Bidya Devi Bhandari) को 18 जुलाई को प्रतिनिधि सभा का नया सत्र आहूत करने की बृहस्पतिवार को सिफारिश की. यह जानकारी एक कैबिनेट मंत्री ने दी. गृह मंत्री बाल कृष्ण खंड ने संवाददाताओं से कहा कि नवनियुक्त प्रधानमंत्री शेर बहादुर देउबा (Sher Bahadur Deuba) की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में बहाल सदन की बैठक 18 जुलाई को आहूत करने का फैसला किया गया.

तत्कालीन प्रधानमंत्री के पी शर्मा ओली की सिफारिश पर 22 मई को पांच महीने में असंवैधानिक रूप से दूसरी बार राष्ट्रपति भंडारी द्वारा भंग किए जाने के बाद निचले सदन की यह पहली बैठक होगी. प्रधान न्यायाधीश चोलेंद्र शमशेर राणा के नेतृत्व वाली उच्चतम न्यायालय की पांच सदस्यीय संविधान पीठ ने प्रतिनिधि सभा को सोमवार को बहाल कर दिया था. नेपाल के उच्चतम न्यायालय ने राष्ट्रपति विद्या देवी भंडारी को निर्देश दिया था कि नेपाली कांग्रेस के प्रमुख शेर बहादुर देउबा को प्रधानमंत्री नियुक्त किया जाए. अदालत ने साथ ही 18 जुलाई को प्रतिनिधि सभा का एक नया सत्र आहूत करने का आदेश भी दिया था.

ये भी पढ़ें - नेपाल में देउबा सरकार का कार्यकाल विश्वास मत पर निर्भर

देउबा ने 13 जुलाई को चार नए मंत्रियों के साथ पद और गोपनीयता की शपथ ले ली थी. उन्हें 275 सदस्यीय निचले सदन में 136 मतों की आवश्यकता है क्योंकि वर्तमान में इसमें केवल 271 सदस्य हैं. उनकी पार्टी के पास सदन में केवल 61 सीटें हैं. देउबा ने संसद में विश्वास मत के दौरान अपनी स्थिति को सुरक्षित करने के लिए विभिन्न राजनीतिक दलों के नेताओं के साथ बातचीत शुरू कर दी है.

(पीटीआई-भाषा)

काठमांडू : नेपाल की नयी सरकार ने राष्ट्रपति विद्या देवी भंडारी (Bidya Devi Bhandari) को 18 जुलाई को प्रतिनिधि सभा का नया सत्र आहूत करने की बृहस्पतिवार को सिफारिश की. यह जानकारी एक कैबिनेट मंत्री ने दी. गृह मंत्री बाल कृष्ण खंड ने संवाददाताओं से कहा कि नवनियुक्त प्रधानमंत्री शेर बहादुर देउबा (Sher Bahadur Deuba) की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में बहाल सदन की बैठक 18 जुलाई को आहूत करने का फैसला किया गया.

तत्कालीन प्रधानमंत्री के पी शर्मा ओली की सिफारिश पर 22 मई को पांच महीने में असंवैधानिक रूप से दूसरी बार राष्ट्रपति भंडारी द्वारा भंग किए जाने के बाद निचले सदन की यह पहली बैठक होगी. प्रधान न्यायाधीश चोलेंद्र शमशेर राणा के नेतृत्व वाली उच्चतम न्यायालय की पांच सदस्यीय संविधान पीठ ने प्रतिनिधि सभा को सोमवार को बहाल कर दिया था. नेपाल के उच्चतम न्यायालय ने राष्ट्रपति विद्या देवी भंडारी को निर्देश दिया था कि नेपाली कांग्रेस के प्रमुख शेर बहादुर देउबा को प्रधानमंत्री नियुक्त किया जाए. अदालत ने साथ ही 18 जुलाई को प्रतिनिधि सभा का एक नया सत्र आहूत करने का आदेश भी दिया था.

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देउबा ने 13 जुलाई को चार नए मंत्रियों के साथ पद और गोपनीयता की शपथ ले ली थी. उन्हें 275 सदस्यीय निचले सदन में 136 मतों की आवश्यकता है क्योंकि वर्तमान में इसमें केवल 271 सदस्य हैं. उनकी पार्टी के पास सदन में केवल 61 सीटें हैं. देउबा ने संसद में विश्वास मत के दौरान अपनी स्थिति को सुरक्षित करने के लिए विभिन्न राजनीतिक दलों के नेताओं के साथ बातचीत शुरू कर दी है.

(पीटीआई-भाषा)

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