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Guidelines For Social Media Influencers : हंसी का खेल नहीं रहा इंफ्लुएंसर का काम, एंडोर्समेंट पर देना होगा डिस्कलेमर

मिनिस्ट्री ऑफ कंजयूमर अफेयर्स ने सोशल मीडिया इंफ्लुएंसर के लिए गाइडलाइन जारी की है. जिसे ' एंडोर्समेंट नो- हाउ' कहा जा रहा है. जिसका मतलब है कि इन्फुलुएंसर ऐसे किसी भी सामान का एडवर्टाइज नहीं करेंगे जो उपभोक्ताओं को गुमराह करें.

Guidelines For Social Media Influencers
सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर्स के लिए गाइडलाइन
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Published : Jan 21, 2023, 11:09 AM IST

Updated : Jan 21, 2023, 4:08 PM IST

नई दिल्ली : Ministry of Consumer Affairs ने सोशल मीडिया इंफ्लुएंसर के लिए गाइडलाइन जारी की है. जिसके अनुसार उन्हें एंडोर्समेंट पर डिस्कलेमर देना होगा. उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय ने गाइडलाइन जारी करते हुए बताया कि आज के डिजिटल समय में सोशल मीडिया इंफ्लुएंसर के लिए दिशा- निर्देश जरुरी है. क्योंकि विज्ञापन आज केवल प्रिंट, टेलीविजन या रेडियो तक सीमित नहीं है. यह फेसबुक, ट्वीटर और इंस्टाग्राम जैसे सोशल मीडिया तक पहुंच गया है. इसके साथ ही प्रभावशाली व्यक्तियों और सोशल मीडिया पर असर डालने वाली जानी-मानी हस्तियों के प्रभाव में भी बढ़ोत्तरी हुई है. इंफ्लुएंसर द्वारा किए गए Advertisement का असर सोशल मीडिया यूजर्स पर पड़ रहा है.

'एंडोर्समेंट नो- हाउ' क्या है
मंत्रालय द्वारा जारी गाइडलाइन को 'एंडोर्समेंट नो- हाउ' कहा जा रहा है. जिसका मतलब है कि विज्ञापन देने वाले यूजर्स को साफ- साफ शब्दों में अपने सामान के बारे में बताएं. कोई भी फेमस सेलिब्रिटी, प्रभावशाली व्यक्ति और सोशल मीडिया पर असर डालने वाले जानी-मानी हस्ती, जिसकी यूजर्स तक अधिक पहुंच है. जो किसी उत्पाद, सेवा, ब्रांड या अनुभव के बारे में यूजर्स के निर्णयों या विचारों को प्रभावित कर सकता है, तो उसे विज्ञापनदाता के साथ किसी भी अपने भौतिक संबंध का खुलासा करना चाहिए. इसमें न केवल लाभ और प्रोत्साहन शामिल हैं, बल्कि पैसे या अन्य फायदे, ट्रेवल या होटल में ठहरना, मीडिया बाइट्स, कवरेज और पुरस्कार और रोजगार संबंध शामिल हैं.

Advertising Agencies की जिम्मेदारियों को दिखाएगा
गाइडलाइन को 2019 के उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम द्वारा निर्धारित दिशानिर्देशों के तहत जारी किया गया है. इस अधिनियम के तहत यूजर्स को ठीक से व्यापार न करने की कार्य प्रणालियों और भ्रामक विज्ञापनों से बचाने के लिए तैयार किया गया है. मिनिस्ट्री ऑफ कंन्जयूमर अफेयर्स ने 9 जून 2022 को भ्रामक विज्ञापनों की रोकथाम और भ्रामक विज्ञापनों के लिए प्रचार- 2022 के लिए गाइडलाइन जारी किया हैं. ये गाइडलाइन सही Advertisement और Advertising Agencies की जिम्मेदारियों को रेखांकित करते हैं. इन दिशानिर्देशों ने मशहूर हस्तियों और विज्ञापन बनाने वालों के लिए गाइडलाइन स्पष्ट किये हैं. इसमें कहा गया है कि किसी भी तरह का भ्रामक विज्ञापन कानून के द्वारा प्रतिबंधित है.

Social Media Influencer कौन है
सोशल मीडया इंफ्लुएंसर ऐसे यूजर व्यक्ति को कहा जाता है, जिनके सोशल मीडया हैंडल या अकाउंट से काफी ज्यादा फलोवर्स जुड़े होते है. वे अपने किसी विशेष क्षेत्र या इंडस्ट्री में अनुभव को बनाते हैं. लोग उनके द्वारा शेयर किए गए पोस्ट और कंटेंट को काफी पसंद करते हैं. उनके कंटेंट पर ज्यादा से ज्यादा लोग लाइक करते हैं और बहुत से लोग शेयर भी करते हैं. इसका मतलब है कि वे सोशल मीडिया पर अपने कंटेंट से किसी यूजर्स के विचारों और प्रोडक्टस की खरीदारी को प्रभावित कर सकते हैं.

