गुवाहाटी : असम के लोगों की कथित तौर पर 'कुत्ते के मांस' खाने की आदतों के बारे में महाराष्ट्र के एक विधायक की विवादित टिप्पणी को लेकर शुक्रवार को यहां विधानसभा में विपक्ष के सदस्यों ने हंगामा किया. उन्होंने राज्यपाल गुलाब चंद कटारिया (Governor Gulab Chand Kateria) के अभिभाषण को बाधित किया, और बाद में सदन से बर्हिगमन भी किया. कटारिया को बजट सत्र के पहले दिन अपना अभिभाषण 15 मिनट में ही खत्म करना पड़ा, क्योंकि विपक्षी सदस्य खड़े हो गए और नारेबाजी करने लगे। उन्होंने यह भी जानना चाहा कि (महाराष्ट्र के) विधायक के खिलाफ क्या कार्रवाई की गई है.
महाराष्ट्र विधानसभा के सदस्य बच्चू कडू (Maharashtra MLA Bacchu Kadus) ने कथित तौर पर सदन में एक प्रस्ताव रखा था कि आवारा कुत्तों की बढ़ती आबादी को नियंत्रित करने के लिए उन्हें असम भेजा जाए, क्योंकि इस पूर्वोत्तर राज्य में स्थानीय लोग इसका सेवन करते हैं. कटारिया ने जैसे ही अपना अभिभाषण शुरू किया, कांग्रेस विधायक कमलाख्या डे पुरकायस्थ ने यह मामला उठाया. उन्होंने कडू के खिलाफ असम सरकार की 'निष्क्रियता' पर सवाल खड़ा किया. उन्होंने प्रधानमंत्री के खिलाफ कथित टिप्पणी को लेकर कांग्रेस नेता पवन खेड़ा की गिरफ्तारी के लिए नई दिल्ली तक पुलिस टीम भेजने का भी हवाला दिया.
कुछ देर के अंतराल के बाद जब सदन की कार्यवाही फिर से शुरू हुई तो विपक्ष ने इस मामले को फिर से सदन में उठाया. ऑल इंडिया डेमोक्रेटिक फ्रंट (एआईयूडीएफ) के विधायक रफीकुल इस्लाम ने अध्यक्ष विश्वजीत डैमरी से अपील की कि वह कडू की टिप्पणी के विरुद्ध विशेषाधिकार हनन का स्वत: संज्ञान लें और उन्हें असम विधानसभा आकर क्षमा मांगने को कहें.
इस्लाम के सहयोगी अमीनुल इस्लाम ने दावा किया कि कडू उन विधायकों में शामिल थे, जिन्होंने पिछले साल महाराष्ट्र में सरकार बदलने के दौरान गुवाहाटी में डेरा डाला था. निर्दलीय विधायक अखिल गोगोई एवं मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) के विधायक मनोरंजन तालुकदार ने भी महाराष्ट्र के विधायक के खिलाफ कार्रवाई की विपक्षी सदस्यों की मांग का समर्थन किया.
कांग्रेस के सदस्य जैसे ही आसन के पास पहुंचे, डैमरी ने उनसे अपनी सीट पर लौट जाने और मामले को उचित माध्यम से उठाने को कहा. जोरदार हंगामे के बीच विपक्ष के सदस्यों ने सदन से बहिर्गमन किया.
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(पीटीआई-भाषा)