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रूस की तेल कंपनी के नाम पर ठगी, तीन साल बाद पकड़ा गया जालसाज - crime news delhi

गिरफ्तार किया गया आरोपी आशीष मलिक ककरोला गांव का रहने वाला है. उसने इलेक्ट्रॉनिक्स में इंजीनियरिंग किया है. वह सोनीपत के हिंदू कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग से पढ़ा है. उसने महर्षी दयानंद यूनिवर्सिटी से एमबीए किया हुआ है. वह सेमिनार में आने वाले लोगों के सवालों का जवाब देता था. संयुक्त आयुक्त छाया शर्मा ने लोगों से अपील की है कि वह इस तरह की लालच वाली स्कीमों में अपने पैसे न लगाएं. यह उनके जीवन भर की कमाई को लूट सकते हैं. इसकी शिकायत तुरंत आर्थिक अपराध शाखा को दें.

cheater arrested after three years cheated on name of russian oil company
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Published : Jun 2, 2022, 9:54 PM IST

नई दिल्ली : रसिया की तेल कंपनी में रुपये लगाने के नाम पर 20 फीसदी लाभ का झांसा देने वाले शख्स को आर्थिक अपराध शाखा ने गिरफ्तार किया है. उसने अपने अन्य साथियों के साथ मिलकर पांच सितारा होटल में सेमिनार कर लोगों को झांसे में लिया. तीन साल से पुलिस को आरोपी आशीष की तलाश थी. वहीं उसके दो अन्य साथी भारत छोड़कर फरार हो रखे हैं और उनकी तलाश के लिए एलओसी जारी की गई है.

संयुक्त आयुक्त छाया शर्मा के अनुसार, पांच दिसंबर 2019 को पश्चिमी जिले के चीफ मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट के आदेश पर ठगी का एक मामला दर्ज किया गया था. आनंद लक्ष्मण परदेशी ने यह शिकायत अदालत में दी थी. उन्होंने शिकायत में बताया कि अखबार में एक विज्ञापन आया था. इसमें बताया गया था कि रसिया की एक बड़ी पेट्रोलियम कंपनी 16 मई 2016 को पश्चिम विहार के होटल रेडिसन में सेमिनार कर रही है. उन्होंने यह सेमिनार अटेंड किया. यहां पर उन्हें संदीप कौशिक, आशीष मलिक और सुनील सिंह चौहान ने खुद को एक कंपनी का निदेशक बताया.


उन्होंने बताया कि उनकी कंपनी रशियन ओल्ड डेट कंपनी से जुड़ी हुई है और इस कंपनी में रुपये लगाने वाले को 20 फीसदी का मुनाफा मिलता है. यह सुनकर उन्होंने लगभग 90 लाख रुपये इस कंपनी में जमा करा दिए. दो महीने तक उन्हें रिटर्न मिला, लेकिन इसके बाद कोई रुपये नहीं मिले. उन्होंने जब रुपये के बारे में पूछना शुरू किया तो आरोपियों ने फोन उठाना बंद कर दिया. इस तरीके से उन्होंने कई लोगों को ठगा था. यह मामला क्राइम ब्रांच में दर्ज किया गया और इसकी जांच आर्थिक अपराध शाखा को सौंप दी गई. पुलिस ने आरोपी कंपनी के बैंक खाते की डिटेल निकाली. इन सभी बैंक खातों को फ्रीज किया गया. इस मामले में पुलिस टीम ने कड़ी मेहनत के बाद आरोपी आशीष मलिक को गिरफ्तार कर लिया है. वहीं उसके दोनों अन्य साथी संदीप कौशिक और सुनील सिंह चौहान भारत से बाहर भाग गए हैं. पुलिस ने उनके खिलाफ लुक आउट सर्कुलर जारी करवाया है.


