नई दिल्ली: एयर इंडिया मौजूदा छह बोइंग 787 और एक बोइंग 777 विमान की खरीद के लिए 81.9 करोड़ डॉलर 5,800 करोड़ रुपये का थोड़े समय का कर्ज जुटाने के प्रयास में है.
यह राशि इसी काम के लिए पहले लिए गए इसी तरह के ब्रिज लोन (संक्रमण कल के लिए ऋण) को लौटाने में इस्तेमाल की जाएगी. निविदा पत्र के अनुसार कंपनी अभी इन विमानों के लिए दीर्धकालिक ऋण का प्रबंध नहीं कर सकी है. 'ब्रिज लोन' संक्रमण अवधि के लिए कर्ज प्राय: दीर्घकालिक कर्ज की व्यवस्था होने तक छोटी अवधि के लिए लिया जाता है.
निविदा दस्तावेज के अनुसार विमानन कंपनी ने अबतक 6 बी 787 और बी 777-300 ईआर के लिये दीर्घकालीन कर्ज की व्यवस्था नहीं की है. मौजूदा 81.9 करोड़ डॉलर के अल्पकालीन कर्ज को लौटाने के लिये ऋण लेने को लेकर बैंकों और वित्तीय संस्थानों से बोलियां आमंत्रित की है.
मौजूदा विनिमय दर पर राशि 5,800 करोड़ रुपये से अधिक होगी. एयर इंडिया ने 27 बी787-800 विमानों तथा 15 बी 777-300 ईआर विमानों का अधिग्रहण किया था.
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इसमें से 21 बी787 बिक्री और पुन: पट्टे पर देने के लिये जबकि शेष छह अल्पकालीन कर्ज (ब्रिज लोन) पर है. कुल 15 बी 777 विमान में एक अल्पकालीन ब्रिज लोन पर है.
दस्तावेज के अनुसार कुल 81.9 करोड़ रुपये के अल्पकालीन कर्ज में से 13.5 करोड़ डॉलर बी 777 विमान और शेष बी 787 विमानों के लिये है. कर्ज की अवधि एक साल या दीर्घकालीन व्यवस्था होने तक, जो भी पहले हो, तक के लिये होगी.
सभी विमानों के लिये केंद्र सरकार की गारंटी उपलब्ध करायी जाएगी. बैंकों तथा वित्तीय संस्थानों के लिये बोली जमा करने की समयसीमा 14 नवंबर है.