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बजट से लाभान्वित होगा चाय उद्योग

केंद्रीय वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा सोमवार को संसद में पेश केंद्रीय बजट 2021-22 में स्वास्थ्य और खुशहाली पर मुख्य जोर रहा. कहा गया है कि यह सभी के लिए समावेशी साबित होगा और उद्योग को इससे लाभ मिलेगा.

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Published : Feb 1, 2021, 7:53 PM IST

गुवाहाटी : चाय बागान मालिकों की शीर्ष संस्था द टी एसोसिएशन ऑफ इंडिया (टीएआई) बजट प्रस्तावों को लेकर आशान्वित है. केंद्रीय वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा सोमवार को संसद में पेश केंद्रीय बजट 2021-22 में स्वास्थ्य और खुशहाली पर मुख्य जोर रहा. कहा गया है कि यह सभी के लिए समावेशी साबित होगा और उद्योग को इससे लाभ मिलेगा.

टीएआई ने असम और पश्चिम बंगाल में महिला श्रमिकों और उनके बच्चों के कल्याण के लिए विशेष योजना के प्रावधान का स्वागत किया, जिसमें दोनों राज्यों में रहने वाले चाय श्रमिकों के लिए 1,000 करोड़ रुपये की राशि आवंटित किए जाने की बात कही गई है.

टीएआई के महासचिव पी.के. भट्टाचार्जी ने कहा, 'इसमें आवासीय महिला श्रमिकों और उनके बच्चों के लिए वादा किया गया है, जो श्रम बल का 50 प्रतिशत से अधिक है.'

उन्होंने कहा कि चाय उद्योग के श्रमिकों की सभी श्रेणियों के लिए घोषित और प्रस्तावित न्यूनतम मजदूरी के प्रभाव की जांच की जानी चाहिए.

उन्होंने कहा, 'महिलाओं को नाइट शिफ्ट में काम करने की अनुमति देने की घोषणा का स्वागत है.'

इसके साथ ही उन्होंने लाइसेंस के जारी पंजीकरण में आसानी से बदलाव की घोषणा की भी सराहना की.

टीएआई के महासचिव ने कहा, 'आत्मनिर्भर भारत स्वास्थ्य योजना' से चाय बागानों के कामगारों को चिकित्सा सुविधा मिलने की उम्मीद है.'

ये भी पढ़ें : वित्त मंत्री ने पेश किया साहसी बजट, फिर भी असमान वृद्धि की समस्या बरकरार : अर्थशास्त्री

इसके अलावा असम और पश्चिम बंगाल में सड़क परियोजनाओं के लिए आवंटन राज्य में विशेष रूप से अंदरूनी क्षेत्रों में बुनियादी ढांचे को मजबूती मिलेगी.

वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने सोमवार को बजट पेश करते हुए असम व बंगाल के चाय वर्करों के लिए राहत भरा ऐलान किया. इसके तहत महामारी से बुरी तरह प्रभावित होने वाले असम व बंगाल के चाय बागान कामगारों के लिए एक हजार करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं.

दार्जिलिंग वाला पश्चिम बंगाल और असम देश में चाय का सर्वाधिक उत्पादन करने वाले राज्यों में शुमार हैं.

गुवाहाटी : चाय बागान मालिकों की शीर्ष संस्था द टी एसोसिएशन ऑफ इंडिया (टीएआई) बजट प्रस्तावों को लेकर आशान्वित है. केंद्रीय वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा सोमवार को संसद में पेश केंद्रीय बजट 2021-22 में स्वास्थ्य और खुशहाली पर मुख्य जोर रहा. कहा गया है कि यह सभी के लिए समावेशी साबित होगा और उद्योग को इससे लाभ मिलेगा.

टीएआई ने असम और पश्चिम बंगाल में महिला श्रमिकों और उनके बच्चों के कल्याण के लिए विशेष योजना के प्रावधान का स्वागत किया, जिसमें दोनों राज्यों में रहने वाले चाय श्रमिकों के लिए 1,000 करोड़ रुपये की राशि आवंटित किए जाने की बात कही गई है.

टीएआई के महासचिव पी.के. भट्टाचार्जी ने कहा, 'इसमें आवासीय महिला श्रमिकों और उनके बच्चों के लिए वादा किया गया है, जो श्रम बल का 50 प्रतिशत से अधिक है.'

उन्होंने कहा कि चाय उद्योग के श्रमिकों की सभी श्रेणियों के लिए घोषित और प्रस्तावित न्यूनतम मजदूरी के प्रभाव की जांच की जानी चाहिए.

उन्होंने कहा, 'महिलाओं को नाइट शिफ्ट में काम करने की अनुमति देने की घोषणा का स्वागत है.'

इसके साथ ही उन्होंने लाइसेंस के जारी पंजीकरण में आसानी से बदलाव की घोषणा की भी सराहना की.

टीएआई के महासचिव ने कहा, 'आत्मनिर्भर भारत स्वास्थ्य योजना' से चाय बागानों के कामगारों को चिकित्सा सुविधा मिलने की उम्मीद है.'

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इसके अलावा असम और पश्चिम बंगाल में सड़क परियोजनाओं के लिए आवंटन राज्य में विशेष रूप से अंदरूनी क्षेत्रों में बुनियादी ढांचे को मजबूती मिलेगी.

वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने सोमवार को बजट पेश करते हुए असम व बंगाल के चाय वर्करों के लिए राहत भरा ऐलान किया. इसके तहत महामारी से बुरी तरह प्रभावित होने वाले असम व बंगाल के चाय बागान कामगारों के लिए एक हजार करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं.

दार्जिलिंग वाला पश्चिम बंगाल और असम देश में चाय का सर्वाधिक उत्पादन करने वाले राज्यों में शुमार हैं.

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