पढ़ें : इंस्टा पोस्ट से करोड़ों कमाने वाले कोहली पर उठे सवाल, जानिये कमाई में कौन है नं.1 ?

नई दिल्ली : Ministry of Consumer Affairs ने सोशल मीडिया इंफ्लुएंसर के लिए गाइडलाइन जारी की है. जिसके अनुसार उन्हें एंडोर्समेंट पर डिस्कलेमर देना होगा. उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय ने गाइडलाइन जारी करते हुए बताया कि आज के डिजिटल समय में सोशल मीडिया इंफ्लुएंसर के लिए दिशा- निर्देश जरुरी है. क्योंकि विज्ञापन आज केवल प्रिंट, टेलीविजन या रेडियो तक सीमित नहीं है. यह फेसबुक, ट्वीटर और इंस्टाग्राम जैसे सोशल मीडिया तक पहुंच गया है. इसके साथ ही प्रभावशाली व्यक्तियों और सोशल मीडिया पर असर डालने वाली जानी-मानी हस्तियों के प्रभाव में भी बढ़ोत्तरी हुई है. इंफ्लुएंसर द्वारा किए गए Advertisement का असर सोशल मीडिया यूजर्स पर पड़ रहा है.

'एंडोर्समेंट नो- हाउ' क्या है
मंत्रालय द्वारा जारी गाइडलाइन को 'एंडोर्समेंट नो- हाउ' कहा जा रहा है. जिसका मतलब है कि विज्ञापन देने वाले यूजर्स को साफ- साफ शब्दों में अपने सामान के बारे में बताएं. कोई भी फेमस सेलिब्रिटी, प्रभावशाली व्यक्ति और सोशल मीडिया पर असर डालने वाले जानी-मानी हस्ती, जिसकी यूजर्स तक अधिक पहुंच है. जो किसी उत्पाद, सेवा, ब्रांड या अनुभव के बारे में यूजर्स के निर्णयों या विचारों को प्रभावित कर सकता है, तो उसे विज्ञापनदाता के साथ किसी भी अपने भौतिक संबंध का खुलासा करना चाहिए. इसमें न केवल लाभ और प्रोत्साहन शामिल हैं, बल्कि पैसे या अन्य फायदे, ट्रेवल या होटल में ठहरना, मीडिया बाइट्स, कवरेज और पुरस्कार और रोजगार संबंध शामिल हैं.

Advertising Agencies की जिम्मेदारियों को दिखाएगा
गाइडलाइन को 2019 के उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम द्वारा निर्धारित दिशानिर्देशों के तहत जारी किया गया है. इस अधिनियम के तहत यूजर्स को ठीक से व्यापार न करने की कार्य प्रणालियों और भ्रामक विज्ञापनों से बचाने के लिए तैयार किया गया है. मिनिस्ट्री ऑफ कंन्जयूमर अफेयर्स ने 9 जून 2022 को भ्रामक विज्ञापनों की रोकथाम और भ्रामक विज्ञापनों के लिए प्रचार- 2022 के लिए गाइडलाइन जारी किया हैं. ये गाइडलाइन सही Advertisement और Advertising Agencies की जिम्मेदारियों को रेखांकित करते हैं. इन दिशानिर्देशों ने मशहूर हस्तियों और विज्ञापन बनाने वालों के लिए गाइडलाइन स्पष्ट किये हैं. इसमें कहा गया है कि किसी भी तरह का भ्रामक विज्ञापन कानून के द्वारा प्रतिबंधित है.

Social Media Influencer कौन है
सोशल मीडया इंफ्लुएंसर ऐसे यूजर व्यक्ति को कहा जाता है, जिनके सोशल मीडया हैंडल या अकाउंट से काफी ज्यादा फलोवर्स जुड़े होते है. वे अपने किसी विशेष क्षेत्र या इंडस्ट्री में अनुभव को बनाते हैं. लोग उनके द्वारा शेयर किए गए पोस्ट और कंटेंट को काफी पसंद करते हैं. उनके कंटेंट पर ज्यादा से ज्यादा लोग लाइक करते हैं और बहुत से लोग शेयर भी करते हैं. इसका मतलब है कि वे सोशल मीडिया पर अपने कंटेंट से किसी यूजर्स के विचारों और प्रोडक्टस की खरीदारी को प्रभावित कर सकते हैं.

पढ़ें : इंस्टा पोस्ट से करोड़ों कमाने वाले कोहली पर उठे सवाल, जानिये कमाई में कौन है नं.1 ?

Last Updated : Jan 21, 2023, 4:08 PM IST
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