नई दिल्ली/गाजियाबाद: मुरादनगर कस्बे का रेलवे रोड मार्ग मुरादनगर के महत्वपूर्ण मार्गों में से एक है. यह रास्ता रेलवे स्टेशन की ओर जाता है और इस रास्ते पर एक बड़ा बाजार भी लगता है. जिस कारण काफी संख्या में लोग यहां आते-जाते रहते हैं. लेकिन पिछले 6 महीने से इस मेन रोड पर 11000 की लाइन का बिजली का खंभा नीचे से गल चुका है, जोकि कभी भी हादसे को दावत दे सकता है. जिसको हटाने की गुहार स्थानीय निवासी काफी लंबे समय से विधुत विभाग के अधिकारियों से गुहार लगा रहे हैं. इस मामले को लेकर ईटीवी भारत ने स्थानीय निवासियों से खास बातचीत की.
'7 महीने से अधिकारियों से लगा रहें मदद की गुहार'
रेलवे रोड की स्थानीय निवासी महिला धर्म ने बताया कि बिजली का खंभा 7 महीने से गला हुआ है, जिसकी उन्होंने और उनके बेटे ने ऑनलाइन शिकायत की है. इसके बाद इस खंभे को विधुत विभाग के जेई देखने आए और उन्होंने बराबर में दूसरा खंबा भी लगवा दिया है, लेकिन इसके बावजूद दूसरे खंबे पर तारों को अभी तक शिफ्ट नहीं किया गया है .
इसके साथ ही महिला का कहना है कि यह खंभा उनके या उनके पड़ोसी के घर पर भी गिर सकता है और इस के बराबर में लगा हुआ दूसरा खंबा भी आने जाने वाले लोगों के ऊपर गिर सकता है. इस मामले को लेकर वह 7 महीने से अधिकारियों से मदद की गुहार लगा रही हैं, जिस पर उनको अधिकारी द्वारा आश्वासन दिया जा रहा है.
'बिजली विभाग नहीं दे रहा ध्यान'
स्थानीय निवासी उमेश शर्मा ने बताया कि यह खंभा नीचे से गल चुका है और यह कभी भी गिर सकता है. इसीलिए मुरादनगर के बिजली विभाग के द्वारा इस खंभे के बराबर में दूसरा खंभा लगाया गया है, लेकिन अभी तक उस पर तार सिफ्ट नहीं किए गए हैं, जिस कारण वह आंधी तूफान में कभी भी गिर सकता है. जिससे बड़ा हादसा हो सकता है.
इसके साथ ही स्थानीय निवासी का कहना है कि इस खंभे से 11000 की लाइन जा रही है. जिससे हादसा होने की वजह से 4 से 5 ट्रांसफार्मर खराब हो सकते हैं और बहुत विद्युत विभाग को राजस्व का बड़ा नुकसान हो सकता है. इसीलिए वह विधुत विभाग के अधिकारियों से गुजारिश करते हैं कि इस ओर ध्यान दिया जाए.