गिरफ्तार किया गया आरोपी आशीष मलिक ककरोला गांव का रहने वाला है. उसने इलेक्ट्रॉनिक्स में इंजीनियरिंग किया है. वह सोनीपत के हिंदू कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग से पढ़ा है. उसने महर्षी दयानंद यूनिवर्सिटी से एमबीए किया हुआ है. वह सेमिनार में आने वाले लोगों के सवालों का जवाब देता था. संयुक्त आयुक्त छाया शर्मा ने लोगों से अपील की है कि वह इस तरह की लालच वाली स्कीमों में अपने पैसे न लगाएं. यह उनके जीवन भर की कमाई को लूट सकते हैं. इसकी शिकायत तुरंत आर्थिक अपराध शाखा को दें.

नई दिल्ली : रसिया की तेल कंपनी में रुपये लगाने के नाम पर 20 फीसदी लाभ का झांसा देने वाले शख्स को आर्थिक अपराध शाखा ने गिरफ्तार किया है. उसने अपने अन्य साथियों के साथ मिलकर पांच सितारा होटल में सेमिनार कर लोगों को झांसे में लिया. तीन साल से पुलिस को आरोपी आशीष की तलाश थी. वहीं उसके दो अन्य साथी भारत छोड़कर फरार हो रखे हैं और उनकी तलाश के लिए एलओसी जारी की गई है.

संयुक्त आयुक्त छाया शर्मा के अनुसार, पांच दिसंबर 2019 को पश्चिमी जिले के चीफ मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट के आदेश पर ठगी का एक मामला दर्ज किया गया था. आनंद लक्ष्मण परदेशी ने यह शिकायत अदालत में दी थी. उन्होंने शिकायत में बताया कि अखबार में एक विज्ञापन आया था. इसमें बताया गया था कि रसिया की एक बड़ी पेट्रोलियम कंपनी 16 मई 2016 को पश्चिम विहार के होटल रेडिसन में सेमिनार कर रही है. उन्होंने यह सेमिनार अटेंड किया. यहां पर उन्हें संदीप कौशिक, आशीष मलिक और सुनील सिंह चौहान ने खुद को एक कंपनी का निदेशक बताया.


उन्होंने बताया कि उनकी कंपनी रशियन ओल्ड डेट कंपनी से जुड़ी हुई है और इस कंपनी में रुपये लगाने वाले को 20 फीसदी का मुनाफा मिलता है. यह सुनकर उन्होंने लगभग 90 लाख रुपये इस कंपनी में जमा करा दिए. दो महीने तक उन्हें रिटर्न मिला, लेकिन इसके बाद कोई रुपये नहीं मिले. उन्होंने जब रुपये के बारे में पूछना शुरू किया तो आरोपियों ने फोन उठाना बंद कर दिया. इस तरीके से उन्होंने कई लोगों को ठगा था. यह मामला क्राइम ब्रांच में दर्ज किया गया और इसकी जांच आर्थिक अपराध शाखा को सौंप दी गई. पुलिस ने आरोपी कंपनी के बैंक खाते की डिटेल निकाली. इन सभी बैंक खातों को फ्रीज किया गया. इस मामले में पुलिस टीम ने कड़ी मेहनत के बाद आरोपी आशीष मलिक को गिरफ्तार कर लिया है. वहीं उसके दोनों अन्य साथी संदीप कौशिक और सुनील सिंह चौहान भारत से बाहर भाग गए हैं. पुलिस ने उनके खिलाफ लुक आउट सर्कुलर जारी करवाया है.


गिरफ्तार किया गया आरोपी आशीष मलिक ककरोला गांव का रहने वाला है. उसने इलेक्ट्रॉनिक्स में इंजीनियरिंग किया है. वह सोनीपत के हिंदू कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग से पढ़ा है. उसने महर्षी दयानंद यूनिवर्सिटी से एमबीए किया हुआ है. वह सेमिनार में आने वाले लोगों के सवालों का जवाब देता था. संयुक्त आयुक्त छाया शर्मा ने लोगों से अपील की है कि वह इस तरह की लालच वाली स्कीमों में अपने पैसे न लगाएं. यह उनके जीवन भर की कमाई को लूट सकते हैं. इसकी शिकायत तुरंत आर्थिक अपराध शाखा को दें.

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