नई दिल्ली : बिजनेस टायकून गौतम अडाणी की समूह ने 50 अरब डॉलर के ग्रीन हाइड्रोजन प्रोजेक्ट पर बड़ा ऐलान किया है. समूह ने अपने फ्रांसीसी सहायक के बिना ही अकेले इस ग्रीन हाइड्रोजन प्रोजेक्ट पर आगे बढ़ने का निर्णय लिया है. दरअसल फ्रांसीसी साझेदार टोटलएनर्जी एसई ने Adani Group पर धोखाधड़ी के आरोपों के बाद इस प्रोजेक्ट में अपने 4 अरब डॉलर का निवेश करने से अपने हाथ पीछे खींच लिए हैं. कंपनी ने पिछले साल Adani New Industries Limited (ANIL) में 25 फीसदी हिस्सेदारी खरीदने की बात कहा थी.
पिछले सप्ताह अडाणी ग्रुप के पहले तिमाही नतीजे घोषित किए गए. इस दौरान अडाणी ग्रुप के चीफ फाइनेंशियल ऑफिसर (सीएफओ) रॉबी सिंह ने कहा कि ग्रीन हाइड्रोजन प्रोजेक्ट के लिए अडाणी ग्रुप टोटल एनर्जी की इक्विटी शेयरों पर निर्भर नहीं है. और समूह अपने दिग्गज फ्रांसीसी पार्टनर के इंवेस्टमेंट के बिना भी इस प्रोजेक्ट में आगे बढ़ेगी.
अडाणी ग्रुप के चीफ फाइनेंशियल ऑफिसर रॉबी सिंह ने कहा-
'यह प्रोजेक्ट फ्रांसीसी के इक्विटी पर निर्भर नहीं है और हम इस प्रोजेक्ट को उसी रफ्तार के साथ आगे बढ़ा रहे हैं. हालांकि टोटलएनर्जी के साथ सहमति ज्ञापन (MOU) अब भी कायम है. लेकिन उन्हें अपनी जांच परख को पूरा करना है.'
टोटल एनर्जीज ने पिछले साल Adani New Industries Limited (ANIL) में 25 फीसदी हिस्सेदारी खरीदने की बात कहा थी. जो (अडाणी न्यू इंडस्ट्रीज लिमिटेड) Green Hydrogen Project का निर्माण कर रही है. लेकिन इसी साल 24 जनवरी को अडाणी ग्रुप पर हिंडनबर्ग की रिपोर्ट जारी हुई. जिसमें समूह पर शेयर मैन्यूपुलेशन, खातों में हेरा-फेरी जैसे 86 गंभीर आरोप लगा गए. इसके बाद फरवरी में फ्रांसीसी कंपनी ने आरोपों की जांच होने तक अपने निवेश को रोक दिया है.